जयपुर. राजस्थान में आज 10 मई से 24 मई तक के लिए 'लॉकडाउन' लगा दिया गया है. कोरोना संक्रमण लगातार बढ़ रहा है. ऐसे में लोगों में दूरी बनाए रखने के लिए लॉकडाउन के अलावा अब कोई रास्ता सरकार के पास बचा नहीं था. बहरहाल लॉकडाउन है और क्योंकि प्रदेश के राजस्थान कांग्रेस के संगठन ने 17 अप्रैल से कंट्रोल रूम शुरू किया था, जो कोरोना मरीजों के लिए ऑक्सीजन और बेड की व्यवस्था करवाने का प्रयास कर रहा है.
हालांकि, इसी बीच कांग्रेस कंट्रोल रूम के दो कार्यकर्ताओं को कोरोना हो जाने और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता विजय सारस्वत के निधन के चलते, कांग्रेस कंट्रोल रूम के काम को सीमित कर दिया गया है. लेकिन आज से क्योंकि पूरे राजस्थान में लॉकडाउन लगा दिया गया है तो ऐसे में कांग्रेस कंट्रोल रूम की जिम्मेदारी ज्यादा बनती है. ऐसे में ईटीवी भारत की ओर से कांग्रेस कंट्रोल रूम की वास्तविकता का पता लगाने का प्रयास किया. हालांकि, यह सही है कि कंट्रोल रूम मैं फोन उठाया भी जा रहा है और रिस्पांस भी दिया जा रहा है. वहीं, बेड के लिए भी जगह बताई जा रही है कि कहां बेड उपलब्ध हैं.
लेकिन कांग्रेस कंट्रोल रूम की ओर से कोई ऐसा नंबर जारी नहीं किया जा रहा, जिससे कोई मरीज अगर कांग्रेस कंट्रोल रूम के बताए गए अस्पताल में जाकर एडमिट होना चाहे तो वह किसका नाम ले. हालांकि, प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय पर बने कंट्रोल रूम पर फोन उठाने वाले कार्यकर्ताओं का यही कहना है कि वह जाकर कह दे कि प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय से उन्हें भेजा गया है, उन्हें बेड मिल जाएगा. जबकि कोई शिकायतकर्ता का नाम या उसके नाम पर जारी किया गया नंबर नहीं दिया जा रहा. जिससे कीजिए पता लगता हो कि इस नंबर का शिकायतकर्ता या पेशेंट इस अस्पताल में जाएगा, जिसे प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय की ओर से भेजा गया है.