देहरादून: मतगणना से ठीक पहले पूर्व सीएम हरीश रावत ने हरिद्वार में स्ट्रांग रूम में लगे हुए सीसीटीवी कैमरे बंद होने का आरोप लगाया है. साथ ही उन्होंने इस मामले में चुनाव आयोग और जिला निर्वाचन अधिकारी को संज्ञान लेने की बात कही है. उन्होंने स्ट्रांग रूम में लगे हुए सीसीटीवी कैमरे बंद होने पर चुनाव निष्पक्ष होने को लेकर सवाल उठाए हैं. हरीश रावत के स्ट्रांग रूम के सीसीटीवी कैमरे बंद होने की शिकायत पर राजनीति गर्मा सकती है.
पूर्व सीएम हरीश रावत ने ट्वीट कर लिखा है कि क्या चुनाव आयोग और जिला निर्वाचन अधिकारी इस तथ्य का संज्ञान लेंगे कि हरिद्वार के अंदर स्ट्रांग रूम में लगे हुए सीसीटीवी कैमरे तीन बार अभी तक बंद हो चुके हैं. लोगों को पुख्ता तौर पर संदेह है कि राज्य सरकार की प्रतिष्ठा 1-2 मामलों में दांव पर लगी हुई है.
इसलिए येन-केन प्रकारेण से चुनाव जीतने का प्रयास कर रहे हैं. कम से कम चुनाव की निष्पक्षता को और इस तरीके से स्ट्रांग रूम में सीसीटीवी कैमरे बंद होने लग जाएंगे वो भी एक बार कोई संयोग मान लिया जाएगा, मगर यह तीन-तीन बार ऐसा होना यह बहुत गंभीर संदेह को पैदा करता है. मतगणना से पहले हरीश रावत ने गंभीर सवाल उठाए हैं, जिससे उन्होंने चुनाव की निष्पक्षता पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं.
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बता दें कि उत्तराखंड में 10 मार्च यानी आज मतणना होनी है और कई नेताओं की साख दांव पर लगी हुई है. प्रदेश में मैदान में उतरे 632 प्रत्याशियों में से किन 70 की किस्मत चमकने जा रही है वो आज पता चलेगा. उत्तराखंड के अलग राज्य बनने के बाद पांचवें विधानसभा चुनाव में भाजपा और कांग्रेस के मध्य कांटे का मुकाबला है. उत्तराखंड की विधानसभा में कुल 70 सीटें और सरकार बनाने के लिए 36 सीटों की जरूरत होगी.