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Joshimath Sinking: जोशीमठ आपदा प्रभावितों का दर्द जानने पहुंचे विधायक, हर संभव मदद का दिया भरोसा

हाई पावर कमेटी के सदस्य और थराली विधानसभा क्षेत्र से विधायक भूपाल राम टम्टा ने जोशीमठ आपदा प्रभावितों से मुलाकात की. साथ ही आपदा प्रभावितों की समस्याओं को सुनते हुए विधायक ने उनके निस्तारण का आश्वासन दिया. वहीं आपदा प्रभावितों के लिए सुरक्षित स्थानों पर प्री फैब्रिकेटेड हट बनाए जा रहे हैं. टम्टा ने उसका भी निरीक्षण कर अधिकारियों को निर्देशित किया.

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Published : Feb 4, 2023, 10:37 AM IST

आपदा प्रभावितों का दर्द जानने पहुंचे विधायक

जोशीमठ: आपदा ने जोशीमठ को ऐसे घाव दिए हैं, जो लोगों के दिलों में ताउम्र रहेंगे. लोग अपने आशियानों को छोड़कर अस्थायी राहत शिविरों में रहने को मजबूर हैं. भू धंसाव के कारण दरारें लगातार बढ़ने से कभी भी लोगों के आशियाने जमींदोज हो सकते हैं. वहीं जोशीमठ में पुनर्वास और विस्थापन की मांग को लेकर जोशीमठ बचाओ संघर्ष समिति का तहसील परिसर में धरना जारी है. वहीं थराली विधायक भूपाल राम टम्टा ने आपदा पीड़ितों से मुलाकात कर उनकी समस्याओं को जाना और निस्तारण का भरोसा दिलाया.

वहीं सरकार के द्वारा जोशीमठ आपदा प्रभावितों के पुनर्वास को लेकर तपोवन के पास ढाक गांव में एनटीपीसी की भूमि पर प्री-फैब्रिकेटेड हट बनाने का कार्य जारी है. सरकार की तरफ से पुनर्वास के लिये बनाई गई हाई पावर कमेटी के सदस्य और थराली विधानसभा सीट से विधायक भूपाल राम टम्टा ने ढाक गांव पहुंचकर प्री-फैब्रिकेटेड हटों के कार्यों का निरीक्षण किया. उन्होंने बताया कि 15 दिनों के भीतर ढाक गांव में प्रभावितों के लिए प्री-फैब्रिकेटेड हट बनाकर तैयार कर दिए जाएंगे. साथ ही जोशीमठ के पास उद्यान विभाग की भूमि पर मॉडल प्री-फैब्रिकेटेड हट बनकर तैयार हो चुका है. जल्द ही प्रभावितों का पुनर्वास किया जाएगा.
पढ़ें-Joshimath Sinking: भू धंसाव के बाद आजतक नहीं बना जोशीमठ का बेस मैप, GIS लैब को ठिकाने लगा के बाद भटक रहा आपदा प्रबंधन

इस दौरान भूपाल राम टम्टा ने नरसिंह मंदिर क्षेत्र और सिंगधार वार्ड में बनाए आपदा राहत शिविरों में जाकर आपदा पीड़ितों का हालचाल जाना. साथ ही उन्होंने आपदा प्रभावितों को भरोसा दिलाते हुए कहा कि सरकार जल्द ही आपदा प्रभावितों का पुनर्वास करेगी. जिसके लिये सरकार के द्वारा शासन स्तर पर योजना बनाई जा रही है. बता दें कि आपदा प्रभावित जोशीमठ में लोगों की घरों में दरारें लगातार बढ़ रही हैं. वहीं जोशीमठ में वर्तमान में भू धंसाव से अभी तक 863 भवनों में दरारें चिन्हित की गई हैं. जबकि 181 भवनों को असुरक्षित जोन में रखा गया है. वहीं प्रभावित 282 परिवारों के 947 सदस्यों को राहत शिविरों में शिफ्ट किया गया है. वहीं चमोली जिला प्रशासन के मुताबिक अभी तक 585 प्रभावितों को 388.27 लाख की राहत धनराशि दी जा चुकी है.

आपदा प्रभावितों का दर्द जानने पहुंचे विधायक

जोशीमठ: आपदा ने जोशीमठ को ऐसे घाव दिए हैं, जो लोगों के दिलों में ताउम्र रहेंगे. लोग अपने आशियानों को छोड़कर अस्थायी राहत शिविरों में रहने को मजबूर हैं. भू धंसाव के कारण दरारें लगातार बढ़ने से कभी भी लोगों के आशियाने जमींदोज हो सकते हैं. वहीं जोशीमठ में पुनर्वास और विस्थापन की मांग को लेकर जोशीमठ बचाओ संघर्ष समिति का तहसील परिसर में धरना जारी है. वहीं थराली विधायक भूपाल राम टम्टा ने आपदा पीड़ितों से मुलाकात कर उनकी समस्याओं को जाना और निस्तारण का भरोसा दिलाया.

वहीं सरकार के द्वारा जोशीमठ आपदा प्रभावितों के पुनर्वास को लेकर तपोवन के पास ढाक गांव में एनटीपीसी की भूमि पर प्री-फैब्रिकेटेड हट बनाने का कार्य जारी है. सरकार की तरफ से पुनर्वास के लिये बनाई गई हाई पावर कमेटी के सदस्य और थराली विधानसभा सीट से विधायक भूपाल राम टम्टा ने ढाक गांव पहुंचकर प्री-फैब्रिकेटेड हटों के कार्यों का निरीक्षण किया. उन्होंने बताया कि 15 दिनों के भीतर ढाक गांव में प्रभावितों के लिए प्री-फैब्रिकेटेड हट बनाकर तैयार कर दिए जाएंगे. साथ ही जोशीमठ के पास उद्यान विभाग की भूमि पर मॉडल प्री-फैब्रिकेटेड हट बनकर तैयार हो चुका है. जल्द ही प्रभावितों का पुनर्वास किया जाएगा.
पढ़ें-Joshimath Sinking: भू धंसाव के बाद आजतक नहीं बना जोशीमठ का बेस मैप, GIS लैब को ठिकाने लगा के बाद भटक रहा आपदा प्रबंधन

इस दौरान भूपाल राम टम्टा ने नरसिंह मंदिर क्षेत्र और सिंगधार वार्ड में बनाए आपदा राहत शिविरों में जाकर आपदा पीड़ितों का हालचाल जाना. साथ ही उन्होंने आपदा प्रभावितों को भरोसा दिलाते हुए कहा कि सरकार जल्द ही आपदा प्रभावितों का पुनर्वास करेगी. जिसके लिये सरकार के द्वारा शासन स्तर पर योजना बनाई जा रही है. बता दें कि आपदा प्रभावित जोशीमठ में लोगों की घरों में दरारें लगातार बढ़ रही हैं. वहीं जोशीमठ में वर्तमान में भू धंसाव से अभी तक 863 भवनों में दरारें चिन्हित की गई हैं. जबकि 181 भवनों को असुरक्षित जोन में रखा गया है. वहीं प्रभावित 282 परिवारों के 947 सदस्यों को राहत शिविरों में शिफ्ट किया गया है. वहीं चमोली जिला प्रशासन के मुताबिक अभी तक 585 प्रभावितों को 388.27 लाख की राहत धनराशि दी जा चुकी है.

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