चमोलीः तपोवन दैवीय आपदा में लापता लोगों को मृत घोषित करने और पीड़ित परिवारों को राहत राशि देने की प्रक्रिया जारी है. इस आपदा में लापता हुए 153 में से 92 लोगों का मृत्यु प्रमाण जारी किया जा चुका है. जबकि, पीड़ित परिवारों को 4-4 लाख रुपये की अनुग्रह राशि भी दी जा रही है.
गौर हो कि बीते 7 फरवरी को रैणी गांव के पास ग्लेशियर टूटने से ऋषि गंगा नदी में उफान आ गया था. इस दौरान रैणी गांव के नीचे बना ऋषि गंगा पावर प्रोजेक्ट और तपोवन में एनटीपीसी का निर्माणाधीन पावर प्रोजेक्ट पूरी तरह तबाह हो गया था. इस आपदा में करीब 204 लोग मलबे में दब गए थे, जिसमें से 83 लोगों के शव बरामद हो चुके हैं. वहीं, 121 लोग अभी भी लापता हैं.
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92 मृतकों के परिजनों को दी 3 करोड़ 68 लाख रुपये की सहायता
जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया के निर्देश के बाद उपजिलाधिकारी कुमकुम जोशी की ओर से 153 लापता लोगों के लिए प्रारंभिक आदेश जारी किए गए थे. जिसमें से 92 लोगों के मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने के बाद अनुग्रह अनुदान मद से सहायता राशि का भुगतान किया गया है. सभी 92 मृतकों के परिवारों को प्रति परिवार 4-4 लाख की दर से कुल 3 करोड़ 68 लाख रुपये की सहायता वितरित की जा चुकी है.
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चमोली जिले के 43 लापता/मृत व्यक्तियों के परिजनों को दी जा चुकी है राशि
चमोली जिले के 43 लापता/मृत व्यक्तियों के परिजनों को बीते अप्रैल महीने में ही अनुमन्य सहायता राशि का वितरण किया जा चुका है. जोशीमठ एसडीएम कुमकुम जोशी की ओर से गुरुवार को भी 29 अन्य लापता व्यक्तियों का अंतिम आदेश के तहत मृत्यु प्रमाण पत्र जारी कर दिया गया है.
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एसडीएम जोशी ने बताया कि आपदा में लापता हुए व्यक्तियों के मृत्यु पंजीकरण के संबध में प्रारंभिक आदेश जारी करने के बाद उनके जिले और राज्यों को समाचार पत्रों में प्रकाशन हेतु प्रपत्र भेजे गए थे. लेकिन संबंधित राज्यों से अभी तक आख्या नहीं मिल पाई है. इस कारण कारण मृत्यु पंजीकरण नहीं हो पाया है.