सोनभद्रः कोर्ट ने पत्नी की हत्या के दोषी पति रामबली गुप्ता को दस वर्ष कैद और 15 हजार जुर्माने की सजा सुनाई है. वहीं, सास सुखवंती को साक्ष्यों के अभाव में बरी कर दिया. यह फैसला सत्र न्यायाधीश अशोक कुमार यादव की अदालत ने सोमवार को सुनाया.
अभियोजन पक्ष के मुताबिक राबर्ट्सगंज कोतवाली क्षेत्र के कमोजी गांव निवासी मुनीब गुप्ता पुत्र सहदेव गुप्ता ने सीजेएम न्यायालय में धारा 156(3) सीआरपीसी का प्रार्थना पत्र 4 अगस्त 2015 को दिया था. इसमें कहा था कि उसने अपनी बेटी सीमा की शादी राबर्ट्सगंज कोतवाली क्षेत्र के रघुनाथपुर गांव निवासी रामबली गुप्ता पुत्र रामनरेश गुप्ता के साथ 6 मई 2010 को की थी.
शादी के बाद से ही रामबली और ससुराल वाले एक लाख रुपए अतिरिक्त दहेज की मांग करने लगे. इसके लिए बेटी को प्रताड़ित करने लगे. बेटी ने इसकी जानकारी दी तो काफी समझाया गया लेकिन कोई प्रभाव नहीं पड़ा. 22 जुलाई 2015 को बेटी ने अपनी बहन को प्रताड़ना एवं मारने-पीटने की जानकारी दी. आरोप लगाया कि 23 जुलाई 2015 को उनकी बेटी सीमा की गला दबाकर हत्या कर दी गई थी. इस मामले में कोर्ट के आदेश पर राबर्ट्सगंज कोतवाली में एफआईआर दर्ज कर मामले की विवेचना की गई.
विवेचक ने पर्याप्त सबूत मिलने पर पति रामबली गुप्ता व सास सुखवंती के विरुद्ध चार्जशीट दाखिल की. कोर्ट ने साक्ष्य और गवाहों के आधार पर दोषी पति रामबली गुप्ता को 10 वर्ष कैद एवं 15 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई. वहीं, साक्ष्य के अभाव में सास सुखवंती को बरी कर दिया. अभियोजन पक्ष की ओर से जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी ज्ञानेंद्र शरण राय ने बहस की.
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