गोरखपुर: उत्तर प्रदेश राज्य सफाई कर्मचारी आयोग के अध्यक्ष और दर्जा प्राप्त राज्यमंत्री सुरेंद्र नाथ वाल्मीकि ने एडीएम वित्त आरके सिंह के साथ जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण किया. निरीक्षण की शुरुआत जिला अस्पताल की इमरजेंसी वार्ड से की गई.
जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण
सुरेंद्र नाथ वाल्मीकि ने औचक निरीक्षण के समय वार्ड में मरीजों से साफ-सफाई और अस्पताल से मिलने वाली सुविधाओं की जानकारी ली. वहीं जनरल वार्ड, आर्थो वॉर्ड सहित अन्य वार्डों में मौजूद शौचालयों का भी निरीक्षण किया. वॉर्ड में मौजूद सफाईकर्मियों से उन्हें मिलने वाले वेतन के बारे में जानकारी ली. साथ ही सफाई के दौरान फिनायल और जरूरी केमिकलों को मिलाकर सफाई न करने पर उन्होंने आपत्ति जताई. कम वेतन दिए जाने पर संबंधित अधिकारियों से बात कर उन्हें श्रम विभाग के नियमों को बताया.
आउटसोर्सिंग और संविदाकर्मियों से की मुलाकात
मुख्य चिकित्सा अधिकारी के कार्यालय पर पहुंचे आउटसोर्सिंग और संविदाकर्मियों से मुलाकात कर उन्होंने उनकी समस्याओं को जाना. संविदाकर्मियों द्वारा यह बताए जाने पर कि कम वेतन के साथ ही महीने में किसी भी दिन उन्हें अवकाश नहीं दिया जाता है. इस पर संबंधित अधिकारियों से आपत्ति जताते हुए उन्हें श्रम विभाग के नियमों से अवगत कराया. इस मौके पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी श्रीकांत तिवारी, प्रमुख अधीक्षक डॉ. राजकुमार गुप्ता सहित अन्य अधिकारी और कर्मचारी मौजूद रहे.
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श्रमिकों को मिलनी चाहिए साप्ताहिक छुट्टी
राज्यमंत्री सुरेंद्र नाथ वाल्मीकि ने बताया कि एक प्राइवेट एजेंसी एम कपूर प्राइवेट लिमिटेड को 3 साल के लिए शासन से कॉन्ट्रैक्ट मिला है. यहां पर इन्होंने 62 सफाई कर्मचारी नियुक्त करने की बात बताई है. इन्हें 6000 रुपये मासिक मानदेय दिया जाता है और किसी प्रकार का कोई अवकाश भी नहीं दिया जाता. इस संबंध में मुख्य चिकित्सा अधिकारी से बात हुई है और यह बताया गया है कि श्रम विभाग का नियम है. हर श्रमिक को साप्ताहिक छुट्टी मिलनी चाहिए. वहीं जो श्रम विभाग की न्यूनतम मजदूरी है, वह भी पूरी नहीं दी जा रही.
सुरेंद्र नाथ वाल्मीकि ने बताया कि मैं यहां का निरीक्षण करने आया हूं और श्रमिकों के मामले में बिल्कुल कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी. इनको पूरा वेतन मिलना ही चाहिए. यह सरकार की मंशा है. सरकार चाहती है कि श्रमिकों को पूरा मानदेय दिया जाए.
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