जयपुर. चौमूं हाउस सर्किल पर शनिवार सुबह हुए हादसे में निगम प्रशासन और जेडीए प्रशासन की नाकामी सामने आई. वहीं मानवता का एक चेहरा भी सामने आया. जहां एक गार्ड अपनी ड्यूटी पूरी कर थकान मिटाने के लिए चाय पीने पहुंचा था, लेकिन हादसे के दौरान मानवता की ड्यूटी निभाते हुए गड्ढे में गिरे ऑटो चालक और ऑटो में सवार युवती को बाहर निकाला.
किसी की जान बचाने वाला भगवान का फरिश्ता माना जाता है. जयपुर में शनिवार सुबह चौमूं हाउस सर्किल पर हुए हादसे में ऑटो सवार महिला और ऑटो चालक के लिए गार्ड प्रहलाद भी भगवान का फरिश्ता बन करके ही आया. दरअसल, एक प्राइवेट बैंक में गार्ड की ड्यूटी करने वाला प्रहलाद ड्यूटी से फ्री होकर हादसा स्थल से कुछ दूरी पर चाय पीने के लिए आया था. अचानक सड़क धंसने और यहां एक ऑटो के गड्ढे में घुसने से प्रहलाद ने मानवता का धर्म निभाते हुए 2 जिंदगियां बचाई.
ईटीवी भारत से बातचीत में प्रहलाद ने बताया कि यहां चाय पीने पहुंचा था, अचानक चलता हुआ ऑटो रोड में समा गया. उसके पीछे आ रही फोर व्हीलर कट मारते हुए निकल गई. पीछे से आने वाला ट्रैफिक भी लगातार गुजरता रहा, लेकिन कोई भी ऑटो सवार और ऑटो चालक की मदद करने के लिए नहीं रुका. हालांकि उन्होंने हार नहीं मानी. किसी की ऑटो की रस्सी तो किसी का मफलर लेकर 1 लंबी रस्सी बनाई गई। जिसे पकड़कर ऑटो चालक तो बाहर निकाला गया, लेकिन ऑटो सवार युवती काफी घबराई हुई थी. ऐसे में गड्ढे में उतरकर काफी मशक्कत के बाद युवती को बाहर निकाला गया और उन्हें अस्पताल पहुंचाया गया. वहीं बाद में क्रेन से ऑटो को बाहर निकाला गया.
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प्रहलाद और उनके साथ चाय बेचने वाले विष्णु को मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने सुरक्षा वॉरियर बताते हुए 2100-2100 रुपए का इनाम देते हुए सड़क सुरक्षा सप्ताह के समापन कार्यक्रम में सम्मानित करने की भी बात कही. इस पर प्रहलाद ने कहा कि यदि किसी की जिंदगी बचाई जा सकती है, तो दायित्व और फर्ज भी यही बनता है.