कोयंबटूर : पाकिस्तान में गुरुद्वारा ननकाना साहिब पर भीड़ के हमले की निंदा करते हुए विश्व हिन्दू परिषद (विहिप) ने कहा कि ऐसी घटनाएं पड़ोसी देश में हिन्दुओं एवं सिखों पर अत्याचार के उदाहरण हैं और नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) को तुरंत लागू किए जाने की आवश्यकता का संकेत हैं.
विश्व हिन्दू परिषद के अंतरराष्ट्रीय सचिव मिलिंद परांडे ने एक ग्रंथी की बेटी के अपहरण की खबर का भी हवाला दिया और कहा कि ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए केंद्र को पाकिस्तान सरकार पर दबाव बनाना चाहिए.
उन्होंने यहां पत्रकारों से कहा, हमला मस्जिद में जुमे की नमाज के तुरंत बाद हुआ और विहिप भारत सरकार एवं यूएनएचआरसी से अपील करती है कि वे इस मामले में संज्ञान लें और सिख लड़की की वापसी तथा अपने तरीके में सुधार करने के लिए पाकिस्तान सरकार पर दबाव बनाएं.
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उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाएं पड़ोसी देश में हिन्दू-सिख अल्पसंख्यकों पर अत्याचार के उदाहरण हैं और इस्लामी देशों में रह रहे हिन्दू, सिख एवं अन्य समुदाय के लोगों को अत्याचार से बचाने के लिए संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) को तुरंत लागू किए जाने की आवश्यकता के संकेत हैं.
भारत में श्रीलंकाई शरणार्थियों का हवाला देते हुए परांडे ने कहा कि विहिप उनके मामलों को देखने के लिए केंद्र से अलग कानून लाने की मांग करेगी. उन्होंने कहा, 'सीएए एक अच्छा कानून है और यह विभाजन के समय की गई ऐतिहासिक भूल को सुधारता है.