लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को लोकभवन में राज्य कर्मचारी कैशलेस चिकित्सा योजना का शुभारंभ किया. इस योजना के माध्यम से प्रदेश के 22 लाख कर्मचारियों को कैशलेस इलाज की सुविधा मिल सकेगी. इस अवसर पर सीएम ने 10 कर्मचारियों को कैशलेस इलाज के लिए बनाए गए कार्ड वितरित किये. इस अवसर परडिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक सहित कई अधिकारी उपस्थित रहे.
सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आज का दिन हमारे लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है,क्योंकि वर्षों से राज्यकर्मियों की लंबित मांग पूरी हो रही है. राज्यकर्मियों की बड़ी समस्या थी कि अस्पताल में इलाज करवाने के लिए पैसे लगते थे. सरकारी अस्पतालों और साथ ही इम्पैनल्ड अस्पताल मे भी अब राज्य कर्मचारी इलाज करवा सकेगा,इस योजना के लिए हमने पिछले ही कार्यकाल के अंतिम समय मे कार्ययोजना तैयार करने को कह दिया था. हमारे 22 लाख राज्य कार्मिक और पेंशनर्स के लिए इलाज के लिए असीमित सुविधा के लिए ये लाभ मिलेगा.
सीएम ने कहा कि उत्तरप्रदेश देश का पहला राज्य होगा जो ये सेवा शुरू कर रहा है. राज्य सरकार अपने कार्मिकों को कार्मिक नही अपना परिवार मानता है,जिस प्रकार सरकार आपकी चिंता कर रही है,उसी प्रकार आप भी एक कॉमन मैन की चिंता करेंगे. मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तरप्रदेश एक बढ़ती अर्थव्यवस्था वाला प्रदेश है. उत्तरप्रदेश एकमात्र ऐसा राज्य है, जिसने महामारी में अपने राज्य कर्मचारी के लिए कोई कटौती नही की,कोई सुविधा नहीं रोकी. हमने उत्तरप्रदेश के एक मॉडल प्रस्तुत किया,जब टीमवर्क काम करती है तो काम आसान होता है.
उन्होंने कहा कि इस योजना में कहने के लिए तो 22 लाख कर्मचारी आएंगे,लेकिन देखा जाय तो इस योजना में उनके परिवार को लेकर देखें तो कम से कम 75 लाख लोग सीधे जुड़ेंगे और लाभान्वित होंगे. कहा कि यह एक असीमित इलाज करवाने की बड़ी योजना है. इस अवसर पर सीएम ने सभी को शुभकामनाएं दी.
उल्लेखनीय है कि इस योजना के अंतर्गत प्रदेश के 22 लाख से अधिक सरकारी कर्मचारियों व पेंशनरों को कैशलेस इलाज की सुविधा मिलेगी. कर्मचारियों को हेल्थ कार्ड मिलेगा जिसमे यूनिक नंबर दिया जाएगा. परिवार के अन्य सदस्यों को भी इसका लाभ मिलेगा. सरकार की तरफ से बताया गया है कि कैशलेस चिकित्सा योजना के अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग ने वेबसाइट sects.up.gov.in पर सरकारी कर्मियों और पेंशनरों का पंजीकरण करना शुरू कर दिया है. इस योजना से 22 लाख कमर्चारियों के परिवार को मिलाकर कुल 75 लाख लोग लाभान्वित होंगे.
भाजपा सरकार ने अपने लोक कल्याण संकल्प पत्र में सभी सरकारी कर्मचारियों और पेंशनरों को कैशलेस इलाज की सुविधा देने का वादा किया था, जिसे आज योगी सरकार लागू करने जा रही है. इस योजना के तहत आयुष्मान भारत योजना से संबद्ध प्राइवेट अस्पतालों में एक वर्ष में एक कर्मचारी व पेंशनर्स को परिवार सहित कुल पांच लाख रुपये की कैशलेस चिकित्सा सुविधा मिल सकेगी.
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प्रदेश में कुल 1900 निजी अस्पतालों में अभी आयुष्मान भारत योजना के तहत उपचार की सुविधा दी जा रही है. वहीं सरकारी अस्पतालों में इन्हें असीमित कैशलेस इलाज की सुविधा दी जाएगी. जानकारी के अनुसार राज्य सरकार की ओर से वर्ष 2022-23 में कुल 100 करोड़ रुपये का बजट इस सुविधा को देने के लिए आवंटित किया गया है. अधिकारियों के अनुसार बुधवार को इसकी पहली किस्त के रूप में 10 करोड़ रुपये की धनराशि जारी भी कर दी गई.
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