प्रतापगढ़/प्रयागराज: अतीक अशरफ हत्याकांड के आरोपी लवलेश, सनी और अरुण मौर्या 23 अप्रैल तक पुलिस की कस्टडी रिमांड में रहेंगे. पुलिस की कस्टडी रिमांड की अर्जी पर सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने 4 दिन की रिमांड दे दी है. कोर्ट ने बुधवार दोपहर दो बजे से 23 अप्रैल की शाम 5 बजे तक की कस्टडी रिमांड मंजूर की है. इसके साथ ही कोर्ट ने तीनों आरोपियों को रिमांड पर लेने के दौरान और रिमांड से वापसी के समय भी मेडिकल करवाने का निर्देश दिया है. इसके साथ ही कोर्ट ने आरोपियों के साथ कस्टडी रिमांड के दौरान थर्ड डिग्री न इस्तेमाल करने की भी हिदायत दी है. पुलिस कस्टडी रिमांड पूरी होने के बाद उन्हें वापस जेल भेजने का भी कोर्ट ने निर्देश दिया है. हालांकि, कोर्ट से डिटेल ऑर्डर शाम तक जारी किया जाएगा. एसआईटी ने 14 दिन की कस्टडी रिमांड मांगी थी.
अतीक अहमद और अशरफ के कातिलों को जिस समय कोर्ट में पेश किया गया, उस वक्त जनपद न्यायालय के अंदर और बाहर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. इन तीनों आरोपियों को सीजेएम कोर्ट में पेश करने के समय सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. चंद वकीलों के अलावा उस वक्त कोर्ट परिसर में किसी को भी इंट्री नहीं दी गई थी. पुलिस पीएसी के साथ ही आरएएफ के जवानों के कड़े पहरे के बीच तीनों आरोपियों को जनपद न्यायालय में सीजेएम कोर्ट में पेश करने के लिए लाया गया. लवलेश तिवारी, सनी सिंह और अरुण मौर्या को सीजेएम की कोर्ट में पेश करने के थोड़ी ही देर के बाद उन्हें पुलिस लाइन भेज दिया गया.
बताया जा रहा है कि पुलिस को इनपुट मिला था कि अतीक अहमद और अशरफ की हत्या करने वाले तीनों आरोपियों को जान का खतरा है. उनके ऊपर कचहरी या रास्ते में हमला किया जा सकता है. इसको देखते हुए जनपद न्यायालय को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया था.ऐसा कयास लगाया जा रहा है था कि आरोपियों को घटनास्थल काल्विन अस्पताल भी लाया जाएगा, जहां पर घटनाक्रम का नाट्य रूपांतर किया जाएगा. काल्विन अस्पताल में सुबह से ही कई थानों की फोर्स पहुंच गई और अस्पताल में हर आने-जाने वालों की तलाशी ली. कर्मचारियों को बिना आई कार्ड चेक किए अंदर नहीं जाने दिया गया. पुलिस लगातार संदिग्ध लोगों से भी पूछताछ करती रही . आस पास की दुकानों को भी बंद करा दिया गया था.
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