कोटा. कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के प्रकोप ने कई घरों को उजाड़ दिया. वहीं कई घर मोटिवेशन मिलने से बच गए. ऐसा ही एक मामला कोटा के मेडिकल कॉलेज के डेडिकेटेड वार्ड का है. जहां सोमवार को 60 वर्षीय बुजुर्ग महिला ने कोरोना को हरा जंग जीती.
ऑर्थोपेडिक विभाग के एचओडी डॉ. आरपी मीणा ने बताया कि क्रेशर बस्ती निवासी प्रेम भाई 60 वर्षीय पिछले 25 दिनों से वार्ड में भर्ती थी. उसका जो सिटी स्कोर था वह 25 आ रहा था. बावजूद उसको जनरल वार्ड में अच्छी केयर मिली और ट्रीटमेंट अच्छा मिला. साथ ही यहां का वातावरण भी पॉजिटिव मिला. उन्होंने बताया कि जब परिजनों से बातचीत की तो उनका कहना था कि नाहीं आईसीयू की जरूरत पड़ी और नाहीं वेंटिलेटर की जरूरत पड़ी.
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परिजनों ने मरीज को सही होने पर पूरी टीम को धन्यवाद दिया. डॉ. आरपी मीणा ने कहा कि अगर मरीज यह ठान ले और उसमें आत्मविश्वास आ जाए तो वह ऐसी सिचुएशन में भी जनरल वार्ड में ठीक हो सकता है. वहीं, बुजुर्ग महिला प्रेम भाई के बेटे सोनू कुमार ने बताया कि 29 अप्रैल को मां को अस्पताल लेकर आए थे, तो वह बेहोशी की हालत में थी. यहां पर नाहीं आईसीयू मिला और नाहीं वेंटिलेटर मिला.
इसपर हमसे कहा गया कि जनरल वार्ड में भर्ती करवा दो. इस वार्ड में लेकर आए यहां के स्टाफ ने मेरी मां की खूब देखभाल की. इसके अलावा मेडिकल कॉलेज अस्पताल के ऑर्थोपेडिक वार्ड में भर्ती महिला के डिस्चार्ज पर डॉक्टर्स टीम के साथ पूरे स्टाफ में ताली बजाकर महिला को विदा किया. साथ ही बाहर गेट तक उसको छोड़ने आए.