मसूरी: अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की एमपीजी कॉलेज में बैठक आयोजित की गई. बैठक में निर्णय लिया गया कि 75वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर मसूरी के 100 स्थानों पर तिरंगा फहराया जायेगा. वहीं, समाज के उन लोगों से ध्वजा रोहण करवाया जायेगा, जिन्हें कभी इसका सम्मान नहीं मिला.
मसूरी एमपीजी कॉलेज में हुई बैठक में एबीवीपी की प्रदेश मंत्री काजल थापा ने बताया कि देश आजादी के 75वें वर्ष में प्रवेश कर रहा है. ऐसे में एबीवीपी ने 'एक गांव, एक तिरंगा' अभियान चलाने का निर्णय लिया है. इस अभियान के तहच उन लोगों को याद किया जायेगा, जिन्होंने देश की आजादी में अपना जीवन न्योछावर किया. देश भर में एबीवीपी 1 लाख 28 हजार 335 स्थानों पर और उत्तराखंड में 4 हजार 675 स्थानों पर तिरंगा फहराएगी.
इसके लिए पूरी तैयारी कर ली गई है. ताकि हर गांव, गली में तिरंगा फहराया जा सके. वहीं, यह निर्णय लिया गया है कि जो लोग समाज में कार्य कर रहे हैं, लेकिन उनको सम्मान नहीं मिल पाता है, जैसे कि स्वच्छता कर्मी, रिक्शा चालक, या छोटा कर्मचारी ऐसे लोगों से तिरंगा फहराया जाएगा.
इस अवसर पर एबीवीपी के नगर मंत्री आदित्य पडियार ने का कि हर एक को भारत माता की जय बोलने की अनुभूति हो. जिसके तहत मसूरी में सौ स्थानों पर तिरंगा फहराया जायेगा. इसे समाज का वह व्यक्ति फहरायेगा, जिसे कभी यह सम्मान नहीं मिला है. ताकि लोग इस राष्ट्रीय पर्व में भागीदारी कर सकें.
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वहीं, हल्द्वानी में आजादी के 75 वें वर्ष में प्रवेश के मौके पर जहां आजादी के जश्न की तैयारी चल रही है वहीं, स्वर्गीय नेता प्रतिपक्ष रहीं इंदिरा हृदयेश की याद में स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवारों को सम्मानित किया गया. इंदिरा हृदयेश के पुत्र और पीसीसी के सदस्य सुमित हृदयेश ने 20 से अधिक स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवारों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया.
सुमित हृदयेश ने कहा कि उनका परिवार भी स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवार से है. ऐसे में इंदिरा हृदयेश की याद में आज उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवारों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया है. जिस तरह से स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने देश की आजादी में अपना योगदान दिया है, उसको कभी भुलाया नहीं जा सकता. सरकार को स्वतंत्रता संग्राम सेनानी परिवारों को समय-समय पर सम्मान देना चाहिए.