फतेहपुर (सीकर). ओमान के शहर मिस्वा में राजस्थान के हजारों श्रमिक फंस गए हैं. ये श्रमिक जिन कंपनियों में काम करते हैं, वो कंपनियां उन्हें कई महीनों से वेतन नहीं दे रही हैं और न ही उनके खाने-पीने की कोई व्यवस्था है. ऐसे में श्रमिकों ने हड़ताल कर दी है. उन्होंने सरकार से वापस भारत लाने की गुहार लगाई है.
शेखावाटी के श्रमिकों ने विडियो भेजकर बताया कि उन्हें कई महीनों से वेतन नहीं मिल रहा है, जिससे उनके खाने के लाले पड़े हुए हैं. श्रमिकों का कहना है कि तीन अक्टूबर को आखिरी बार वेतन मिला. वर्तमान में कंपनी के अधिकारी वेतन देने से अनाकानी कर रहे हैं. उनका कहना है कि दूतावास व विदेश मंत्रालय को सूचना भेज गई, लेकिन उसके बाद भी कोई सुनवाई नहीं हो पा रही है. लाखों रुपये कर्ज लेकर विदेश गए लोगों को परिवार के साथ परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. कंपनी की सभी विभागों की साइटें बंद हैं और सभी श्रमिकों को कंपनी के परिसर में ही बंद कर रखा गया है. उन्हें बाहर नहीं निकलने दिया जा रहा है.
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श्रमिकों का आरोप है कि कंपनी के गेट पर बिजली का तार लगाया गया है, जिसमें करंट दौड़ रहा है. जिससे वे कंपनी से बाहर नहीं निकल सकते हैं. वहीं, जिन श्रमिकों को कंपनी की गाड़ी से बाहर भेजा जा रहा है, उनका कोई अता पता नहीं है. उनके मोबाइल भी बंद आ रहे हैं.
ऐसे में श्रमिकों को शक है कि उनको कंपनी ने मार तो नहीं दिया है. श्रमिकों ने इसके विरोध में कैम्प में हड़ताल कर दिया है और भारत सरकार से गुहार लगाई है कि उन्हें भारत वापस लाया जाए.