बस्ती: जिले में अंधता निवारण योजना फेल साबित होती नजर आ रही है. जिला अस्पताल में डेढ़ साल से मशीन लेंस और दवा की सप्लाई न होने से बेकार पड़ी हुई है. वहीं डॉक्टरों के न होने से लोगों खासकर मोतियाबिंद के मरीजों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है.
डॉक्टर के न होने से रोज भारी संख्या में मरीजों को वापस लौटना पड़ता है. साथ ही जो फोल्डेबल मशीन ऑपरेशन के लिए रखी हुई है, वह भी पड़े-पड़े ज़ंग खा रही है. मरीजों का ऑपरेशन नहीं हो पा रहा है.
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दरअसल, दो साल पहले यह मशीन जिला अस्पताल में लगी थी. डेढ़ साल से लेंस और दवा की सप्लाई न होने से यह बेकार पड़ी है. 100 से अधिक गरीब मरीज ऑपरेशन के लिए इंतजार में है. इस बाबत जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) ओपी सिंह ने बताया कि नेत्र सर्जन यहां थे, जिसमें से एक 31 अक्टूबर को रिटायर हो गए और दूसरे अपने पारिवारिक कारणों से छुट्टी पर हैं. उन्होंने कहा कि हमने पत्र लिखकर मुख्य चिकित्सा अधिकारी को अवगत कराया है. जैसे ही डॉक्टर की उपलब्धता होगी, सेवा बहाल कर दी जाएगी.
सीएमओ से सर्जिकल सामान और लेंस की मांग की है. इसके लिए पत्र भी लिखा है. दवाओं के लिए डिमांड भेजी गई है. उपलब्ध होने पर नेत्र विभाग को दिया जाएगा. जल्द ही कोई वैकल्पिक व्यवस्था बनाई जाएगी.
-ओपी सिंह, सीएमएस, जिला अस्पताल