देहरादून: जोशीमठ भू-धंसाव को लेकर केंद्र और राज्य सरकार अलर्ट है. पीएम मोदी लगातार सीएम धामी से जोशीमठ का अपडेट ले रहे हैं. सीएम पुष्कर सिंह धामी हालातों का जायजा लेने के लिए जोशीमठ पहुंच गए हैं. सीएम धामी जोशीमठ में राहत बचाव कार्यों की समीक्षा की और पीड़ित परिवारों से भी मुलाकात की. मुख्यमंत्री धामी रात में जोशीमठ में ही रुकेंगे. पत्रकारों से बातचीत में सीएम धामी ने कहा कि हम नुकसान का आकलन कर यहां बेहतर व्यवस्था करने का प्रयास करेंगे. इस दौरान सीएम धामी ने राहत कैंप में परिवारों को दिए जाने वाले भोजन की गुणवत्ता भी जांची. अब हम यहां के लोगों को अस्थाई राहत के लिए 1.5 लाख रुपये की आर्थिक मदद देंगे. यहां की स्थिति के बारे में झूठी अफवाह न फैलाएं. केंद्र और राज्य सरकारें जोशीमठ के लोगों के साथ खड़ी रहेंगी.
इस बीच गृहमंत्री अमित शाह ने सीएम धामी से फोन बात की और राहत कार्यों की जानकारी ली है. वहीं, भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने भी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट से फोन पर जोशीमठ की हालातों को लेकर बात की. इस दौरान जेपी नड्डा ने जोशीमठ में चल रहे राहत एवं बचाव कार्यों की ली जानकारी.
जेपी नड्डा ने जोशीमठ आपदा को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से फोन पर बातचीत की. इस दौरान ने नड्डा ने सीएम को जोशीमठ को लेकर हर संभव मदद करने का आश्वासन दिया. नड्डा ने सीएम और महेंद्र भट्ट से कहा कि जोशीमठ प्रभावितों के साथ मानवतावादी व्यवहार हो. किसी प्रकार की जनहानि न हो, इसके लिए सरकार जिम्मेदारी तय करे. इसके साथ ही उन्होंने भाजपा कार्यकर्ताओं को राहत कार्यों में जुटाने के लिए प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट को निर्देश दिए.
ये भी पढ़ें: Joshimath Sinking: प्रभावितों को डेढ़ लाख की आंतरिक सहायता, बाजार दर पर मिलेगा मुआवजा
बता दें कि लंबे समय से जोशीमठ में के घरों में दरारे पड़ रही थी. जो समय के साथ और बढ़ते चला गया. बताया जा रहा है कि जोशीमठ शहर में 700 से अधिक घरों और होटलों में दरारें पड़ चुकी है. इसके साथ ही पूरे शहर में तेजी से भू-धंसाव हो रहा है. जिसकी वजह से मकान को चिन्हित कर प्रशासन लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने में जुटा है. वहीं, स्थानीय विस्थापन की मांग और उचित मुआवजा की मांग करते हुए मकानों को तोड़ने से रोक रहे हैं. सरकार और प्रशासन लोगों को समझाने में रहे हैं, लेकिन लोग अपनी मांगों को लेकर जिद पर अड़े हैं.