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Surya Grahan 2022: सूर्य ग्रहण के समय गर्भवती महिलाएं गलती से भी न करें ये काम, बरतें ये सावधानी! - सूर्य ग्रहण के समय गर्भवती महिलाएं

आज कई दशक बाद सूर्य ग्रहण है. सुबह 4 बजे से ही सूतक लग गए हैं. मंदिरों के पट बंद हो गए हैं. आज शाम को करीब सवा घंटे तक सूर्य ग्रहण रहेगा. ग्रहण के दौरान गर्भवती महिलाओं को विशेष सावधानी बरतनी है (pregnant women in Surya Grahan).

pregnant women in Surya Grahan
गर्भवती रहें सावधान!
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Published : Oct 25, 2022, 9:57 AM IST

Updated : Oct 25, 2022, 3:12 PM IST

भरतपुर. साल के आखिरी सूर्यग्रहण पर गर्भवती महिलाओं को खास सावधानी बरतनी है (pregnant women in Surya Grahan). मंगलवार 25 अक्टूबर को सूर्य ग्रहण दोपहर 2 बजकर 29 मिनट पर शुरू होगा और शाम 6 बजकर 32 मिनट पर खत्म हो जाएगा. सूर्य ग्रहण करीब 4 घंटे तीन मिनट तक चलेगा. वहीं ग्रहण का सूतक काल 12 घंटे पहले ही शुरू हो गया. सूर्य ग्रहण के सूतक काल में कई चीजों को परहेज किए जाने की हिदायत दी जाती है. खासतौर पर गर्भवती महिलाओं को (Solar Eclipse 2022).

गर्भवती महिलाएं ये काम न करें- पंडित मनु मुद्गल ने बताया कि मंगलवार को शाम 4.18 से शाम 5.40 बजे तक सूर्य ग्रहण रहेगा. गर्भवती महिलाओं को सूतक काल से ग्रहण काल तक कोई भी फल या सब्जी नहीं काटनी है और न ही पकानी है. यदि कोई गर्भवती महिला गलती से ये काम ग्रहण काल में कर लेती है, तो इसका दुष्प्रभाव उसके होने वाली संतान पर दिखाई पड़ता है. पंडित मनु मुद्गल के मुताबिक कि कई उदाहरण ऐसे हैं जब गर्भवती महिला ने ग्रहण काल में नींबू काटा या अन्य खाद्य फल या सब्जी काटी, जिसके चलते उनकी संतान का जन्म काल से ही होंठ कटा हुआ आया.

गर्भवती महिलाएं ये बिलकुल न करें!

ये भी पढ़ें-Solar Eclipse 2022: टूटी 150 सालों की परंपरा, नहीं हो सकी गोवर्धन पूजा, जैसलमेर में सबसे अधिक समय तक सूर्य ग्रहण

राजपुत्रों के लिए अशुभ- दीपावली और अमावस्या के अवसर पर 27 वर्ष बाद यह सूर्य ग्रहण हो रहा है. विशेष परिस्थितियों में सूर्य ग्रहण होने की वजह से यह सूर्य ग्रहण जहां राजपुत्रों के लिए शुभ रहेगा, वहीं कर्क, तुला, वृश्चिक और मीन के लिए अशुभकारक. वृष, सिंह, धनु और मकर के लिए शुभ रहेगा. वहीं मेष, मिथुन, कन्या, कुंभ राशि वालों के लिए सामान्य रहेगा.

ग्रहण के प्रभाव से ऐसे बचें- पंडितजी के मुताबिक ग्रहण काल के दौरान उसके प्रभाव से बचने के लिए गर्भवती महिला और पालतू पशुओं पर गेरू का लेप करें.जल, तेल, घी एवं अन्य तरल खाद्य पदार्थों में तुलसी का पत्ता या कुशा डालकर ग्रहण के प्रभाव का निस्तेजन किया जाता है. ग्रहण काल के दौरान व्यक्ति को खान पान से बचना चाहिए. हालांकि बालक, वृद्ध और रोगी के लिए ग्रहण काल में छूट मानी गई है.

भजन से पुण्य प्राप्ति- मान्यता अनुसार प्रभु का नाम ग्रहण के कष्ट से पार लगाता है. मंगलवार सुबह 4 बजे से सूतक लग गया, जिसकी वजह से मंदिरों के पट बंद कर दिए गए हैं. अब शाम को ग्रहण समाप्ति के बाद ही मंदिरों के पट खोले जाएंगे और प्रभु जी के पंचामृत से स्नान करने के बाद पूजा पाठ किया जाएगा. पंडित मुद्गल बताते हैं कि ग्रहण काल के समय भगवान का ध्यान करना चाहिए. अपने इष्ट और गुरु का ध्यान करते हुए भजन करने से अनंत फल प्राप्त होता है.

भरतपुर. साल के आखिरी सूर्यग्रहण पर गर्भवती महिलाओं को खास सावधानी बरतनी है (pregnant women in Surya Grahan). मंगलवार 25 अक्टूबर को सूर्य ग्रहण दोपहर 2 बजकर 29 मिनट पर शुरू होगा और शाम 6 बजकर 32 मिनट पर खत्म हो जाएगा. सूर्य ग्रहण करीब 4 घंटे तीन मिनट तक चलेगा. वहीं ग्रहण का सूतक काल 12 घंटे पहले ही शुरू हो गया. सूर्य ग्रहण के सूतक काल में कई चीजों को परहेज किए जाने की हिदायत दी जाती है. खासतौर पर गर्भवती महिलाओं को (Solar Eclipse 2022).

गर्भवती महिलाएं ये काम न करें- पंडित मनु मुद्गल ने बताया कि मंगलवार को शाम 4.18 से शाम 5.40 बजे तक सूर्य ग्रहण रहेगा. गर्भवती महिलाओं को सूतक काल से ग्रहण काल तक कोई भी फल या सब्जी नहीं काटनी है और न ही पकानी है. यदि कोई गर्भवती महिला गलती से ये काम ग्रहण काल में कर लेती है, तो इसका दुष्प्रभाव उसके होने वाली संतान पर दिखाई पड़ता है. पंडित मनु मुद्गल के मुताबिक कि कई उदाहरण ऐसे हैं जब गर्भवती महिला ने ग्रहण काल में नींबू काटा या अन्य खाद्य फल या सब्जी काटी, जिसके चलते उनकी संतान का जन्म काल से ही होंठ कटा हुआ आया.

गर्भवती महिलाएं ये बिलकुल न करें!

ये भी पढ़ें-Solar Eclipse 2022: टूटी 150 सालों की परंपरा, नहीं हो सकी गोवर्धन पूजा, जैसलमेर में सबसे अधिक समय तक सूर्य ग्रहण

राजपुत्रों के लिए अशुभ- दीपावली और अमावस्या के अवसर पर 27 वर्ष बाद यह सूर्य ग्रहण हो रहा है. विशेष परिस्थितियों में सूर्य ग्रहण होने की वजह से यह सूर्य ग्रहण जहां राजपुत्रों के लिए शुभ रहेगा, वहीं कर्क, तुला, वृश्चिक और मीन के लिए अशुभकारक. वृष, सिंह, धनु और मकर के लिए शुभ रहेगा. वहीं मेष, मिथुन, कन्या, कुंभ राशि वालों के लिए सामान्य रहेगा.

ग्रहण के प्रभाव से ऐसे बचें- पंडितजी के मुताबिक ग्रहण काल के दौरान उसके प्रभाव से बचने के लिए गर्भवती महिला और पालतू पशुओं पर गेरू का लेप करें.जल, तेल, घी एवं अन्य तरल खाद्य पदार्थों में तुलसी का पत्ता या कुशा डालकर ग्रहण के प्रभाव का निस्तेजन किया जाता है. ग्रहण काल के दौरान व्यक्ति को खान पान से बचना चाहिए. हालांकि बालक, वृद्ध और रोगी के लिए ग्रहण काल में छूट मानी गई है.

भजन से पुण्य प्राप्ति- मान्यता अनुसार प्रभु का नाम ग्रहण के कष्ट से पार लगाता है. मंगलवार सुबह 4 बजे से सूतक लग गया, जिसकी वजह से मंदिरों के पट बंद कर दिए गए हैं. अब शाम को ग्रहण समाप्ति के बाद ही मंदिरों के पट खोले जाएंगे और प्रभु जी के पंचामृत से स्नान करने के बाद पूजा पाठ किया जाएगा. पंडित मुद्गल बताते हैं कि ग्रहण काल के समय भगवान का ध्यान करना चाहिए. अपने इष्ट और गुरु का ध्यान करते हुए भजन करने से अनंत फल प्राप्त होता है.

Last Updated : Oct 25, 2022, 3:12 PM IST
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