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सरकार के राजस्व में आई गिरावट, विद्युत कर में 64 फीसदी की आई कमी

प्रदेश की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को अब तक आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने झटका दिया है. प्रदेश को मिलने वाले कुल राजस्व में आबकारी का बड़ा हिस्सा है, वर्ष 2019-20 की पहली छमाही में इस आमदनी में काफी कमी आई हैं. सितंबर माह तक राज्य को उक्त मद में कुल 1393.82 करोड़ रुपये राजस्व मिला है, जबकि बीते वित्तीय वर्ष 2018-19 की पहली छमाही में आबकारी से 1499.99 करोड़ राजस्व प्राप्त हुआ था. इस राजस्व में 7.1 फीसद कमी आई है.

राज्य में राजस्व बढ़ोत्तरी में आई गिरावट, विधुत विभाग कर में 64 फीसदी की आई कमी
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Published : Oct 12, 2019, 2:18 PM IST

Updated : Oct 12, 2019, 4:19 PM IST

देहरादून: राज्य की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को विभागों से झटका लगा है. आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने चालू वित्तीय वर्ष की पहली छमाही में बीते वर्ष की तुलना में आबकारी में सात फीसदी और खनन में 17 फीसदी कम राजस्व मिला है. साथ ही विद्युत कर के रूप में भी सरकार के राजस्व में 64 फीसदी की कमी आई है.

पढ़ें: ऑनलाइन चालान भुगतान के नाम पर 48 हजार की ठगी, जांच में जुटी पुलिस

बता दें कि प्रदेश की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को अब तक आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने झटका दिया है. प्रदेश को मिलने वाले कुल राजस्व में आबकारी का बड़ा हिस्सा है, वर्ष 2019-20 की पहली छमाही में इस आमदनी में काफी कमी आई हैं. सितंबर माह तक राज्य को उक्त मद में कुल 1393.82 करोड़ रुपये राजस्व मिला है, जबकि बीते वित्तीय वर्ष 2018-19 की पहली छमाही में आबकारी से 1499.99 करोड़ राजस्व प्राप्त हुआ था. इस राजस्व में 7.1 फीसद कमी आई है.

इसी तरह खनन में इस वर्ष पहली छमाही में 150.45 करोड़ की आमदनी हुई, जबकि बीते वर्ष यह आमदनी 181. 90 करोड़ थी. इस राजस्व में 17.3 फीसद गिरावट दर्ज की गई है. बिजली पर कर और ड्यूटी के रूप में सिर्फ 22.27 करोड़ वसूल किए गए, जबकि बीते वर्ष यही राशि 61.93 करोड़ थी. इस राजस्व में 64 फीसद कमी आई है. ऊर्जा में ही नॉन टैक्स के रूप में बीते वर्ष 66.53 करोड़ की आय हुई, इस बार ये शून्य है. हालांकि पिछले साल की तुलना में इस बार स्टांप व रजिस्ट्रेशन से आमदनी में 8.3 फीसद, जीएसटी-सेल्स टैक्स में 19.44 फीसद, वाहनों पर कर के रूप में 13.3 फीसद, वानिकी एवं वन्यजीवों से होने वाली आमदनी में 6.5 फीसद की वृद्धि हुई है.

वहीं, वित्त सचिव अमित नेगी ने बताया कि हम अपने स्थितर से लगातार सभी विभागों की समीक्षा कर रहे है, साथ ही मुख्य सचिव और मुख्यमंत्री के द्वारा भी जितने हमारे राजस्व के विभाग है सरकार उनसे राजस्व अर्जित करती है. साथ ही उनकी समीक्षा भी की जा रही है. हालांकि जीसीटी का रेवेन्यू सही चल रहा हैं. वही विभागों में जो भी शॉर्ट फॉल चल रहा है. उसके लिए हम लगातार मीटिंग कर रहे है. और हमारा प्रयास रहेगा कि आने वाले दो तीन महीनों में जो विभागों में जो शॉर्ट फॉल हुआ हुआ है उसको पूरा कर लेंगे.

देहरादून: राज्य की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को विभागों से झटका लगा है. आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने चालू वित्तीय वर्ष की पहली छमाही में बीते वर्ष की तुलना में आबकारी में सात फीसदी और खनन में 17 फीसदी कम राजस्व मिला है. साथ ही विद्युत कर के रूप में भी सरकार के राजस्व में 64 फीसदी की कमी आई है.

पढ़ें: ऑनलाइन चालान भुगतान के नाम पर 48 हजार की ठगी, जांच में जुटी पुलिस

बता दें कि प्रदेश की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को अब तक आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने झटका दिया है. प्रदेश को मिलने वाले कुल राजस्व में आबकारी का बड़ा हिस्सा है, वर्ष 2019-20 की पहली छमाही में इस आमदनी में काफी कमी आई हैं. सितंबर माह तक राज्य को उक्त मद में कुल 1393.82 करोड़ रुपये राजस्व मिला है, जबकि बीते वित्तीय वर्ष 2018-19 की पहली छमाही में आबकारी से 1499.99 करोड़ राजस्व प्राप्त हुआ था. इस राजस्व में 7.1 फीसद कमी आई है.

इसी तरह खनन में इस वर्ष पहली छमाही में 150.45 करोड़ की आमदनी हुई, जबकि बीते वर्ष यह आमदनी 181. 90 करोड़ थी. इस राजस्व में 17.3 फीसद गिरावट दर्ज की गई है. बिजली पर कर और ड्यूटी के रूप में सिर्फ 22.27 करोड़ वसूल किए गए, जबकि बीते वर्ष यही राशि 61.93 करोड़ थी. इस राजस्व में 64 फीसद कमी आई है. ऊर्जा में ही नॉन टैक्स के रूप में बीते वर्ष 66.53 करोड़ की आय हुई, इस बार ये शून्य है. हालांकि पिछले साल की तुलना में इस बार स्टांप व रजिस्ट्रेशन से आमदनी में 8.3 फीसद, जीएसटी-सेल्स टैक्स में 19.44 फीसद, वाहनों पर कर के रूप में 13.3 फीसद, वानिकी एवं वन्यजीवों से होने वाली आमदनी में 6.5 फीसद की वृद्धि हुई है.

वहीं, वित्त सचिव अमित नेगी ने बताया कि हम अपने स्थितर से लगातार सभी विभागों की समीक्षा कर रहे है, साथ ही मुख्य सचिव और मुख्यमंत्री के द्वारा भी जितने हमारे राजस्व के विभाग है सरकार उनसे राजस्व अर्जित करती है. साथ ही उनकी समीक्षा भी की जा रही है. हालांकि जीसीटी का रेवेन्यू सही चल रहा हैं. वही विभागों में जो भी शॉर्ट फॉल चल रहा है. उसके लिए हम लगातार मीटिंग कर रहे है. और हमारा प्रयास रहेगा कि आने वाले दो तीन महीनों में जो विभागों में जो शॉर्ट फॉल हुआ हुआ है उसको पूरा कर लेंगे.

Intro:उत्तराखंड की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को झटका लगा है दअरसल आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने चालू वित्तीय वर्ष की पहली छमाही में बीते वर्ष की तुलना में आबकारी में सात फीसद और खनन में 17 फीसद कम राजस्व मिला है।विधुत कर के रूप में मिलने राज्य के राजस्व में 64 फीसद की कमी आई है....वहीं वित्त सचिव की माने तो लगातार इस मामले की समीक्षा की जा रही है......और दूसरी छमाही में राजस्व वसूली में तेजी आएगी!Body:प्रदेश की आमदनी बढ़ाने की उम्मीदों को अब तक आबकारी और खनन के साथ ही ऊर्जा विभाग ने झटका दिया है।प्रदेश को मिलने वाले कुल राजस्व में आबकारी का बड़ा हिस्सा है,वर्ष 2019-20 की पहली छमाही में इस आमदनी में काफी कमी आई है। सितंबर माह तक राज्य को उक्त मद में कुल 1393.82 करोड़ रुपये राजस्व मिला है, जबकि बीते वित्तीय वर्ष 2018-19 की पहली छमाही में आबकारी से 1499.99 करोड़ राजस्व प्राप्त हुआ था। इस राजस्व में 7.1 फीसद कमी आई है। इसीतरह खनन में इस वर्ष पहली छमाही में 150.45 करोड़ की आमदनी हुई, जबकि बीते वर्ष यह आमदनी 181. 90 करोड़ थी। इस राजस्व में 17.3 फीसद गिरावट दर्ज की गई है। बिजली पर कर और ड्यूटी के रूप में सिर्फ 22.27 करोड़ वसूल किए गए, जबकि बीते वर्ष यही राशि 61.93 करोड़ थी। इस राजस्व में 64 फीसद कमी आई है। ऊर्जा में ही नान टैक्स के रूप में बीते वर्ष 66.53 करोड़ की आय हुई, इस बार ये शून्य है। हालांकि पिछले साल की तुलना में इस बार स्टांप व रजिस्ट्रेशन से आमदनी में 8.3 फीसद, जीएसटी-सेल्स टैक्स में 19.44 फीसद, वाहनों पर कर के रूप में 13.3 फीसद, वानिकी एवं वन्यजीवों से होने वाली आमदनी में 6.5 फीसद की वृद्धि हुई है।  Conclusion:वित्त सचिव अमित नेगी ने बताया की की हम अपने लेवल पर लगातार सभी विभागों की समीक्षा कर रहे है,साथ ही मुख्य सचिव और मुख्यमंत्री के द्वारा भी जितने भी हमारे राजस्व के विभाग से राजस्व अर्जित सरकार करती है उनकी भी समीक्षा की जा रही है।हालांकि जीसीटी का रेवेन्यू सही चल रहा है।वही विभागों में जो भी शॉर्ट फॉल चल रहा है उसके लिए हम लगातार मीटिंग कर रहे है।ओर हमारा प्रयास रहेगा कि आने वाले दो तीन महीनों में जो विभागों में जो शॉर्ट फॉल हुआ हुआ है उसको पूरा कर लेंगे।

बाइट-अमित नेगी(वित्त सचिव)
Last Updated : Oct 12, 2019, 4:19 PM IST
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