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Haridwar Lok Sabha Seat: हरीश रावत से हरिद्वार लोकसभा सीट छीनना चाहते हैं हरक, बोले- बड़ा भाई दे कुर्बानी - Former CM Harish Rawat

उत्तराखंड की सियासत में हरीश रावत की गिनती कांग्रेस के दिग्गज नेताओं में होती है. वहीं हरक सिंह रावत आने वाले लोकसभा चुनाव में हरीश रावत की चुनाव लड़ने की महत्वकांक्षाओं पर पानी फेर सकते हैं. क्योंकि हरक सिंह रावत हरिद्वार से ताल ठोकते दिखाई दे रहे हैं. जिससे हरीश रावत की परेशानियां बढ़ सकती हैं.

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Published : Jan 31, 2023, 9:58 AM IST

Updated : Jan 31, 2023, 12:28 PM IST

हरिद्वार लोकसभा सीट पर घमासान

देहरादून: पूर्व सीएम हरीश रावत और विधानसभा चुनाव में बीजेपी से कांग्रेस में आए हरक सिंह रावत की अदावत काफी पुरानी है. भले ही हरक सिंह के कांग्रेस में शामिल होने के बाद ये कम हो गई हो, लेकिन गाहे-बगाहे दोनों तंजों के बाण चलाते रहते हैं. लेकिन आगामी लोकसभा चुनाव में फिर सूबे की सियासत में हलचल देखने को मिल सकती है, क्योंकि हरक सिंह हरिद्वार से ताल ठोकते दिखाई दे रहे हैं.

क्या हरक सिंह हरीश रावत को देंगे पटखनी: लोकसभा चुनाव 2024 के लिए अभी काफी वक्त है, लेकिन अभी से कांग्रेस में हरिद्वार सीट को लेकर घमासान के संकेत दिखाई देने लगे हैं. दरअसल, हरक सिंह रावत ने हरिद्वार लोकसभा सीट पर ताल ठोक दी है. ऐसे में एक बार फिर कांग्रेस के भीतर हरीश और हरक सिंह का नया अध्याय शुरू होने की संभावना है. हरिद्वार लोकसभा सीट का गणित इस बार नक्षत्रों की नई चाल का अंदेशा करा रहा है. यूं तो राज्य में 5 लोकसभा सीटें हैं. लेकिन कांग्रेस को सबसे ज्यादा उम्मीदें हरिद्वार या नैनीताल सीट से ही हैं. इसकी वजह इन सीटों में मैदानी क्षेत्र का होना है, जहां विधानसभा चुनाव के दौरान भी सत्ता से बेदखल होने के बावजूद कांग्रेस ने अच्छा प्रदर्शन किया था. हरिद्वार लोकसभा सीट पर तो सीधे तौर से हरीश रावत की एक छत्र दावेदारी दिखाई देती रही है.
पढ़ें-Ex MLAs organization: बनने से पहले ही विवादों में घिरा पूर्व विधायकों का संगठन, पूर्व विधायक ने ही उठाए सवाल

क्यों है हरीश रावत के लिए हरिद्वार महत्वपूर्ण सीट: लेकिन इस बार समीकरण कुछ बदल रहे हैं. ऐसा हरीश रावत के धुर विरोधी रहे हरक सिंह रावत के भी इसी सीट पर ताल ठोकने के कारण हुआ है. बता दें कि धर्मपुर विधानसभा सीट हरिद्वार लोकसभा सीट में आती है. यहां से हाथ से हाथ जोड़ो यात्रा की शुरुआत करके हरक सिंह ने इस सीट पर खुद की तैयारी करने के संकेत दे दिए हैं. यही नहीं इन दिनों हरक सिंह डोईवाला और हरिद्वार की बाकी विधानसभा सीटों में भी सीधे तौर पर लोगों से जुड़ने की कोशिश करते हुए नजर आ रहे हैं. बड़ी बात यह है कि हरक सिंह रावत ने वरिष्ठ नेता हरीश रावत से भी आशीर्वाद मिलने की उम्मीद जताकर हरिद्वार सीट का उत्तराधिकारी बनने की बात कह दी है.
पढ़ें-Governor Gurmeet Singh: दिल्ली में राज्यपाल गुरमीत सिंह ने पीएम और अमित शाह से की मुलाकात

हरक सिंह रावत ने कहा कि वैसे तो यह निर्णय पार्टी को करना है. लेकिन हरीश रावत उनके बड़े भाई हैं और हमेशा बड़ा भाई ही छोटे भाई के लिए गद्दी छोड़ता है. गौर हो कि हरीश रावत भी तमाम मौकों पर हरिद्वार सीट से चुनाव लड़ने के संकेत देते रहे हैं. इससे पहले भी वो यहां से चुनाव लड़ चुके हैं. हरिद्वार जिले की ग्रामीण विधानसभा सीट से फिलहाल उनकी बेटी विधायक भी हैं. कुल मिलाकर हरीश रावत की हरिद्वार लोकसभा सीट में गहरी दिलचस्पी है. इन हालात में हरक सिंह रावत के भी दावेदारी करने के बाद इस सीट पर घमासान मचने की आशंका है.

हरिद्वार लोकसभा सीट पर घमासान

देहरादून: पूर्व सीएम हरीश रावत और विधानसभा चुनाव में बीजेपी से कांग्रेस में आए हरक सिंह रावत की अदावत काफी पुरानी है. भले ही हरक सिंह के कांग्रेस में शामिल होने के बाद ये कम हो गई हो, लेकिन गाहे-बगाहे दोनों तंजों के बाण चलाते रहते हैं. लेकिन आगामी लोकसभा चुनाव में फिर सूबे की सियासत में हलचल देखने को मिल सकती है, क्योंकि हरक सिंह हरिद्वार से ताल ठोकते दिखाई दे रहे हैं.

क्या हरक सिंह हरीश रावत को देंगे पटखनी: लोकसभा चुनाव 2024 के लिए अभी काफी वक्त है, लेकिन अभी से कांग्रेस में हरिद्वार सीट को लेकर घमासान के संकेत दिखाई देने लगे हैं. दरअसल, हरक सिंह रावत ने हरिद्वार लोकसभा सीट पर ताल ठोक दी है. ऐसे में एक बार फिर कांग्रेस के भीतर हरीश और हरक सिंह का नया अध्याय शुरू होने की संभावना है. हरिद्वार लोकसभा सीट का गणित इस बार नक्षत्रों की नई चाल का अंदेशा करा रहा है. यूं तो राज्य में 5 लोकसभा सीटें हैं. लेकिन कांग्रेस को सबसे ज्यादा उम्मीदें हरिद्वार या नैनीताल सीट से ही हैं. इसकी वजह इन सीटों में मैदानी क्षेत्र का होना है, जहां विधानसभा चुनाव के दौरान भी सत्ता से बेदखल होने के बावजूद कांग्रेस ने अच्छा प्रदर्शन किया था. हरिद्वार लोकसभा सीट पर तो सीधे तौर से हरीश रावत की एक छत्र दावेदारी दिखाई देती रही है.
पढ़ें-Ex MLAs organization: बनने से पहले ही विवादों में घिरा पूर्व विधायकों का संगठन, पूर्व विधायक ने ही उठाए सवाल

क्यों है हरीश रावत के लिए हरिद्वार महत्वपूर्ण सीट: लेकिन इस बार समीकरण कुछ बदल रहे हैं. ऐसा हरीश रावत के धुर विरोधी रहे हरक सिंह रावत के भी इसी सीट पर ताल ठोकने के कारण हुआ है. बता दें कि धर्मपुर विधानसभा सीट हरिद्वार लोकसभा सीट में आती है. यहां से हाथ से हाथ जोड़ो यात्रा की शुरुआत करके हरक सिंह ने इस सीट पर खुद की तैयारी करने के संकेत दे दिए हैं. यही नहीं इन दिनों हरक सिंह डोईवाला और हरिद्वार की बाकी विधानसभा सीटों में भी सीधे तौर पर लोगों से जुड़ने की कोशिश करते हुए नजर आ रहे हैं. बड़ी बात यह है कि हरक सिंह रावत ने वरिष्ठ नेता हरीश रावत से भी आशीर्वाद मिलने की उम्मीद जताकर हरिद्वार सीट का उत्तराधिकारी बनने की बात कह दी है.
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हरक सिंह रावत ने कहा कि वैसे तो यह निर्णय पार्टी को करना है. लेकिन हरीश रावत उनके बड़े भाई हैं और हमेशा बड़ा भाई ही छोटे भाई के लिए गद्दी छोड़ता है. गौर हो कि हरीश रावत भी तमाम मौकों पर हरिद्वार सीट से चुनाव लड़ने के संकेत देते रहे हैं. इससे पहले भी वो यहां से चुनाव लड़ चुके हैं. हरिद्वार जिले की ग्रामीण विधानसभा सीट से फिलहाल उनकी बेटी विधायक भी हैं. कुल मिलाकर हरीश रावत की हरिद्वार लोकसभा सीट में गहरी दिलचस्पी है. इन हालात में हरक सिंह रावत के भी दावेदारी करने के बाद इस सीट पर घमासान मचने की आशंका है.

Last Updated : Jan 31, 2023, 12:28 PM IST
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