जयपुर. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने छोटीसादड़ी में पुलिस पर हमला और मालपुरा में गैंगरेप की वारदात को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा है. भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा कि कोरोना जैसी महामारी के दौरान राज्य सरकार प्रबंधन में फेल हो गई है. साथ ही कानून व्यवस्था के मोर्चे पर भी सरकार विफल है.
डॉ. सतीश पूनिया ने कहा कि मालपुरा (टोंक) गैंगरेप की वारदात कानून व्यवस्था फेल होने का ही प्रमाण है. पूनिया ने कहा कि भाजपा के टोंक-सवाईमाधोपुर सांसद और मालपुरा के विधायक जब लोकतांत्रिक तरीके से अपनी बात कहते हैं तो उनकी बात को दबाने की कोशिश होती है. उनके खिलाफ मुकदमे दर्ज किये जाते हैं. ऐसे ही 16 लोगों के खिलाफ मुकदमे दर्ज किये गये हैं. आमजन के हित में भाजपा की जायज बात को दबाया नहीं जा सकता. हम अपनी बात लोकतांत्रिक तरीके से उठाते रहेंगे.
उन्होंने कहा कि प्रदेश में अशोक गहलोत की सरकार विरोधाभासों में चल रही है. गैंगरेप के दोषियों पर कार्रवाई की मांग करने पर सांसद-विधायक और कार्यकर्ताओं पर मुकदमे दर्ज करती है तो दूसरी ओर चित्तौड़ में कैबिनेट मंत्री पुलिस पर हमले की अगुवाई करते हैं. सरकार का ईमान बचा है? उन्होंने कहा कि मालपुरा गैंगरेप के मामले में राज्य सरकार क्यों मौन है. दोषियों के खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं की जा रही?
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वहीं, प्रदेश अध्यक्ष डॉ. पूनिया ने छोटी सादड़ी की वारदात को लेकर कहा कि राजस्थान सरकार के मंत्री उदयलाल आंजना और अन्य असामजिक तत्वों की ओर से पुलिस बल पर हमला निंदनीय है. भाजपा इसमें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मांग करती है कि पुलिस पर हमले के दोषी मंत्री से तुरंत इस्तीफा दिलवा कर दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाए.
पूनिया का कहना है कि नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को पत्र लिखा है. उन्होंने कहा कि एक तरफ तो पूरा देश, प्रदेश और पूरी दुनिया वैश्विक महामारी से लड़ रहे हैं. ऐसे समय में कोरोना योद्धा के रूप में अपनी सेवाएं दे रहे पुलिसकर्मी अन्य कोरोना योद्धाओं पर हमला करना केवल निंदनीय ही नहीं, शर्मनाक भी है और गहलोत सरकार में थोड़ा भी ईमान बचा हो तो नेता प्रतिपक्ष ने मुख्यमंत्री से जो मांग रखी है कि संबंधित दोषी मंत्री से तुरंत इस्तीफा लेना चाहिए.