मसूरी/काशीपुर/डोइवाला: उत्तराखंड में इन दिनों छात्र संघ चुनाव की सरगर्मियां देखने को मिल रही है. अलग-अलग शहरों के कॉलेजों में प्रत्याशी छात्रों को लुभाने की कोशिश में लगे हुए है. ताकि इस चुनाव में वो जीत का परचम लहरा सके.
मसूरी के एमपीजी कॉलेज में छात्र संघ चुनाव के मद्देनजर विधायक गणेश जोशी ने एबीवीपी के कार्यकर्ताओं और प्रत्याशियों के साथ बैठक कर उनको जीत का मंत्र दिया. इस दौरान गणेश जोशी ने कहा कि एबीवीपी छात्रों द्वारा इसके लिए काम किया गया है. एबीवीपी राष्ट्रवादी संगठन है जो राष्ट्र और सामाजिक हित की बात करता है. साथ ही कहा कि पिछली बार मसूरी एमपीजी कॉलेज के छात्रसंघ चुनाव के अध्यक्ष पद की सीट 186 मतों से जीती थी और इस बार भी छात्रों के सहयोग से भारी मतों से जीत हासिल करेंगी.
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काशीपुर में राधे हरी राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय में छात्रसंघ चुनाव होना है. शांतिपूर्वक और निष्पक्ष चुनाव कराने को लेकर स्थानीय प्रशासन और कॉलेज प्रशासन ने कमर कस ली है. चुनाव को निष्पक्ष सम्पन्न कराने के लिए महाविद्यालय में कुल 13 सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं. साथ ही मतगणना की वीडियोग्राफी भी करवाई जाएगी. काशीपुर उप जिलाधिकारी सुंदर सिंह तोमर ने कहा कि छात्रसंघ चुनाव के लिए प्रशासन पूरी तरह से तैयार है.
वहीं, डोइवाला में 9 सितंबर 2019 को शहीद दुर्गा मल राजकीय डिग्री कॉलेज में होने वाला छात्र संघ चुनाव अब महज खानापूर्ति का चुनाव रह गया है. 6 सितंबर को एनएसयूआई ने चुनाव बहिष्कार कर अपने सभी पैनल के नाम वापिस ले लिए थे. जिसके बाद अब 8 सितंबर को निर्दलीय प्रत्याशियों ने भी चुनाव बहिष्कार का एलान कर दिया है.
एनएसयूआई और निर्दलीय प्रत्याशियों के नाम वापिस लेने के बाद एबीवीपी के तीन प्रत्याशी निर्विरोध चुन लिए गए हैं. अब एबीवीपी और आजाद संगठन के बीच महासचिव पद के लिए टक्कर होगी.
छात्र नेता अनुज जोशी का कहना है कि उनके प्रत्याशी उपाध्यक्ष पद पर कुणाल सिलस्वाल और विश्वविद्यालय प्रतिनिधि आरती चौहान निर्दलीय के रूप में छात्र संघ का चुनाव लड़ रहे थे. लेकिन सरकार के दबाव में प्रशासन छात्र संघ चुनाव को प्रभावित करने का काम कर रही है. साथ ही कुछ छात्र फर्जी तरीके से आई कार्ड बनाकर घूम रहे हैं.
वहीं, एबीवीपी के नेता ने कहा कि एनएसयूआई के प्रत्याशी का जाति प्रमाण पत्र गलत पाया गया था. इसकी जांच तहसील प्रशासन द्वारा की गई थी. जिसके बाद ही एनएसयूआई के प्रत्याशी का नामांकन निरस्त हुआ था.