ETV Bharat / state

महिला सीट पर पार्षद बनने के बाद घर संभाल रहीं पत्नियां, क्षेत्र की कमान पतियों के हाथ

राजधानी लखनऊ में नगर निगम में भले ही महिला सीट आरक्षित की गई हो लेकिन, वास्तविक सत्ता उनके पतियों के हाथ में ही है. खाटू श्याम मंदिर में 'बाबा की बगिया' के नाम से एक बगिया का उद्घाटन किया गया, जिसमें लगाए गए पत्थर में क्षेत्रीय पार्षद के रूप में प्रमोद सिंह राजन का नाम लिखा गया. जबकि पार्षद उनकी पत्नी हैं.

लखनऊ में महिला पार्षद
लखनऊ में महिला पार्षद
author img

By

Published : Jul 12, 2021, 9:39 PM IST

Updated : Jul 14, 2021, 11:56 AM IST

लखनऊ: राजनीति में महिलाओं की सहभागिता बढ़े, इसके लिए बकायदा कानून बनाया गया है. नगर निगम में महिलाओं के लिए सीटें आरक्षित कर दी गई है. लेकिन सरकार महिलाओं को उनके अधिकार देने के दावे चाहे कितने भी करे लेकिन, जमीनी हकीकत कुछ और ही है. ईटीवी भारत की पड़ताल में सामने आया है कि महिलाओं की सहभागिता बढ़ाने के लिए लखनऊ नगर निगम में भले ही महिला सीट आरक्षित की गई हो लेकिन, वास्तविक सत्ता उनके पतियों के हाथ में ही है. महिलाएं सीट पर जीतने के बाद घर संभाल रही हैं, जबकि क्षेत्र की कमान पतियों के पास है.

लखनऊ का खाटू श्याम मंदिर कॉल्विन कॉलेज-निशातगंज वार्ड का हिस्सा है. 9 जुलाई को खाटू श्याम मंदिर में 'बाबा की बगिया' के नाम से एक बगिया का उद्घाटन किया गया. उद्घाटन शहर के पूर्व मेयर और वर्तमान में प्रदेश के उपमुख्यमंत्री डॉक्टर दिनेश शर्मा ने किया. उद्घाटन समारोह के लिए लगाए गए पत्थर में क्षेत्रीय पार्षद के रूप में प्रमोद सिंह राजन का नाम लिखा गया. जबकि पार्षद उनकी पत्नी हैं. जिम्मेदारों का कहना है कि लिपिकीय त्रुटि के चलते पार्षद पति का नाम अंकित कर दिया गया है, इसमें सुधार किया जाएगा. उनकी इस चूक ने कई बड़े सवाल खड़े कर दिए.

महिला सीट पर पार्षद बनने के बाद घर संभाल रहीं पत्नियां

असल में पूर्व में भाजपा के प्रमोद सिंह राजन इस क्षेत्र के पार्षद हुआ करते थे. 2017 में हुए चुनावों के दौरान यह महिला सीट हो गई तो भाजपा ने प्रमोद सिंह की पत्नी विनीता सिंह को यहां से टिकट दे दिया गया. वह चुनाव भी जीत गईं. सीट वापस उसी घर में आ गई. स्थानीय लोगों का कहना है कि कागज में पार्षद भले ही विनीता सिंह हो लेकिन, क्षेत्र की बागडोर प्रमोद सिंह ही संभालते हैं. यह मामला सिर्फ बानगी भर है. जानकारों की माने तो नगर निगम में महिला पार्षदों से ज्यादा पार्षद पतियों का दबदबा है. असली सत्ता उन्हीं के हाथ में है.

लखनऊ नगर निगम के अंतर्गत कुल 110 वार्ड आते हैं. अंतिम चुनाव 2017 में हुआ था. इसके बाद ही लखनऊ को पहली महिला मेयर संयुक्ता भाटिया के रूप में मिलीं. कई ऐसी सीटें रही हैं जो पूर्व में अनारक्षित थीं लेकिन, 2017 में वह महिला सीट के रूप में आरक्षित कर दी गई. ऐसे में अभी तक पार्टी के टिकट पर लड़ने वाले पुरुषों ने अपने घर की महिलाओं को ही चुनावी मैदान में उतार दिया. आज हालत यह है कि महिला पार्षद सिर्फ कागजों तक सिमट कर रह गई हैं.

नगर निगम चुनाव हो या कोई और महिला सीट पर घर की महिलाओं को चुनाव लड़ा कर सत्ता पक्ष जमाने का खेल पुराना है. जानकारों की माने तो सिर्फ भाजपा ही नहीं बल्कि कांग्रेस, समाजवादी पार्टी तक का यही हाल है. नाम न छापने की शर्त पर नगर निगम के एक अधिकारी ने बताया कि पार्षद पतियों का इतना दबदबा है कि क्षेत्र में कोई भी काम इनकी मर्जी के बगैर नहीं हो सकता. नगर निगम कार्यालयों में इनकी मौजूदगी आम है.

ये हैं लखनऊ की कुछ महिला पार्षद

वार्डमहिला पार्षद
राजा बिजली पासी द्वितीय वार्ड राजवती
राजा बिजली पासी प्रथम वार्ड वीणा
सरोजिनी नगर द्वितीय वार्ड संतोष कुमारी
मालवीय नगर वार्ड ममता चौधरी
न्यू हैदराबाद तृतीय वार्ड रीना रावत
जानकीपुरम प्रथम वर्ल्ड शीबा चांद सिद्दीकी
ऐशबाग वार्ड उषा शर्मा
गुरुनानक नगर वार्ड रेखा भटनागर
आलम नगर वार्ड रेखा सिंह
कन्हैया माधवपुर द्वितीय वार्ड रुखसाना बेगम
हिंद नगर वार्ड नेहा सौरभ सिंह
शंकरपुरवा द्वितीय वार्ड अनीता पाल
डालीगंज- निराला नगर वार्ड ज्योति शुक्ला
राम मोहन राय वार्ड मधु सिंह
तिलक नगर- कुंडली रकाब गंज वार्ड सादिया रफीक
चिनहट प्रथम वार्ड स्नेह लता राय
जयशंकर प्रसाद वार्ड गीता
कॉल्विन कॉलेज- निशातगंज वार्ड विनीता सिंह
चित्रगुप्त नगर वार्ड रुचिता मिश्रा
चिनहट द्वितीय वार्ड सावित्री देवी
खरिखा प्रथम वार्ड पूनम मिश्रा
अयोध्या दास द्वितीय वार्ड कुमकुम राजपूत
इस्माइल गंज प्रथम वार्ड अमिता सिंह
फैजुल्लागंज प्रथम वार्ड रन्नो लोधी
जानकीपुरम द्वितीय वार्ड खुशबू राखी मिश्रा
मनकामेश्वर वार्ड रेखा रोशनी
शंकरपुरवा तृतीय वार्ड हेमा संवाल
भारतेंदु हरिश्चंद्र वार्ड रूपाली गुप्ता
मल्लाही टोला प्रथम वार्ड गीता पांडे
शीतला देवी वार्ड साधना वर्मा
मल्लाही टोला द्वितीय वार्ड मर्जिया बानो

लखनऊ: राजनीति में महिलाओं की सहभागिता बढ़े, इसके लिए बकायदा कानून बनाया गया है. नगर निगम में महिलाओं के लिए सीटें आरक्षित कर दी गई है. लेकिन सरकार महिलाओं को उनके अधिकार देने के दावे चाहे कितने भी करे लेकिन, जमीनी हकीकत कुछ और ही है. ईटीवी भारत की पड़ताल में सामने आया है कि महिलाओं की सहभागिता बढ़ाने के लिए लखनऊ नगर निगम में भले ही महिला सीट आरक्षित की गई हो लेकिन, वास्तविक सत्ता उनके पतियों के हाथ में ही है. महिलाएं सीट पर जीतने के बाद घर संभाल रही हैं, जबकि क्षेत्र की कमान पतियों के पास है.

लखनऊ का खाटू श्याम मंदिर कॉल्विन कॉलेज-निशातगंज वार्ड का हिस्सा है. 9 जुलाई को खाटू श्याम मंदिर में 'बाबा की बगिया' के नाम से एक बगिया का उद्घाटन किया गया. उद्घाटन शहर के पूर्व मेयर और वर्तमान में प्रदेश के उपमुख्यमंत्री डॉक्टर दिनेश शर्मा ने किया. उद्घाटन समारोह के लिए लगाए गए पत्थर में क्षेत्रीय पार्षद के रूप में प्रमोद सिंह राजन का नाम लिखा गया. जबकि पार्षद उनकी पत्नी हैं. जिम्मेदारों का कहना है कि लिपिकीय त्रुटि के चलते पार्षद पति का नाम अंकित कर दिया गया है, इसमें सुधार किया जाएगा. उनकी इस चूक ने कई बड़े सवाल खड़े कर दिए.

महिला सीट पर पार्षद बनने के बाद घर संभाल रहीं पत्नियां

असल में पूर्व में भाजपा के प्रमोद सिंह राजन इस क्षेत्र के पार्षद हुआ करते थे. 2017 में हुए चुनावों के दौरान यह महिला सीट हो गई तो भाजपा ने प्रमोद सिंह की पत्नी विनीता सिंह को यहां से टिकट दे दिया गया. वह चुनाव भी जीत गईं. सीट वापस उसी घर में आ गई. स्थानीय लोगों का कहना है कि कागज में पार्षद भले ही विनीता सिंह हो लेकिन, क्षेत्र की बागडोर प्रमोद सिंह ही संभालते हैं. यह मामला सिर्फ बानगी भर है. जानकारों की माने तो नगर निगम में महिला पार्षदों से ज्यादा पार्षद पतियों का दबदबा है. असली सत्ता उन्हीं के हाथ में है.

लखनऊ नगर निगम के अंतर्गत कुल 110 वार्ड आते हैं. अंतिम चुनाव 2017 में हुआ था. इसके बाद ही लखनऊ को पहली महिला मेयर संयुक्ता भाटिया के रूप में मिलीं. कई ऐसी सीटें रही हैं जो पूर्व में अनारक्षित थीं लेकिन, 2017 में वह महिला सीट के रूप में आरक्षित कर दी गई. ऐसे में अभी तक पार्टी के टिकट पर लड़ने वाले पुरुषों ने अपने घर की महिलाओं को ही चुनावी मैदान में उतार दिया. आज हालत यह है कि महिला पार्षद सिर्फ कागजों तक सिमट कर रह गई हैं.

नगर निगम चुनाव हो या कोई और महिला सीट पर घर की महिलाओं को चुनाव लड़ा कर सत्ता पक्ष जमाने का खेल पुराना है. जानकारों की माने तो सिर्फ भाजपा ही नहीं बल्कि कांग्रेस, समाजवादी पार्टी तक का यही हाल है. नाम न छापने की शर्त पर नगर निगम के एक अधिकारी ने बताया कि पार्षद पतियों का इतना दबदबा है कि क्षेत्र में कोई भी काम इनकी मर्जी के बगैर नहीं हो सकता. नगर निगम कार्यालयों में इनकी मौजूदगी आम है.

ये हैं लखनऊ की कुछ महिला पार्षद

वार्डमहिला पार्षद
राजा बिजली पासी द्वितीय वार्ड राजवती
राजा बिजली पासी प्रथम वार्ड वीणा
सरोजिनी नगर द्वितीय वार्ड संतोष कुमारी
मालवीय नगर वार्ड ममता चौधरी
न्यू हैदराबाद तृतीय वार्ड रीना रावत
जानकीपुरम प्रथम वर्ल्ड शीबा चांद सिद्दीकी
ऐशबाग वार्ड उषा शर्मा
गुरुनानक नगर वार्ड रेखा भटनागर
आलम नगर वार्ड रेखा सिंह
कन्हैया माधवपुर द्वितीय वार्ड रुखसाना बेगम
हिंद नगर वार्ड नेहा सौरभ सिंह
शंकरपुरवा द्वितीय वार्ड अनीता पाल
डालीगंज- निराला नगर वार्ड ज्योति शुक्ला
राम मोहन राय वार्ड मधु सिंह
तिलक नगर- कुंडली रकाब गंज वार्ड सादिया रफीक
चिनहट प्रथम वार्ड स्नेह लता राय
जयशंकर प्रसाद वार्ड गीता
कॉल्विन कॉलेज- निशातगंज वार्ड विनीता सिंह
चित्रगुप्त नगर वार्ड रुचिता मिश्रा
चिनहट द्वितीय वार्ड सावित्री देवी
खरिखा प्रथम वार्ड पूनम मिश्रा
अयोध्या दास द्वितीय वार्ड कुमकुम राजपूत
इस्माइल गंज प्रथम वार्ड अमिता सिंह
फैजुल्लागंज प्रथम वार्ड रन्नो लोधी
जानकीपुरम द्वितीय वार्ड खुशबू राखी मिश्रा
मनकामेश्वर वार्ड रेखा रोशनी
शंकरपुरवा तृतीय वार्ड हेमा संवाल
भारतेंदु हरिश्चंद्र वार्ड रूपाली गुप्ता
मल्लाही टोला प्रथम वार्ड गीता पांडे
शीतला देवी वार्ड साधना वर्मा
मल्लाही टोला द्वितीय वार्ड मर्जिया बानो
Last Updated : Jul 14, 2021, 11:56 AM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.