ETV Bharat / city

5 दशक पुराना राजस्थान सरकार और दिल्ली सरकार का विवाद सुलझा, राजस्थान सरकार को मिला 'उदयपुर हाऊस' - उदयपुर हाऊस

रियासत काल से दिल्ली में स्थित मेवाड़ के राजघराने का उदयपुर हाऊस लंबे विवाद के बाद आखिरकार बुधवार को राजस्थान सरकार का हो गया है. इसके लिए राजस्थान सरकार और दिल्ली सरकार के बीच बरसों बाद ये विवाद सुलझा है.

udaipur house delhi news , दिल्ली का उदयपुर हाऊस ,
author img

By

Published : Sep 4, 2019, 8:50 PM IST

जयपुर/नई दिल्ली. दिल्ली के सिविल लाइंस में स्थित उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार का हो गया है. दिल्ली सरकार और राजस्थान सरकार के बीच हुए समझौते के तहत यह निर्णय लिया गया.

बुधवार को जस्टिस आर भानुमति की अध्यक्षता वाली बेंच के समक्ष दोनों राज्यों के वकीलों ने समझौता पत्र सौंपा जिसके बाद कोर्ट ने राजस्थान हाउस को राजस्थान सरकार को सौंपने का आदेश दिया. पिछले 5 अगस्त को दोनों राज्यों ने सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि उदयपुर हाउस को लेकर दोनों राज्यों में समझौता हो गया है. तब सुप्रीम कोर्ट ने दोनों राज्यों के मुख्य सचिवों के बीच हुए समझौता पत्र को कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था.

दरअसल, उदयपुर हाऊस का लेकर राजस्थान सरकार और दिल्ली सरकार के मुख्य सचिवों की बैठक में इस बात पर सहमति बनी थी कि दिल्ली के सिविल लाइंस स्थित 12 हजार वर्गमीटर में फैला उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार को वापस दिया जाएगा. इसके बाद दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में उदयपुर हाउस खाली कर राजस्थान को सौंपने का सहमति संबंधी हलफनामा पेश किया था.

पढ़ें: पूर्व सीएम की सुविधाओं पर HC का फैसला...राठौड़ बोले- कांग्रेस ने ही शुरू की थी सुविधाओं में बढ़ोतरी

5 दशक से था विवाद

बता दें कि 12 हजार वर्ग मीटर में फैला यह भवन रियासत काल में मेवाड़ के पूर्व महाराणाओं का दिल्ली में आवास था. आजादी के बाद राजस्थान सरकार ने उदयपुर हाउस दिल्ली सरकार को किराये पर दे दिया था. लेकिन दिल्ली सरकार ने इसके लिए अब तक कोई किराए का भुगतान नहीं किया. उल्टा भवन में श्रम विभाग खोल दिया जो बाद में विवाद बढ़ने पर हटा लिया गया. लंबे समय तक चले विवाद के बाद दिल्ली सरकार और राजस्थान सरकार के बीच इस समस्या का निदान हो गया और दिल्ली सरकार ने ये भवन पूरी तरह राजस्थान सरकार को दे दिया.

जयपुर/नई दिल्ली. दिल्ली के सिविल लाइंस में स्थित उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार का हो गया है. दिल्ली सरकार और राजस्थान सरकार के बीच हुए समझौते के तहत यह निर्णय लिया गया.

बुधवार को जस्टिस आर भानुमति की अध्यक्षता वाली बेंच के समक्ष दोनों राज्यों के वकीलों ने समझौता पत्र सौंपा जिसके बाद कोर्ट ने राजस्थान हाउस को राजस्थान सरकार को सौंपने का आदेश दिया. पिछले 5 अगस्त को दोनों राज्यों ने सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि उदयपुर हाउस को लेकर दोनों राज्यों में समझौता हो गया है. तब सुप्रीम कोर्ट ने दोनों राज्यों के मुख्य सचिवों के बीच हुए समझौता पत्र को कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था.

दरअसल, उदयपुर हाऊस का लेकर राजस्थान सरकार और दिल्ली सरकार के मुख्य सचिवों की बैठक में इस बात पर सहमति बनी थी कि दिल्ली के सिविल लाइंस स्थित 12 हजार वर्गमीटर में फैला उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार को वापस दिया जाएगा. इसके बाद दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में उदयपुर हाउस खाली कर राजस्थान को सौंपने का सहमति संबंधी हलफनामा पेश किया था.

पढ़ें: पूर्व सीएम की सुविधाओं पर HC का फैसला...राठौड़ बोले- कांग्रेस ने ही शुरू की थी सुविधाओं में बढ़ोतरी

5 दशक से था विवाद

बता दें कि 12 हजार वर्ग मीटर में फैला यह भवन रियासत काल में मेवाड़ के पूर्व महाराणाओं का दिल्ली में आवास था. आजादी के बाद राजस्थान सरकार ने उदयपुर हाउस दिल्ली सरकार को किराये पर दे दिया था. लेकिन दिल्ली सरकार ने इसके लिए अब तक कोई किराए का भुगतान नहीं किया. उल्टा भवन में श्रम विभाग खोल दिया जो बाद में विवाद बढ़ने पर हटा लिया गया. लंबे समय तक चले विवाद के बाद दिल्ली सरकार और राजस्थान सरकार के बीच इस समस्या का निदान हो गया और दिल्ली सरकार ने ये भवन पूरी तरह राजस्थान सरकार को दे दिया.

Intro:नई दिल्ली । दिल्ली के सिविल लाइंस स्थित उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार का हो गया है। इस बाबत दिल्ली सरकार और राजस्थान सरकार में समझौता हो गया है। आज जस्टिस आर भानुमति की अध्यक्षता वाली बेंच के समक्ष दोनों राज्यों के वकीलों ने समझौता पत्र सौंपा जिसके बाद कोर्ट ने राजस्थान हाउस को राजस्थान सरकार को सौंपने का आदेश दिया।Body:पिछले 5 अगस्त को दोनों राज्यों ने सुप्रीम कोर्ट से कहा था कि उदयपुर हाउस को लेकर दोनों राज्यों में समझौता हो गया है। तब सुप्रीम कोर्ट ने दोनों राज्यों के मुख्य सचिवों के बीच हुए समझौता पत्र को कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था। Conclusion:दरअसल उदयपुर हाऊस का लेकर राजस्थान सरकार और दिल्ली सरकार के मुख्य सचिवों की बैठक में इस बात पर सहमति बनी थी कि दिल्ली के सिविल लाइंस स्थित 12 हजार वर्गमीटर में फैला उदयपुर हाउस राजस्थान सरकार को वापस दिया जाएगा। इसके बाद दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में उदयपुर हाउस खाली कर राजस्थान को सौंपने का सहमति संबंधी हलफनामा पेश किया था।
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.