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वाराणसी : इस बार बोर्ड परीक्षा में ग्रामीण छात्रों ने मारी बाजी, रिजल्ट देख खिले चेहरे

उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के 10वीं और 12वीं के नतीजे शनिवार को घोषित कर दिए गए. आज दोपहर करीब 12:30 बजे दसवीं और इंटरमीडिएट का परिणाम घोषित किया गया. इस बार शहरों की अपेक्षा ग्रामीण विद्यार्थियों ने बाजी मारी है.

up board result 2020
यूपी बोर्ड रिजल्ट 2020
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Published : Jun 27, 2020, 10:39 PM IST

वाराणसी: शनिवार को यूपी बोर्ड के 10वीं और 12वीं के परीक्षा परिणाम घोषित कर दिए गए. परीक्षा परिणाम देखकर विद्यार्थियों के चेहरे खुशी से खिल उठे. शिक्षक और सगे संबंधियों ने विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की. आज दोपहर करीब 12:30 बजे दसवीं और इंटरमीडिएट का परिणाम घोषित किया गया. सभी विद्यार्थी अपना रिजल्ट देखकर खुश नजर आए. इसके बाद सभी छात्रों ने अपने मित्रों संग जश्न मनाया. वहीं इस बार शहरों की अपेक्षा ग्रामीण विद्यार्थियों ने बाजी मारी है.

ग्रामीण छात्रों ने बाजी मारी
बनारस में हाईस्कूल के छात्र धीरज पटेल ने 92.83 प्रतिशत अंक पाकर जिले में प्रथम स्थान प्राप्त किया. वहीं शेष सोनकर ने 92.17 प्रतिशत अंक पाकर दूसरा स्थान प्राप्त किया. इसके साथ ही छात्रा साबया पांडेय ने 91.83 प्रतिशत अंक पाकर तीसरा स्थान हासिल किया. साथ ही छात्र आकाश कुमार ने 91.67 प्रतिशत अंक पाकर चौथा स्थान प्राप्त किया.

इंटरमीडिएट की बात करें तो छात्र अक्षय कुमार ने 87.80 प्रतिशत अंक पाकर प्रथम स्थान प्राप्त किया. हर्ष कुमार पटेल ने 87.60 प्रतिशत अंक पाकर दूसरा, वही छात्रा खुशबू मोदनवाल ने 85.60 प्रतिशत अंक पाकर तीसरा स्थान हासिल किया. इस बार शहरों की अपेक्षा ग्रामीण विद्यार्थियों ने बाजी मारी है.

छात्रों ने अपने सपनों के बताया
हाईस्कूल में प्रथम स्थान रखने वाले छात्र धीरज पटेल ने बताया कि उसने अपने परिवार और गुरुजनों की मदद से इस परीक्षा में सफलता हासिल की है. वह आगे भी ऐसे ही मेहनत से परिश्रम कर समाज के लिए कुछ करना चाहते हैं. चौथा स्थान प्राप्त करने वाले आकाश ने कहा कि वह आगे चलकर यूपीएससी की तैयारी कर आईएएस बनना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि मैं अपने माता-पिता को अपना आइडियल मानता हूं.

हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं इस वर्ष 18 फरवरी से शुरू हुई थी. दसवीं की परीक्षा 3 मार्च को और 12वीं की 6 मार्च को समाप्त हुई थी. इस वर्ष हाईस्कूल की परीक्षाएं 15 दिन और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं 18 दिनों में समाप्त हो गई थीं. विगत 2 वर्षों से बोर्ड ने इंटर के सभी विषय के पेपर एक कर दिए हैं. यही कारण है कि एक से डेढ़ महीने तक चलने वाली परीक्षा अब 18 दिनों में ही खत्म हो जा रही हैं.


कॉपियों का मूल्यांकन 19 मई से हुआ था शुरू
विद्यार्थियों के कॉपियों के मूल्यांकन की बात करें तो बोर्ड कॉपियों का मूल्यांकन 18 मार्च को शुरू कर दिया था. कोरोना की वजह से लगे लॉकडाउन के कारण मूल्यांकन को स्थगित करना पड़ा. इसके बाद कई जिलों में 5 मई से पुनः मूल्यांकन का कार्य शुरू हुआ. वाराणसी रेड होने के चलते यहां 19 मई से पुनः मूल्यांकन शुरू हुआ. 31 मई तक मूल्यांकन का कार्य पूरा कर लिया गया था.

पिछले साल मूल्यांकन के बाद 56 दिनों के भीतर ही बोर्ड ने विद्यार्थियों के रिजल्ट घोषित कर दिए थे. इस बार कोरना के चलते विद्यार्थियों को 112 दिन का इंतजार करना पड़ा. पिछले साल दसवीं के परीक्षा में 80.07 फीसदी विद्यार्थी पास हुए थे, जबकि 12वीं कक्षा का रिजल्ट 70.6 फीसदी रहा था.

वाराणसी: शनिवार को यूपी बोर्ड के 10वीं और 12वीं के परीक्षा परिणाम घोषित कर दिए गए. परीक्षा परिणाम देखकर विद्यार्थियों के चेहरे खुशी से खिल उठे. शिक्षक और सगे संबंधियों ने विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की कामना की. आज दोपहर करीब 12:30 बजे दसवीं और इंटरमीडिएट का परिणाम घोषित किया गया. सभी विद्यार्थी अपना रिजल्ट देखकर खुश नजर आए. इसके बाद सभी छात्रों ने अपने मित्रों संग जश्न मनाया. वहीं इस बार शहरों की अपेक्षा ग्रामीण विद्यार्थियों ने बाजी मारी है.

ग्रामीण छात्रों ने बाजी मारी
बनारस में हाईस्कूल के छात्र धीरज पटेल ने 92.83 प्रतिशत अंक पाकर जिले में प्रथम स्थान प्राप्त किया. वहीं शेष सोनकर ने 92.17 प्रतिशत अंक पाकर दूसरा स्थान प्राप्त किया. इसके साथ ही छात्रा साबया पांडेय ने 91.83 प्रतिशत अंक पाकर तीसरा स्थान हासिल किया. साथ ही छात्र आकाश कुमार ने 91.67 प्रतिशत अंक पाकर चौथा स्थान प्राप्त किया.

इंटरमीडिएट की बात करें तो छात्र अक्षय कुमार ने 87.80 प्रतिशत अंक पाकर प्रथम स्थान प्राप्त किया. हर्ष कुमार पटेल ने 87.60 प्रतिशत अंक पाकर दूसरा, वही छात्रा खुशबू मोदनवाल ने 85.60 प्रतिशत अंक पाकर तीसरा स्थान हासिल किया. इस बार शहरों की अपेक्षा ग्रामीण विद्यार्थियों ने बाजी मारी है.

छात्रों ने अपने सपनों के बताया
हाईस्कूल में प्रथम स्थान रखने वाले छात्र धीरज पटेल ने बताया कि उसने अपने परिवार और गुरुजनों की मदद से इस परीक्षा में सफलता हासिल की है. वह आगे भी ऐसे ही मेहनत से परिश्रम कर समाज के लिए कुछ करना चाहते हैं. चौथा स्थान प्राप्त करने वाले आकाश ने कहा कि वह आगे चलकर यूपीएससी की तैयारी कर आईएएस बनना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि मैं अपने माता-पिता को अपना आइडियल मानता हूं.

हाईस्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं इस वर्ष 18 फरवरी से शुरू हुई थी. दसवीं की परीक्षा 3 मार्च को और 12वीं की 6 मार्च को समाप्त हुई थी. इस वर्ष हाईस्कूल की परीक्षाएं 15 दिन और इंटरमीडिएट की परीक्षाएं 18 दिनों में समाप्त हो गई थीं. विगत 2 वर्षों से बोर्ड ने इंटर के सभी विषय के पेपर एक कर दिए हैं. यही कारण है कि एक से डेढ़ महीने तक चलने वाली परीक्षा अब 18 दिनों में ही खत्म हो जा रही हैं.


कॉपियों का मूल्यांकन 19 मई से हुआ था शुरू
विद्यार्थियों के कॉपियों के मूल्यांकन की बात करें तो बोर्ड कॉपियों का मूल्यांकन 18 मार्च को शुरू कर दिया था. कोरोना की वजह से लगे लॉकडाउन के कारण मूल्यांकन को स्थगित करना पड़ा. इसके बाद कई जिलों में 5 मई से पुनः मूल्यांकन का कार्य शुरू हुआ. वाराणसी रेड होने के चलते यहां 19 मई से पुनः मूल्यांकन शुरू हुआ. 31 मई तक मूल्यांकन का कार्य पूरा कर लिया गया था.

पिछले साल मूल्यांकन के बाद 56 दिनों के भीतर ही बोर्ड ने विद्यार्थियों के रिजल्ट घोषित कर दिए थे. इस बार कोरना के चलते विद्यार्थियों को 112 दिन का इंतजार करना पड़ा. पिछले साल दसवीं के परीक्षा में 80.07 फीसदी विद्यार्थी पास हुए थे, जबकि 12वीं कक्षा का रिजल्ट 70.6 फीसदी रहा था.

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