नई दिल्ली : कोरोना के मरीजों की बेतहाशा वृद्धि (huge increase in corona patients) को देखते हुए भारतीय जनता पार्टी अपने डिजिटल कैंपेन (BJP digital campaign) को सशक्त बनाने में जुटी है. ताकि आने वाले दिनों में चुनाव आयोग ने यदि पूरा कैंपेन डिजिटल किया (If the Election Commission digitized the entire campaign) तो पार्टी इसमें कहीं पीछे न रह जाए.
भारतीय जनता पार्टी डिजिटल वार के लिए पार्टी को पूरी तरह से तैयार कर रही है. इसके लिए न सिर्फ 3D स्टूडियो और डिजिटल रथ तैयार किए जा रहे हैं बल्कि डिजिटल कार्यक्रमों के लिए नेताओं को भी डिजिटल माध्यम से ट्रेनिंग दी जा रही है. पार्टी ने पहले भी कई चुनाव डिजिटल माध्यम से लड़ा है मगर उत्तर प्रदेश की तैयारी में पार्टी कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती.
बीजेपी शक्ति केंद्र के माध्यम से और बूथ स्तर पर डिजिटल तैयारी कर रही है. इसके लिए राज्य, जिला और क्षेत्रीय स्तर पर कई बैठक भी हो चुकी हैं. चुनाव की घोषणा से पहले भी बीजेपी के आईटी सेल ने चुनावी राज्यों में तीन स्तर पर बैठक की थी. जिसमें राज्य, जिला और क्षेत्रीय स्तर शामिल था. बीजेपी ने दिल्ली और लखनऊ में वर्चुअल चुनावी स्थल तैयार करने की भी रणनीति बनाई है, जहां से पार्टी के दिग्गज नेता भाषण देंगे और वह डिजिटल रथ के माध्यम से आम जनता तक लाइव के तौर पर पहुंचाया जाएगा.
आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय (IT cell head Amit Malviya) ने बताया कि पूरे प्रदेश में लगभग साढ़े 6 लाख से ज्यादा कार्यकर्ता डिजिटल माध्यम से प्रचार-प्रसार मे लगाए गए हैं. जिन्हें पहले प्रशिक्षण दिया जा चुका है. इन्हें पिछले कुछ महीनों से डिजिटल प्रचार-प्रसार के माध्यम से ही ट्रेनिंग दी जा रही थी. लखनऊ और दिल्ली में वर्चुअल स्टूडियो भी तैयार किए जा रहे हैं और यहां पार्टी के दिग्गज नेता भाषण देंगे जिसे लाइव पहुंचाने के लिए डिजिटल रथ का प्रयोग किया जाएगा.
उन्होंने बताया कि यह रथ हाईटेक होगा जिसे सेटेलाइट से कनेक्ट किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि यदि प्रधानमंत्री किसी एक जगह पर भाषण देंगे तो वह पूरे उत्तर प्रदेश में उसी वक्त डिजिटल रथ और डिजिटल स्क्रीन के माध्यम से छोटे-छोटे समूह में मौजूद लोगों को दिखाया जाएगा. 3D के जरिए वर्चुअल स्टेज बनाकर दिग्गज नेताओं को ऐसे दिखाया जाएगा जिसमें वह किसी मंच पर भाषण देते हुए दिखाई पड़ेंगे.
बीजेपी की तरफ से करीब एक लाख से ज्यादा व्हाट्सएप ग्रुप भी बनाए गए हैं ताकि आम जनता के पास पार्टी की तरफ से ज्यादा से ज्यादा मैसेज पहुंचाए जा सके और इन मैसेजेस की सहायता से ही बीजेपी कैंपेन को लोगों तक पहुंचाया जाएगा. बीजेपी की तरफ से सभी विधायक, सांसद और पदाधिकारियों फेसबुक और टि्वटर पेज के माध्यम से कार्यक्रमों को लाइव भी दिखाएंगे.
पार्टी की तरफ से प्रशिक्षित लगभग 15000 आईटी सेल के कार्यकर्ता भी इन कार्यक्रमों का लाइव प्रसारण करेंगे. इसके अलावा भारतीय जनता पार्टी vocp टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल भी जनता तक पहुंचने के लिए करेगी. बीजेपी की तैयारी से बाकी राजनीतिक पार्टियां भली-भांति परिचित हैं. यही वजह है कि तमाम विपक्षी पार्टियां डिजिटल रैलियों का विरोध कर रही हैं और चुनाव आयोग की तरफ से लगाई गई पाबंदियों को भी हटाने की मांग कर रही हैं.
इस मुद्दे पर पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रेम शुक्ला (Party's national spokesperson Prem Shukla) ने ईटीवी भारत से बातचीत करते हुए बताया कि भारतीय जनता पार्टी पहले से ही डिजिटली कनेक्टेड है और अब गांव में भी ऑप्टिकल फाइबर के माध्यम से डिजिटल रीच बन गई है. ऐसे में पार्टी का जो पन्ना प्रमुख है उसके माध्यम से पार्टी अपनी बात जनता तक पहुंचाने में सफल रहती है. विरोधी पार्टियों के विरोध पर प्रेम शुक्ला ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने बिहार में भी डिजिटल रैलियां की थी और उस समय भी विरोधियों ने आपत्ति की थी.
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चुनाव आयोग पूरे चुनाव प्रचार को डिजिटल कर दे तो पार्टी का क्या प्लान है? इस पर पार्टी प्रवक्ता प्रेम शुक्ला ने कहा कि यदि चुनाव आयोग पूरे प्रचार को डिजिटली कर दिया तो सिर्फ डिजिटल रैलियों की ही अनुमति मिलेगी. पार्टी अपने प्रचार प्रसार को डिजिटल माध्यम से करने में सक्षम है. अखिलेश यादव का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि जाहिर सी बात है हम डिजिटली भी स्ट्रांग है और हमारे पास 18 करोड़ से ज्यादा कार्यकर्ता हैं, जो किसी भी दल के पास नहीं हैं.