झांसीः नगर निगम की जमीनों पर कब्जे को लेकर प्रशासन सख्त हो गया है. जमीन कब्जे में नगर निगम के अधिकारियों की मिलीभगत सामने आने के बाद झांसी मंडल के कमिश्नर ने नगर निगम से अबतक हुई कार्रवाई का ब्यौरा तलब किया है. इसके साथ ही कमिश्नर ने नगर निगम की ओर से भेजी गयी जांच रिपोर्ट को आधा-अधूरा बताते हुए पूरी जानकारी तलब की है.
नगर निगम की जमीनों का ब्यौरा तलब
अपर आयुक्त प्रशासन आर पी मिश्रा की ओर से नगर आयुक्त को लिखे पत्र में जांच रिपोर्ट में फर्जी पट्टे की बात कही गयी है. लेकिन ये साफ नहीं किया गया है कि नगर निगम के गठन के समय नगर निगम के पास कितनी भूमि थी और वर्तमान में नगर निगम के पास कितनी भूमि है, और कितने पर मुकदमा चल रहा है.
जांच रिपोर्ट को बताया आधा-अधूरा
नगर आयुक्त को लिखे पत्र में ये जानकारी तलब की गई है कि नगर निगम की किन जमीनों का अवैध रूप से इस्तेमाल किया जा रहा है. ये जानकारी भी तलब की गई है कि जांच रिपोर्ट में दोषी पाये गये अफसरों पर अब तक क्या कार्रवाई की गई है. जांच रिपोर्ट पर सवाल उठाते हुए कहा गया है कि नगर निगम की भूमि को संरक्षित किये जाने के लिए, किए जा रहे प्रयासों की भी जानकारी नहीं दी गई है. इसके अलावा 48 चैंबर को नजूल की भूमि बताए जाने के मामले में स्थलीय जांच के बाद नक्शा संलग्न नहीं किये जाने पर सवाल उठाए गए है.
शिकायत पर शुरू हुई थी जांच
कमिश्नर कार्यालय की ओर से जारी इस पत्र के बाद नगर निगम में हड़कम्प मच गया है. दरअसल नगर निगम की जमीनों पर अवैध कब्जे की शिकायत कमिश्नर से की गई थी और जांच में ये सामने आया था कि कई अफसरों की भी मिलीभगत रही है. अब कमिश्नर कार्यालय ने ऐसे अफसरों पर नजर टेढ़ी की है, जो इस पूरे मामले में पहले की हुई जांच में दोषी पाये गये हैं.