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झालावाड़: कोरोना को भगाने के नाम पर सैकड़ों लोगों ने निकाली घास भैरू की सवारी, सरपंच सहित 32 पर मामला दर्ज

एक तरफ कोरोना महामारी की रोकथाम के लिए राज्य सरकार की ओर से लॉकडाउन लगाया गया है और प्रशासन गाइडलाइन की पालना के लिए सख्ती बरत रहा है. वहीं दूसरी तरफ झालावाड़ के खानपुर उपखंड क्षेत्र के एक गांव में कोरोना कोरोना भगाने के लिए ग्रामीणों ने घास भैरू पूजा कर जुलूस निकाला. जिसमें सोशल डिस्टेंसिंग की जमकर धज्जियां उड़ी.

superstition causing corona exorcism, superstition in Jhalawar
कोरोना को भगाने के नाम पर सैकड़ों लोगों ने निकाली घास भैरू की सवारी
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Published : May 13, 2021, 2:26 PM IST

झालावाड़. जिले में कोरोना के हालात लगातार गंभीर होते जा रहे हैं. जहां रोज सैंकड़ों नए कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे हैं, तो वहीं रोज कई लोग कोरोना संक्रमण से मौत के मुंह में जा रहे हैं. ऐसे में भी लोग लापरवाही कर कोरोना गाइडलाइन की किस तरह से धज्जियां उड़ाते हैं, इसका एक नजारा जिले के खानपुर उपखंड क्षेत्र के अकोदिया इलाके में देखने को मिला. जहां इलाके के ग्रामीणों ने कोरोना महामारी खात्मे के लिए भारी भीड़ जमा कर गांव में घास भैरू की पूजा कर जुलूस निकाला. जिसमें न तो सोशल डिस्टेंसिंग की पालना हुई और न ही कोरोना गाइडलाइन की. बड़ी बात ये रही कि इस बड़े आयोजन की खबर जिम्मेदार अधिकारियों व पुलिस को भी नहीं मिली.

कोरोना को भगाने के नाम पर सैकड़ों लोगों ने निकाली घास भैरू की सवारी

गौरतलब है कि राजस्थान में लगातार बढ़ रहे कोरोना की रफ्तार को लेकर सरकार लगातार संक्रमण रोकने का प्रयास कर रही है. वहीं अभी तक प्रशासन मुस्तैद नजर नहीं आ रहा है. एक तरफ जहां राजस्थान सरकार ने सूबे में लाॅकडाउन लगा रखा है, तो वहीं दूसरी ओर प्रशासन की नाक के नीचे ही कोरोना स्प्रेडर का काम करने वाले आयोजन हो रहे हैं. जहां झालावाड़ जिले की खानपुर तहसील के आकोदिया ग्राम पंचायत इलाके में सरपंच सहित सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने इकठ्ठे होकर गांव में जुलूस निकाला. ये सब कोरोना को हराने के टोटके के नाम पर किया गया. जिसमें लोक देवता घास भैरू को कोरोना से मुक्ति के लिए गांव में घुमाया गया. सैंकड़ों लोग और बड़ी संख्या में ट्रैक्टर लेकर ग्रामीण गांव के चारों ओर चक्कर लगाते नजर आए.

पढ़ें- कोरोना काल में प्रतिष्ठान बंद, लेकिन बिजली के बिल में विलंब शुल्क और स्थाई शुल्क की वसूली जारी...

हालांकि इलाके में हुए इस जमावड़े को रोकने की जिम्मेदारी पंचायत व प्रशासन की थी, लेकिन स्थानीय सरपंच समेत कई लोग जुलूस का नेतृत्व करते हुए नजर आए. सुपर स्प्रेडर बनी इस भीड़ ने न तो कोरोना गाइडलाइन का पालन किया और न ही प्रशासन से कोई पूर्व अनुमति ली थी. सामाजिक दूरी का तो जुलूस के दौरान जमकर मखौल उड़ाया गया. ऐसे में स्थानीय पंचायत प्रशासन ने तो जुलूस की अनदेखी की ही, लेकिन जिला प्रशासन और पुलिस भी मूक दर्शक बनकर कोरोना बढाने वाले इस सामाजिक आयोजन को देखती रही.

अब सारा मामला सामने आने के बाद पुलिस व प्रशासन में हड़कंप मचा हुआ है. आनन-फानन में पुलिस ने सारे मामले में गांव के सरपंच सहित तीन दर्जन लोगों के खिलाफ महामारी एक्ट में मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.

झालावाड़. जिले में कोरोना के हालात लगातार गंभीर होते जा रहे हैं. जहां रोज सैंकड़ों नए कोरोना पॉजिटिव मरीज सामने आ रहे हैं, तो वहीं रोज कई लोग कोरोना संक्रमण से मौत के मुंह में जा रहे हैं. ऐसे में भी लोग लापरवाही कर कोरोना गाइडलाइन की किस तरह से धज्जियां उड़ाते हैं, इसका एक नजारा जिले के खानपुर उपखंड क्षेत्र के अकोदिया इलाके में देखने को मिला. जहां इलाके के ग्रामीणों ने कोरोना महामारी खात्मे के लिए भारी भीड़ जमा कर गांव में घास भैरू की पूजा कर जुलूस निकाला. जिसमें न तो सोशल डिस्टेंसिंग की पालना हुई और न ही कोरोना गाइडलाइन की. बड़ी बात ये रही कि इस बड़े आयोजन की खबर जिम्मेदार अधिकारियों व पुलिस को भी नहीं मिली.

कोरोना को भगाने के नाम पर सैकड़ों लोगों ने निकाली घास भैरू की सवारी

गौरतलब है कि राजस्थान में लगातार बढ़ रहे कोरोना की रफ्तार को लेकर सरकार लगातार संक्रमण रोकने का प्रयास कर रही है. वहीं अभी तक प्रशासन मुस्तैद नजर नहीं आ रहा है. एक तरफ जहां राजस्थान सरकार ने सूबे में लाॅकडाउन लगा रखा है, तो वहीं दूसरी ओर प्रशासन की नाक के नीचे ही कोरोना स्प्रेडर का काम करने वाले आयोजन हो रहे हैं. जहां झालावाड़ जिले की खानपुर तहसील के आकोदिया ग्राम पंचायत इलाके में सरपंच सहित सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने इकठ्ठे होकर गांव में जुलूस निकाला. ये सब कोरोना को हराने के टोटके के नाम पर किया गया. जिसमें लोक देवता घास भैरू को कोरोना से मुक्ति के लिए गांव में घुमाया गया. सैंकड़ों लोग और बड़ी संख्या में ट्रैक्टर लेकर ग्रामीण गांव के चारों ओर चक्कर लगाते नजर आए.

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हालांकि इलाके में हुए इस जमावड़े को रोकने की जिम्मेदारी पंचायत व प्रशासन की थी, लेकिन स्थानीय सरपंच समेत कई लोग जुलूस का नेतृत्व करते हुए नजर आए. सुपर स्प्रेडर बनी इस भीड़ ने न तो कोरोना गाइडलाइन का पालन किया और न ही प्रशासन से कोई पूर्व अनुमति ली थी. सामाजिक दूरी का तो जुलूस के दौरान जमकर मखौल उड़ाया गया. ऐसे में स्थानीय पंचायत प्रशासन ने तो जुलूस की अनदेखी की ही, लेकिन जिला प्रशासन और पुलिस भी मूक दर्शक बनकर कोरोना बढाने वाले इस सामाजिक आयोजन को देखती रही.

अब सारा मामला सामने आने के बाद पुलिस व प्रशासन में हड़कंप मचा हुआ है. आनन-फानन में पुलिस ने सारे मामले में गांव के सरपंच सहित तीन दर्जन लोगों के खिलाफ महामारी एक्ट में मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.

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