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हरिद्वार का होटल अलकनंदा रोज कमा रहा 1 लाख रुपए, पहले भरता था यूपी की तिजोरी

इस साल पांच मई से पहले तक यूपी के कब्जे में रहा हरिद्वार का होटल अलकनंदा अब उत्तराखंड का हो चुका है. होटल अलकनंदा उत्तराखंड सरकार की जमकर तिजोरी भर रहा है. होटल से एक दिन में एक लाख से ऊपर का रेवेन्यू मिल रहा है.

Hotel Alaknanda in Haridwar
होटल अलकनंदा
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Published : Jun 23, 2022, 10:50 AM IST

Updated : Jun 23, 2022, 2:17 PM IST

देहरादून/हरिद्वार: उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में दोबारा जीतकर आई भाजपा सरकार के संयुक्त प्रयासों से परिसंपत्ति बंटवारा हुआ था. बंटवारे के बाद उत्तराखंड के हिस्से में आए हरिद्वार के अलकनंदा होटल से राज्य को मोटा राजस्व प्राप्त हो रहा है. अलकनंदा होटल से उत्तराखंड सरकार को हर दिन एक लाख रुपए का राजस्व प्राप्त हो रहा है.

राज्य गठन के बाद से यूपी के पास था होटल अलकनंदा: राज्य गठन के बाद पिछले 21 सालों से उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बीच परिसंपत्ति बंटवारे का मामला लटका हुआ था. होटल अलकनंदा भी यूपी के कब्जे में था. वर्ष 2017 में पहली बार ऐसा हुआ जब उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में एक ही पार्टी की सरकार आई. उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री बने योगी आदित्यनाथ और उत्तराखंड में भाजपा के त्रिवेंद्र रावत के मुख्यमंत्री बनने के बाद परिसंपत्ति विवाद सुलझने लगा. इस दौरान राजनीतिक गलियारों में ट्रिपल इंजन का भी जिक्र खूब किया जाता था.

होटल अलकनंदा कर रहा जमकर कमाई

21 साल बाद उत्तराखंड को मिला होटल अलकनंदा: वहीं दूसरी तरफ केंद्र, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में एक ही सरकार होने के चलते लोगों की सबसे ज्यादा उम्मीद परिसंपत्ति बंटवारे को लेकर थी, जो कि पिछले 16 सालों में अलग-अलग राजनीतिक दलों के चलते सुलझ नहीं पाया था. उत्तराखंड में त्रिवेंद्र सिंह रावत के मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली दफा उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बीच परिसंपत्ति के बंटवारे को लेकर सार्थक प्रयास शुरू हुए. इस दौरान पूरे 5 साल इस प्रक्रिया में लग गए और अब एक बार फिर से वर्ष 2022 में जब उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में भाजपा ने दोबारा परचम लहराया तो इन प्रयासों का परिणाम देखने को मिल रहा है.

बीते 4 मई को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उत्तराखंड दौरे पर आए. इस दौरान वह अपने पैतृक गांव तो गए, इसके अलावा उन्होंने उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच परिसंपत्तियों के बंटवारे को लेकर बड़ा कदम उठाते हुए हरिद्वार के अलकनंदा होटल को उत्तराखंड सरकार को सौंपा. तब तक उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग द्वारा इस होटल को संचालित किया जा रहा था. वहीं उत्तराखंड द्वारा दी गई जमीन पर बने उत्तर प्रदेश के नवनिर्मित गेस्ट हाउस का उद्घाटन किया.
ये भी पढ़िए: हरिद्वार में यूपी के होटल भागीरथी का लोकार्पण, योगी ने धामी को सौंपी अलकनंदा गेस्ट हाउस की चाभी

एक दिन में 1 लाख रेवेन्यू दे रहा होटल अलकनंदा: उत्तर प्रदेश से उत्तराखंड को सौंपे गए अलकनंदा होटल का संचालन फिलहाल गढ़वाल मंडल विकास निगम (GMVN) द्वारा किया जा रहा है. गढ़वाल मंडल विकास निगम की प्रबंध निदेशक स्वाति भदौरिया ने बताया कि बंटवारे के बाद जब से जीएमवीएन को अलकनंदा होटल का संचालन मिला है, तब से इस होटल से अच्छी खासी कमाई हो रही है. उन्होंने बताया कि हर दिन अलकनंदा होटल से तकरीबन एक लाख से ज्यादा रेवेन्यू जेनरेट होता है. केवल यही नहीं हरिद्वार में गढ़वाल मंडल विकास निगम द्वारा अपने राही गेस्ट हाउस का भी आधुनिकीकरण किया जा रहा है. अपग्रेड करके इसे लग्जरी होटल के रूप में विकसित किया जा रहा है. जिसके बाद हरिद्वार से गढ़वाल मंडल विकास निगम को अच्छा खासा रेवेन्यू मिल पाएगा.

देहरादून/हरिद्वार: उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में दोबारा जीतकर आई भाजपा सरकार के संयुक्त प्रयासों से परिसंपत्ति बंटवारा हुआ था. बंटवारे के बाद उत्तराखंड के हिस्से में आए हरिद्वार के अलकनंदा होटल से राज्य को मोटा राजस्व प्राप्त हो रहा है. अलकनंदा होटल से उत्तराखंड सरकार को हर दिन एक लाख रुपए का राजस्व प्राप्त हो रहा है.

राज्य गठन के बाद से यूपी के पास था होटल अलकनंदा: राज्य गठन के बाद पिछले 21 सालों से उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बीच परिसंपत्ति बंटवारे का मामला लटका हुआ था. होटल अलकनंदा भी यूपी के कब्जे में था. वर्ष 2017 में पहली बार ऐसा हुआ जब उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में एक ही पार्टी की सरकार आई. उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री बने योगी आदित्यनाथ और उत्तराखंड में भाजपा के त्रिवेंद्र रावत के मुख्यमंत्री बनने के बाद परिसंपत्ति विवाद सुलझने लगा. इस दौरान राजनीतिक गलियारों में ट्रिपल इंजन का भी जिक्र खूब किया जाता था.

होटल अलकनंदा कर रहा जमकर कमाई

21 साल बाद उत्तराखंड को मिला होटल अलकनंदा: वहीं दूसरी तरफ केंद्र, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में एक ही सरकार होने के चलते लोगों की सबसे ज्यादा उम्मीद परिसंपत्ति बंटवारे को लेकर थी, जो कि पिछले 16 सालों में अलग-अलग राजनीतिक दलों के चलते सुलझ नहीं पाया था. उत्तराखंड में त्रिवेंद्र सिंह रावत के मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली दफा उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के बीच परिसंपत्ति के बंटवारे को लेकर सार्थक प्रयास शुरू हुए. इस दौरान पूरे 5 साल इस प्रक्रिया में लग गए और अब एक बार फिर से वर्ष 2022 में जब उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में भाजपा ने दोबारा परचम लहराया तो इन प्रयासों का परिणाम देखने को मिल रहा है.

बीते 4 मई को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उत्तराखंड दौरे पर आए. इस दौरान वह अपने पैतृक गांव तो गए, इसके अलावा उन्होंने उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच परिसंपत्तियों के बंटवारे को लेकर बड़ा कदम उठाते हुए हरिद्वार के अलकनंदा होटल को उत्तराखंड सरकार को सौंपा. तब तक उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग द्वारा इस होटल को संचालित किया जा रहा था. वहीं उत्तराखंड द्वारा दी गई जमीन पर बने उत्तर प्रदेश के नवनिर्मित गेस्ट हाउस का उद्घाटन किया.
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एक दिन में 1 लाख रेवेन्यू दे रहा होटल अलकनंदा: उत्तर प्रदेश से उत्तराखंड को सौंपे गए अलकनंदा होटल का संचालन फिलहाल गढ़वाल मंडल विकास निगम (GMVN) द्वारा किया जा रहा है. गढ़वाल मंडल विकास निगम की प्रबंध निदेशक स्वाति भदौरिया ने बताया कि बंटवारे के बाद जब से जीएमवीएन को अलकनंदा होटल का संचालन मिला है, तब से इस होटल से अच्छी खासी कमाई हो रही है. उन्होंने बताया कि हर दिन अलकनंदा होटल से तकरीबन एक लाख से ज्यादा रेवेन्यू जेनरेट होता है. केवल यही नहीं हरिद्वार में गढ़वाल मंडल विकास निगम द्वारा अपने राही गेस्ट हाउस का भी आधुनिकीकरण किया जा रहा है. अपग्रेड करके इसे लग्जरी होटल के रूप में विकसित किया जा रहा है. जिसके बाद हरिद्वार से गढ़वाल मंडल विकास निगम को अच्छा खासा रेवेन्यू मिल पाएगा.

Last Updated : Jun 23, 2022, 2:17 PM IST
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