चमोलीः प्रसिद्ध बदरीनाथ धाम के कपाट बीते 15 मई को खुल चुके हैं, लेकिन कोरोना संक्रमण के मद्देनजर बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं को दर्शन की अनुमति नहीं दी गई थी. वहीं स्थानीय श्रद्धालुओं को ही मंदिर में दर्शन की अनुमति दी गई है. इसी कड़ी में पहले दिन माणा और बामणी गांव के स्थानीय श्रद्धालुओं और धाम में रहने वाले साधु-संतों समेत 92 लोगों ने बदरी विशाल के दर्शन किए.
बता दें कि, बुधवार देर शाम को जिलाधिकारी चमोली स्वाति एस भदौरिया ने बदरीनाथ धाम में दर्शन को लेकर एक गाइड लाइन जारी की थी. जिसके तहत आगामी 30 जून तक भगवान बदरीनाथ के दर्शन की अनुमति सिर्फ बामणी, माणा गांव और नगर पंचायत बदरीनाथ के लोगों को ही दी गई. जिसके बाद गुरुवार को बामणी और माणा गांव के लोगों ने भगवान बदरी विशाल के दर्शन किए.
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फिलहाल, अनलॉक-1.0 में चमोली जिले समेत बाहरी प्रदेशों के लोगों को दर्शन की अनुमति नहीं है. नियमावली में यह स्पष्ट किया गया है कि मुख्यद्वार के मचान से बदरीनाथ भगवान के दर्शन होंगे. किसी भी श्रद्धालु को सभा मंडप, गर्भगृह में जाने की अनुमति नहीं है. देवस्थानम बोर्ड की ओर से दर्शन के लिए निःशुल्क टोकन की व्यवस्था की गई है. वहीं, स्थानीय श्रद्धालु सुबह 7 बजे से लेकर शाम 7 बजे तक ही भगवान बदरीनाथ के दर्शन कर पाएंगे. जबकि, यह व्यवस्था फिलहाल 30 जून तक लागू रहेगी.
वहीं, कपाट खुलने के बाद पहली बार भगवान बदरी विशाल के दर्शन को लेकर स्थानीय ग्रामीणों में जबरदस्त उत्साह देखने को मिला. ग्रामीणों का कहना है कि मानों ऐसा लग रहा है कि आज ही भगवान बदरी विशाल के कपाट खुल रहे हैं. बच्चे, बुजुर्ग, हर कोई भगवान बदरी विशाल के दर्शन के लिए गांव से पैदल ही पहुंचे.