अलवर. जिले के विशिष्ट न्यायालय, पॉक्सो कोर्ट नम्बर तीन की अदालत ने रिश्तों को कलंकित करने वाले चाचा को उम्र कैद की सजा सुनाई है और एक लाख का जुर्माना भी किया है. कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए आरोपी के इस कृत्य को समाज के लिए खतरनाक बताया है. साथ ही पशु प्रवत्ति वाला घृणित कृत्य बताकर समाज के लिए खतरनाक बताया है.
राजगढ़ थानां क्षेत्र के अंतर्गत 7 साल की मासूम से दुष्कर्म के आरोपी चाचा को गुरूवार को विशिष्ट न्यायालय पॉक्सो कोर्ट तीन के न्यायाधीश राजेन्द्र शर्मा की अदालत ने उम्रकैद अर्थात जीवन पर्यंत जेल में गुजारने जिसमें आरोपी के मृत शरीर को ही जेल से बाहर लाया जाएगा ऐसी सजा सुनाई है. इसके साथ ही 1 लाख का जुर्माना भी लगाया है.
कोर्ट में फैसला सुनाते हुए माननीय न्यायाधीश ने टिप्पणी करते हुए कहा कि आरोपी का कृत्य समाज के लिए घातक है. एक अबोध बालिका अपने परिवार के सदस्यों पर भरोसा करती है लेकिन उसके साथ इस तरह का घृणित कृत्य करना पशु प्रवत्ति की श्रेणी में आता है. इसलिए ऐसे आरोपी को जीवन पर्यंत कारावास की सजा सुनाई गई है.
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अपर लोक अभियोजक राजकुमार गंगावत ने बताया कि राजगढ़ थानां क्षेत्र के अंतर्गत 6 अगस्त 2017 को एक पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज हुआ था. जिसमें पीड़िता के निकटतम परिवार के सदस्य रिश्ते में चाचा के द्वारा 4 अगस्त को दुष्कर्म किया गया था. एफआईआर दर्ज होने के बाद पुलिस के द्वारा आरोपी को गिरफ्तार किया गया और कोर्ट में पुलिस ने 21 अगस्त 2017 को चालान पेश कर दिया था.
अलवर जिले में नाबालिग से दुष्कर्म के मामलों में अब तक 9 लोगों को उम्रकैद की सजा हो चुकी है. इसके बावजूद अलवर जिले में रेप के मामले थमने के नाम नहीं ले रहे है. जिले में वर्ष 2019 में 254 दुष्कर्म के मामले दर्ज हो चुके है. अलवर जिले में अब दो पुलिस जिले अलवर पुलिस जिला और भिवाड़ी पुलिस जिला अपराधों पर लगाम कसने के लिए बनाया गया है लेकिन इस पर अभी सफलता नहीं मिल रही है.