बदायूं: जनपद में एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है. बुधवार को एक ही गांव के कुछ लोग जिलाधिकारी से मिलने पहुंचे और उन्होंने बताया कि ग्राम पर तैनात सचिव ने उन्हें अभिलेखों में मृत बता दिया है. उन्होंने बताया कि वृद्धावस्था पेंशन के सत्यापन के दौरान गांव के 7 जिन्दा लोगों को मृत दिखा दिया गया. इससे उन सभी की वृद्धावस्था पेंशन रुक गई. पेंशन रुकने पर जब उन्होंने जानकारी की तो पता लगा कि वह अभिलेखों में मृत दर्शाये गये हैं.
जिलाधिकारी से इस मामले की शिकायत करने पर जिलाधिकारी ने तत्काल रूप से सचिव को सस्पेंड करने के आदेश दिए हैं. वहीं सभी पीड़ित लोगों को वृद्धावस्था पेंशन फिर से मिलने का आश्वासन दिया.
गांव के 7 जिन्दा लोग अभिलेखों में हुए मृत
बुधवार को जिलाधिकारी कार्यालय में ब्लॉक सलारपुर ग्रामपंचायत हुसैनपुर करोतिया के कुछ लोग अपनी फरियाद लेकर जिलाधिकारी से मिलने आए. उनका कहना था कि उनके गांव में तैनात सचिव नवीन कुमार माहेश्वरी ने उन लोगों को अभिलेखों में मृत दर्शाया है जबकि वह सभी लोग अभी जिंदा हैं.
दरअसल गांव पर तैनात सचिव नवीन कुमार माहेश्वरी ने अभिलेखों में गांव के 7 लोगों को मृत दर्शा दिया है. जिससे उनकी वृद्धावस्था पेंशन आनी बंद हो गई. उन्हें इस बात की जानकारी तब हुई जब उन्होंने पेंशन ना आने पर इसकी जानकारी की. जानकारी करने पर उन्हें पता लगा कि उन्हें अभिलेखों में मृत दर्शाया गया है जबकि वह सातों लोग अभी जिंदा है.
हमारे गांव के 7 लोग जिसमें निसार हुसैन, अफसर, अलाउद्दीन, चंपा ,मिराजन, अकीला, और अफसर, को गांव में तैनात सचिव द्वारा अभिलेखों में मृत दर्शा दिया गया है, जिससे इन लोगों की वृद्धावस्था पेंशन रुक गई है. आज इसी की शिकायत लेकर हम जिलाधिकारी से मिलने आए हैं जबकि यह सभी लोग जिंदा है.
-शहंशाह, पूर्व ग्राम प्रधान
हमारे पास ग्राम हुसैनपुर करोतिया के कुछ लोग आए थे. जिन्हें सचिव ने अभिलेखों में मृत दर्शा दिया है. जिसकी वजह से उन्हें वृद्धावस्था पेंशन नहीं मिल पा रही है. सचिव के खिलाफ सस्पेंड करने की कार्रवाई की जा रही है और सभी को वृद्धावस्था पेंशन दी जाएगी.
-दिनेश कुमार सिंह, जिलाधिकारी