काशीपुर/मुज्जफरनगर : आज समाज में बेटियां किसी से कम नहीं हैं. बेटियां हर मुकाम पर खुद को साबित कर समाज के बंधनों को तोड़ कर नई मिसाल कायम कर रही हैं. ऐसा ही मामला यूपी के खतौली से सामने आया है. जहां काशीपुर के रहने वाले दुष्यंत चौधरी की शादी अनोखे की तरीके से हुई. इस अनोखी शादी में सजी धजी दुल्हन सेहरा बांध, घोड़ी पर सवार होकर बारात लेकर अपने दुल्हे को लेने के लिए पहुंची. शाही अंदाज में निकली इस बारात को जिसने भी देखा उसकी आंखें खुली की खुली रह गई. इस शादी की चमक धमक अलग ही थी. शादी से लेकर रिसेप्शन तक की हर रस्म और फंक्शन यहां अलग अंदाज में हुआ.
मुज्जफरनगर के खतौली की सिमरन और काशीपुर के दुष्यंत की शादी सुर्खियों में रही. 28 नवंबर को घोड़े पर सवार होकर सिमरन अपने दूल्हे को लेने पहुंची और सात फेरे लिए. अब शादी के चार दिन बाद सिमरन अपने मायके खतौली पहुंची, जहां ईटीवी भारत की टीम ने सिमरन और उनके परिवार से बात की. सिमरन ने कहा मेरे परिवार ने कभी भी लड़कों और लड़कियों में कोई फर्क नहीं किया. उन्होंने कहा परिवार ने उन्हें हमेशा एक जैसा ही माना. सिमरन ने बताया शादी में घुडचढ़ी का आइडिया उनकी दीदी और जीजा ने से उन्हें मिला. इस बारे में उन्होंने परिवार में बात की. सभी ने खुशी से इस पर सहमति जताई. जिसके बाद ये रश्म अदा की गई.
![बग्घी पर सवार सिमरन चौधरी](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/anokhishaadiphoto_01122022151051_0112f_1669887651_206.jpg)
शादी में घुडचढ़ी का आइडिया देने वाली सिमरन की दीदी ने बताया वे बचपन से सिमरन को एक लड़के की तरह ट्रीट करती आई हैं. उन्होंने उसे पढ़ाया लिखाया भी एक लड़के की तरह है. इसलिए वे चाहती थी कि जब सिमरन की शादी को तो उसकी भी लड़कों की ही तरह घुड़चढी हो. जिसके बाद उन्होंने ये बात सभी से शेयर की.
इस अनोखी शादी को लेकर सिमरन के पिता काफी भावुक नजर आये. सिमरन के पिता ने कहा उनके समाज में लड़कियों को दबाकर रखा जाता है. ऐसा कर वे समाज को संदेश देना चाहते हैं कि लड़कियां लड़कों से कम नहीं हैं. आज लड़कियां हर क्षेत्र में आगे बढ़ रही हैं. उन्होंने जिस किसी ने ये शादी देखी है वो भी इस परंपरा को आगे बढ़ाने का काम करेंगे.
![दुल्हन ने बदला रिवाज](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/uk-udh-01-anokhishaadi-vis-uk10029_01122022150903_0112f_1669887543_359.jpg)
दरअसल, उत्तराखंड के काशीपुर में रहने वाले केपी सिंह के बेटे दुष्यंत चौधरी (Unique marriage of Dushyant Chaudhary of Kashipur) का विवाह मूल रूप से पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर के खतौली भैंसी गांव रहने वाले कृषक पिंटू चौधरी की इकलौती बेटी सिमरन चौधरी (Simran of Muzaffarnagar Khatauli Bhainsi village) के साथ तय हुआ था. दुष्यंत पेशे से पैट्रोलियम इंजीनियर हैं. उनकी दुल्हन बनी सिमरन वर्तमान में दुबई में काम करती हैं.
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इस अनोखी शादी के लेकर ईटीवी भारत ने सिमरन के फूफा प्रदीप धामा ने बताया कि सिमरन ने अपने दीदी और जीजा से प्रेरणा लेते हुए परिवार की सहमति से यह सब किया है. प्रदीप धामा ने बताया सिमरन की बीते 27 नवंबर को मुजफ्फरनगर के खतौली में जगत कॉलोनी स्थित निवास पर घुड़चढ़ी हुई, जिसमें वह बग्घी पर सवार हुई. परिजन तथा सब रिश्तेदारों ने इस दौरान बैंड बाजे के साथ जमकर डांस किया. इस दौरान 25 वर्षीय सिमरन ने खुद को दूल्हे से कम नहीं आंका. बारात में राजशाही अंदाज में एंट्री ली. बग्घी पर सवार सिमरन ने दूल्हे की तरह सजधज कर पगड़ी पहनी. जिसके बाद वह अपने परिवार व दोस्तों के साथ शादी की रस्म के लिए निकली.
![खतौली में हुई अनोखी शादी](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/anokhishaadiphoto_01122022151050_0112f_1669887650_112.jpg)
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28 नवंबर को काशीपुर से केपी सिंह अपने बेटे दुष्यंत चौधरी और अन्य परिजनों के साथ खतौली पहुंचे. जहां खतौली के हवेली बैंकट हॉल में वैवाहिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया. जिसके बाद 29 नवंबर को सिमरन की विदाई हुई. सभी कार्यक्रम निपटने के बाद सिमरन काशीपुर आई. काशीपुर में 30 नवंबर को जसपुर रोड स्थित पवार रिजॉर्ट में प्रीतिभोज का आयोजन किया गया. सिमरन की घुड़चढ़ी का वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है.
![शादी नव विवाहित जोड़ा](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/uk-udh-01-anokhishaadi-vis-uk10029_01122022150903_0112f_1669887543_34.jpg)
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सिमरन के फूफा प्रदीप धामा ने बताया समाज में एक संदेश देने के मकसद से यह सब किया गया है. समाज में शादी की सभी रस्में लड़के और लड़की दोनों तरफ निभाई जाती हैं, जबकि घुड़चढ़ी की रस्म केवल वर पक्ष के द्वारा की जाती है. समाज में लड़कियां हर क्षेत्र में लड़कों से कंधे से कंधा मिलाकर कार्य करती हैं, इसीलिए इस परंपरा में भी लड़की को लड़कों के बराबर तवज्जो दी जानी चाहिए.