बागेश्वरः उत्तराखंड में एक बार फिर से जंगल सुलगने लगे हैं. अभी तक मौसम मेहरबान होने की वजह से वनाग्नि की घटनाओं पर रोक लगी थी, लेकिन अब आसमान साफ होते ही वनाग्नि की घटनाओं में तेजी देखी जा रही है. बागेश्वर जिले में जंगल धू-धूकर जलने लगे हैं. बागेश्वर, कांडा, काफलीगैर, कालीधार, रतघर और धरमघर रेंज में जंगल जल रहे हैं. अभी तक बागेश्वर जिले में 12 वनाग्नि की घटनाएं दर्ज हुई है. जिसमें 11.75 हेक्टेयर वन क्षेत्र जलकर राख हुई तो 35,250 रुपए के वन संपदा का नुकसान हुआ है.
बता दें कि बागेश्वर समेत कपकोट, काफलीगैर, कांडा, कालीधार के जंगल में कई दिनों से आग लग रही है. हालांकि, वन विभाग जंगलों की आग बुझाने के लिए कड़ी मशक्कत कर रहा है. जंगल में पिरूल गिरा होने से अब तक वन संपदा को काफी नुकसान हो चुका था. वहीं, इसके अलावा छोटी-छोटी घटनाएं भी अब देखने को मिलने लगी है.
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ग्रामीण शेखर चंद्र ने बताया कि आग लगने के बावजूद वन विभाग की टीम सही समय पर नहीं पहुंच रही है. जिससे जंगलों की आग ज्यादा बढ़ रही है. हालांकि, कई जगह ग्रामीण खुद ही आग बुझा रहे हैं. वहीं, जंगलों में आग लगने से बागेश्वर नगर समेत पूरे क्षेत्र में धुआं फैला रहा है. वन संपदा के नुकसान के साथ लोगों के स्वास्थ्य पर भी बुरा प्रभाव पड़ रहा है.
वहीं, बागेश्वर के प्रभारी वनाधिकारी श्याम सिंह करायत का कहना है कि आग लगने की सूचना मिलते ही वन विभाग के कर्मचारी मौके पर पहुंच रहे हैं और आग बुझाने का काम कर रहे हैं. जहां भी आग की सूचना मिल रही है, वन विभाग के कर्मचारियों को भेजकर जल्द आग को काबू किया जा रहा है. उन्होंने ग्रामीणों से सहयोग की अपील की है.