ETV Bharat / state

भूवैज्ञानिकों ने किया हाइड्रो पावर टनल के ऊपर बने गड्ढे का निरीक्षण, ग्रामीणों के डर को जायज बताया - भूवैज्ञानिकों ने गड्ढे का निरीक्षण किया

कपकोट के खारबगड़ में हाइड्रो पावर कंपनी की टनल के ऊपर पहाड़ी में जमीन धंसी है. जिसके कारण खतरे के बादल मंडरा रहे हैं. लिहाजा, ग्रामीणों की मांग पर भूवैज्ञानिकों की टीम ने मौके पर पहुंचकर स्थिति का निरीक्षण किया. उन्होंने ग्रामीणों के डर को जायज ठहराया है.

Geologists team inspected Pit
गड्ढे का निरीक्षण
author img

By

Published : Jul 8, 2022, 11:52 AM IST

Updated : Jul 8, 2022, 12:06 PM IST

बागेश्वरः हाइड्रो पावर कंपनी के खारबगड़ के घुघुलेख में टनल के ऊपर बने गड्ढे की जांच शुरू हो गई है. कोलकाता से आए भूवैज्ञानिकों ने भूधंसाव का गहनता से निरीक्षण किया और आसपास की मिट्टी व पत्थर समेत अन्य सामग्री को एकत्रित किया. एकत्र सामग्री की जांच करने के बाद वैज्ञानिक अपनी आख्या रिपोर्ट कंपनी व तहसील प्रशासन को सौंपेंगे.

बता दें कि कपकोट में उत्तर भारत हाइड्रो पावर कंपनी (Uttar Bharat Hydro Power Private Limited) की टनल के ऊपर जमीन धंस गई थी. जिससे खारबगड़ के ग्रामीण काफी डरे हुए हैं. ग्रामीणों ने इसकी जानकारी तहसील प्रशासन को दी और टनल की जांच करने की मांग की थी. ग्रामीणों को डर था कि टनल फटेगी तो क्षेत्र को काफी बड़ा नुकसान हो सकता है. जिस पर तहसील प्रशासन ने कंपनी को जांच कराने के लिए नोटिस भेजा था. जिसका संज्ञान लेते हुए कंपनी की ओर से भूवैज्ञानिकों को जांच के लिए बुलाया गया.

ये भी पढ़ेंः बागेश्वर में हाइड्रो पावर कंपनी के टनल के ऊपर जमीन धंसी, लोगों में खौफ

भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण संस्थान कोलकाता से सेवानिवृत्त वरिष्ठ उप महानिदेशक डॉ प्रभास पांडे टनल के ऊपर बने गड्ढे की जांच करने के लिए कपकोट पहुंचे. इस दौरान वैज्ञानिक प्रभास पांडे, कानूनगो जगदीश प्रसाद, प्रधान भुवन ऐठानी, पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य हयात बड़ती ने घुघुलेख टनल के पास होने वाले भू-धंसाव का निरीक्षण किया. वैज्ञानिक डॉक्टर पांडे ने आसपास के इलाके का बारीकी से सर्वेक्षण किया. उन्होंने भूमि में हो रहे बदलाव का जायजा लेने के लिए वहां से मिट्टी और पत्थरों को एकत्र किया. जिनका बारीकी से अध्ययन किया जाएगा.

भूवैज्ञानिकों ने किया आगाहः भूवैज्ञानिक प्रभास पांडे (Geologist Prabhas Pandey) ने बताया कि ग्रामीणों का डर जायज है. जिस तरह से बदलाव हो रहे हैं, उसको गंभीरता से लेना होगा. टनल से करीब 50 से 60 मीटर की दूरी पर बना गड्ढा डर का असली कारण है. डॉक्टर पांडे ने कहा कि अनुमान है कि भारी बारिश की वजह से जमीन धंस गई होगी. हालांकि, वास्तविक स्थिति के बारे में विस्तृत जांच के बाद ही पता चल सकेगा.

क्या बोले जिलाधिकारी? वहीं, बागेश्वर जिलाधिकारी विनीत कुमार (Bageshwar DM Vineet Kumar) ने बताया कि भू-धंसाव की जानकारी के बाद जिला प्रशासन ने तहसील प्रशासन के माध्यम से कंपनी को नोटिस भेजा था. जिसके बाद कंपनी ने भूवैज्ञानिक बुलाए हैं और उनकी जांच जारी है. इसके अलावा जिला प्रशासन भी अपनी टीम भेजकर जांच करेगा.

बागेश्वरः हाइड्रो पावर कंपनी के खारबगड़ के घुघुलेख में टनल के ऊपर बने गड्ढे की जांच शुरू हो गई है. कोलकाता से आए भूवैज्ञानिकों ने भूधंसाव का गहनता से निरीक्षण किया और आसपास की मिट्टी व पत्थर समेत अन्य सामग्री को एकत्रित किया. एकत्र सामग्री की जांच करने के बाद वैज्ञानिक अपनी आख्या रिपोर्ट कंपनी व तहसील प्रशासन को सौंपेंगे.

बता दें कि कपकोट में उत्तर भारत हाइड्रो पावर कंपनी (Uttar Bharat Hydro Power Private Limited) की टनल के ऊपर जमीन धंस गई थी. जिससे खारबगड़ के ग्रामीण काफी डरे हुए हैं. ग्रामीणों ने इसकी जानकारी तहसील प्रशासन को दी और टनल की जांच करने की मांग की थी. ग्रामीणों को डर था कि टनल फटेगी तो क्षेत्र को काफी बड़ा नुकसान हो सकता है. जिस पर तहसील प्रशासन ने कंपनी को जांच कराने के लिए नोटिस भेजा था. जिसका संज्ञान लेते हुए कंपनी की ओर से भूवैज्ञानिकों को जांच के लिए बुलाया गया.

ये भी पढ़ेंः बागेश्वर में हाइड्रो पावर कंपनी के टनल के ऊपर जमीन धंसी, लोगों में खौफ

भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण संस्थान कोलकाता से सेवानिवृत्त वरिष्ठ उप महानिदेशक डॉ प्रभास पांडे टनल के ऊपर बने गड्ढे की जांच करने के लिए कपकोट पहुंचे. इस दौरान वैज्ञानिक प्रभास पांडे, कानूनगो जगदीश प्रसाद, प्रधान भुवन ऐठानी, पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य हयात बड़ती ने घुघुलेख टनल के पास होने वाले भू-धंसाव का निरीक्षण किया. वैज्ञानिक डॉक्टर पांडे ने आसपास के इलाके का बारीकी से सर्वेक्षण किया. उन्होंने भूमि में हो रहे बदलाव का जायजा लेने के लिए वहां से मिट्टी और पत्थरों को एकत्र किया. जिनका बारीकी से अध्ययन किया जाएगा.

भूवैज्ञानिकों ने किया आगाहः भूवैज्ञानिक प्रभास पांडे (Geologist Prabhas Pandey) ने बताया कि ग्रामीणों का डर जायज है. जिस तरह से बदलाव हो रहे हैं, उसको गंभीरता से लेना होगा. टनल से करीब 50 से 60 मीटर की दूरी पर बना गड्ढा डर का असली कारण है. डॉक्टर पांडे ने कहा कि अनुमान है कि भारी बारिश की वजह से जमीन धंस गई होगी. हालांकि, वास्तविक स्थिति के बारे में विस्तृत जांच के बाद ही पता चल सकेगा.

क्या बोले जिलाधिकारी? वहीं, बागेश्वर जिलाधिकारी विनीत कुमार (Bageshwar DM Vineet Kumar) ने बताया कि भू-धंसाव की जानकारी के बाद जिला प्रशासन ने तहसील प्रशासन के माध्यम से कंपनी को नोटिस भेजा था. जिसके बाद कंपनी ने भूवैज्ञानिक बुलाए हैं और उनकी जांच जारी है. इसके अलावा जिला प्रशासन भी अपनी टीम भेजकर जांच करेगा.

Last Updated : Jul 8, 2022, 12:06 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.