देव भूमि हिमाचल अपने भीतर कई रहस्य छिपाए हुए है. यहां के मंदिरों पर न केवल श्रद्धालुओं का अटूट विश्वास है, बल्कि इन मंदिरों में दूर-दराज से आने वाले लोगों को उनकी समस्याओं का समाधान भी मिलता है. ईटीवी भारत अपनी खास सीरीज 'रहस्य' में कुछ ऐसे ही अविश्वसनीय रहस्यों के बारे में आपको बताता चला आ रहा है. इसी कड़ी में आज हम आपको ऐसे ही एक रहस्य से रूबरू कराएंगे, जहां सांप का काटा हुआ व्यक्ति बिना किसी इलाज के ठीक हो जाता है.
जिला मंडी के करसोग में मैहरन पंचायत में पड़ने वाले मूल माहूंनाग ककनो आज के विज्ञान के दौर में भी अद्भुत रहस्य के लिए जाना जाता है. इस पंचायत के तहत पड़ने वाले क्षेत्रों में आज भी सांप के काटने पर व्यक्ति को अस्पताल नहीं ले जाया जाता है बल्कि सीधे मूल माहूंनाग ककनो मंदिर में लाया जाता है और यहां मुख्य दरवाजा खोलने के बाद जिस जगह पर माहूंनाग की मुख्य मूर्ति रखी जाती उसके सामने सांप द्वारा काटे गए व्यक्ति को लेटाया जाता है और तीन दिन में व्यक्ति पूरी से स्वस्थ हो जाता है.
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चार महीने पहले मैहरन गांव की कौशल्या को खेत में काम करते वक्त सांप ने काटा था. इस बारे में कौशल्या की बेटी रीना ने बताया कि सांप के काटने पर कौशल्या को मूल माहूंनाग ककनो लाया गया. यहां तीन दिन रखने के बाद वह पूरी तरह ठीक हो गई.
मूल माहूंनाग ककनो मंदिर का इतिहास सदिंयों पुराना है. नागों से जुड़ा यह मंदिर सांप के काटने पर पीड़ितों के लिए संकटमोचन का काम करता है. यह मंदिर अद्भुत है, रहस्मयी है. आज के विज्ञान के पास भी शायद इस रहस्य का कोई उत्तर नहीं होगा.