चंदौलीः जिले में रविवार को मुगलसराय कोतवाली क्षेत्र के अवधूत राम हॉल्ट के पास एक महिला अपने 3 बच्चों के साथ ट्रेन के आगे कूद गई, जिससे महिला और उसके दो बच्चों की मौत हो गई. वहीं, 8 माह का मासूम बच्चा बाल-बाल बच गया. घटना की जांच में मामला प्रेम-प्रसंग का निकला. महिला अपने पति के मौसेरे भाई को पंसद करने लगी थी और उसके साथ रहना चाहती थी. घटना के बाद से महिला के ससुराल और मायके के लोग दुखी हैं. बहन की मौत के बाद से महिला का भाई खुद को कोस रहा है कि काश अगर उसने अपनी बहन की बात सुन ली होती, तो वह जिंदा होती.
दरअसल, मृतक महिला मंजू का भाई ब्रजेश यादव ने बताया कि मंजू यादव (26) की शादी 7 साल पहले वाराणसी के चित्तईपुर निवासी बच्चा यादव के साथ हुई थी. बच्चा यादव दूध बेचने का काम करता है. उसके घर की आर्थिक स्थिति सही थी. इसलिए बहन की शादी वहां कर दी थी. उसकी तीन बच्चे थे. आराध्या (6) और अमृता (4) जिनकी मौत हो गई. वहीं, एक 8 माह का मासूम है. शादी के 4 साल तक तो सब कुछ ठीक रहा. लेकिन, फिर मेरी बहन को अपने ससुराल में कुछ अच्छा नहीं लगता था.
ब्रजेश ने कहा कि वह पढ़ी लिखी थी. लेकिन, उसका पति कम पढ़ा लिखा था. वह अपने पति के साथ खुश नहीं थी. वो कहती थी कि वहां पर बहुत रोक टोक थी. साथ ही उसका पति हमेश उससे झगड़ा और मारपीट करता था. उसके कपड़ों को लेकर भी रोक-टोक करता था. वो कहती थी 'मेरा पति मेरे लायक नहीं है. मैं इसके साथ नहीं रहना चाहती हूं.' लेकिन हम लोग उसको समझा देते थे. शादी के कुछ साल बाद वो अपने पति के रिश्ते में लगने वाले मौसेरे भाई को पसंद करने लगी. वह उसके साथ रहना चाहती थी और अपने बच्चों को भी साथ ले जाना चाहती थी.
ब्रजेश ने बताया, 'कुछ महीने पहले ही मंजू के पति ने बताया कि, मंजू का उसके किसी रिश्तेदार से अफेयर चल रहा है. वो उसके साथ रहना चाहती है. इसीलिए वो ये सब कर रही है. ये सुनकर हमें बहुत गुस्सा आया. उसने मंजू से बात की. इसके बाद मंजू ने हमें सच बता दिया. मंजू ने कहा कि वह जिसे पसंद करती है, वो नौकरी करता है और उसे समझता भी है. वह उसके साथ रहना चाहती है. इसके बाद हम लोगों ने उसको बहुत डांटा. घरवालों ने भी उसको बहुत समझाया. लेकिन, वो किसी की बात नहीं सुन रही थी. इस बात को लेकर उसके ससुराल में भी लड़ाई हुई, जिस लड़के से उसका अफेयर था. उसके घर से भी लड़ाई हुई. मामला चौकी पहुंचा और दोनों में समझौता भी हो गया था. मैंने उसको पति के साथ रहने के लिए समझाया था. बात खत्म होने के बाद दोनों शांति से घर चले गए थे, लेकिन इसके बाद उसने रविवार (2 अप्रैल) को उसने अपने बच्चों के साथ ट्रेन के आगे कूदकर जान दे दी.'
डीएसपी अनिरुद्ध सिंह ने बताया की रेलवे ट्रैक पर दूर तक बिखरे क्षत-विक्षत शवों को समेटा गया था. हादसे में जिंदा बचे दुध मुंहे बच्चे को जांच के उपरांत परिजनों को सौंप दिया गया. किसी भी पक्ष की ओर से कोई तहरीर नहीं मिली है. दोनों पक्षों में समझौता हो गया है. अगर तहरीर मिलेगी, तो विधिक कार्रवाई की जाएगी.
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