सवाई माधोपुर. रेलवे स्टेशन पर बीती मध्य रात्रि को एक दर्दनाक हादसा (Terror of eunuchs in Sawai Madhopur) हो गया. कोटा-हिसार पैसेंजर ट्रेन में रींगस के लिए यात्रा करने वाले 3 यात्रियों का ट्रेन में चढ़ते ही किन्नरों से झगड़ा हो गया. किन्नरों से बचने के लिए तीनों यात्री ट्रेन से उतर गए और इसी दौरान दूसरी पटरी पर आ रही दूरंतो ट्रेन की चपेट में आने से दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गई.
वहीं, इस पूरे घटनाक्रम को लेकर जीआरपी और रेलवे के अधिकारियों का कहना है कि यह घटना किन्नरों से झगड़ा होने की वजह से नहीं बल्कि रॉन्ग साइड से ट्रेन में चढ़ने के प्रयास में हुई है. मृतक के साथी यात्री अनिल ने बताया कि वो तीन लोग रात को कोटा-हिसार पैसेंजर ट्रेन से रींगस, खाटू श्याम जी के दर्शन के लिए जा रहे थे. सवाई माधोपुर रेलवे स्टेशन (Sawai Madhopur Railway Station) से वो जैसे ही ट्रेन में चढ़े, तो अंदर किन्नर मिल गए. ट्रेन में घुसते ही किन्नरों ने झगड़ा करना शुरू कर दिया. किन्नरों ने यात्रियों के साथ पकड़ा-घकड़ी करनी शुरू कर दी और उन्हें मजबूरन ट्रेन से उतरना पड़ा.
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जैसे ही तीनों यात्री अनिल, ओम प्रकाश सैनी और फूलचंद सैनी ट्रेन से नीचे उतरे, तो दूसरी पटरी पर अचानक से दूरंतो ट्रेन आ गई और उसकी चपेट में आने से ओम प्रकाश सैनी और फूलचंद सैनी की मौके पर ही मौत हो गई. सूचना मिलते ही जीआरपी मौके पर पहुंचे और शवों को जिला अस्पताल की मोर्चरी में रखवा कर पोस्टमार्टम की कार्रवाई शुरू करवाई.
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घटना के संबंध में यात्री अनिल का कहना है कि किन्नरों से झगड़ा होने की वजह से उन्हें ट्रेन से उतरना पड़ा और यह दुर्घटना हो गई. जीआरपी के थाना प्रभारी धर्म सिंह का कहना है कि यात्री रॉन्ग साइड से ट्रेन में चढ़ने का प्रयास कर रहे थे और उसी समय दूसरी पटरी पर दूरंतो ट्रेन आने की वजह से यह घटना हुई. कोटा रेलवे मंडल के वरिष्ठ मंडल सुरक्षा आयुक्त विजय प्रकाश पंडित का कहना है कि घटना में किन्नरों से झगड़ा होने की बात सामने नहीं आई है. फिर भी हम घटना की पूरी जांच कराएंगे और हम समय-समय पर किन्नरों के खिलाफ कार्रवाई करते हैं.