वाराणसी: काशी हिंदू विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय सेवा योजना के तत्वाधान में 'आत्मनिर्भर भारत जागो युवा जागो भारत' कार्यक्रम के सातवें ऑनलाइन राष्ट्रीय युवा संगीत सम्मेलन का आयोजन संपन्न हुआ. यह कार्यक्रम 'आत्मनिर्भर भारत जागो युवा जागो भारत' कार्यक्रम की श्रृंखला में किया गया. राष्ट्रीय युवा संगीत सम्मेलन का उद्घाटन भारत सरकार युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय के राष्ट्रीय सेवा योजना की क्षेत्रीय निदेशक डॉ. अशोक श्रोती ने किया.
ऑनलाइन राष्ट्रीय संगीत सम्मेलन का शुभारंभ शास्त्रीय गायन सेवा से आरंभ किया गया. इस दौरान राग यमन में देवाधिदेव महादेव की स्तुति और उसके उपरांत ‘पायोजी मैंने राम रतन धन पायो’ भजन की प्रस्तुति की गई. इस कार्यक्रम में देश के विभिन्न हिस्सों से छात्रों ने अपनी प्रस्तुति दी. वहीं इस कार्यक्रम की अंतिम प्रस्तुति में बनारस के कजरी की शानदार प्रस्तुति गई. इस कार्यक्रम में विभिन्न राज्य के कलाकारों ने अपने-अपने प्रदेश की शानदार प्रस्तुति की.
इस कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में राजीव गांधी केंद्रीय विश्वविद्यालय अरुणाचल प्रदेश के कला एवं संगीत विभाग के अध्यक्ष डॉ. अशोक वर्मन शामिल हुए. उन्होंने कहा कि भारत की संस्कृति एकता पर हमें गर्व है. भारत अपने विविध सांस्कृतिक धरोहर के कारण ही पूरी दुनिया भर में जाना जाता है. इतने विशाल देश में विविध भाषा, विविध खानपान, विविध रीति-रिवाज और विविध सांस्कृतिक आयोजन के बावजूद हम एक हैं, यही हमारी एकता की सबसे बड़ी मजबूती है.
वाराणसीः लोकगीतों के माध्यम से जीवनशैली के परिवर्तन का दिया गया संदेश - वाराणसी समाचार
यूपी की धार्मिक राजधानी कही जाने वाली वाराणसी नगरी में सोमवार को सातवें ऑनलाइन राष्ट्रीय युवा संगीत सम्मेलन का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम में देश के विभिन्न हिस्सों से छात्रों ने अपनी प्रस्तुति दी. वहीं इस कार्यक्रम की अंतिम प्रस्तुति में बनारस के कजरी की शानदार प्रस्तुति गई.
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वाराणसी: काशी हिंदू विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय सेवा योजना के तत्वाधान में 'आत्मनिर्भर भारत जागो युवा जागो भारत' कार्यक्रम के सातवें ऑनलाइन राष्ट्रीय युवा संगीत सम्मेलन का आयोजन संपन्न हुआ. यह कार्यक्रम 'आत्मनिर्भर भारत जागो युवा जागो भारत' कार्यक्रम की श्रृंखला में किया गया. राष्ट्रीय युवा संगीत सम्मेलन का उद्घाटन भारत सरकार युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय के राष्ट्रीय सेवा योजना की क्षेत्रीय निदेशक डॉ. अशोक श्रोती ने किया.
ऑनलाइन राष्ट्रीय संगीत सम्मेलन का शुभारंभ शास्त्रीय गायन सेवा से आरंभ किया गया. इस दौरान राग यमन में देवाधिदेव महादेव की स्तुति और उसके उपरांत ‘पायोजी मैंने राम रतन धन पायो’ भजन की प्रस्तुति की गई. इस कार्यक्रम में देश के विभिन्न हिस्सों से छात्रों ने अपनी प्रस्तुति दी. वहीं इस कार्यक्रम की अंतिम प्रस्तुति में बनारस के कजरी की शानदार प्रस्तुति गई. इस कार्यक्रम में विभिन्न राज्य के कलाकारों ने अपने-अपने प्रदेश की शानदार प्रस्तुति की.
इस कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में राजीव गांधी केंद्रीय विश्वविद्यालय अरुणाचल प्रदेश के कला एवं संगीत विभाग के अध्यक्ष डॉ. अशोक वर्मन शामिल हुए. उन्होंने कहा कि भारत की संस्कृति एकता पर हमें गर्व है. भारत अपने विविध सांस्कृतिक धरोहर के कारण ही पूरी दुनिया भर में जाना जाता है. इतने विशाल देश में विविध भाषा, विविध खानपान, विविध रीति-रिवाज और विविध सांस्कृतिक आयोजन के बावजूद हम एक हैं, यही हमारी एकता की सबसे बड़ी मजबूती है.