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इस दिवाली तोहफा दे दो सरकार: प्रयोगशाला सहायक भर्ती-2018 की चयन सूची जारी करने की मांग, अभ्यर्थियों ने किया विरोध प्रदर्शन

जयपुर के शहीद स्मारक में स्वास्थ्य विभाग में तैनात संविदा कर्मियों ने विरोध प्रदर्शन किया और 2018 से अटकी प्रयोगशाला सहायक सीधी भर्ती 2018 की चयन सूची जारी करने की मांग की. अभ्यर्थियों ने विरोध प्रदर्शन के दौरान पीपीई किट पहनी.

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प्रयोगशाला सहायक भर्ती-2018 की चयन सूची जारी करने की मांग
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Published : Oct 28, 2021, 3:56 PM IST

Updated : Oct 28, 2021, 5:05 PM IST

जयपुर. राजधानी के शहीद स्मारक में बुधवार को स्वास्थ्य विभाग में तैनात संविदा कर्मियों ने अनूठा विरोध प्रदर्शन किया. मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना कार्मिक संघ के बैनर तले संविदा कर्मचारियों ने चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग में प्रयोगशाला सहायक सीधी भर्ती 2018 की चयन सूची जारी करने की मांग की. उन्होंने पीपीई किट पहनकर सरकार के खिलाफ विरोध जताया.


चिकित्सा विभाग में प्रयोगशाला सहायक भर्ती के लिए 2018 में 1534 पदों पर विज्ञप्ति जारी की थी. भर्ती के 2 साल बीत चुके हैं. विभाग ने ओर से अभ्यर्थियों के दस्तावेज सत्यापन भी कर लिए हैं. अभ्यर्थी अनुभव प्रमाण पत्र का फिर प्रमाणीकरण करवा चुके हैं. इसके बावजूद भी चयन सूची जारी नहीं हो पा रही है.

प्रयोगशाला सहायक भर्ती-2018 की चयन सूची जारी करने की मांग

पढ़ें. राजस्थान में आयकर विभाग की बड़ी कार्रवाई, श्रीगंगानगर और जयपुर में 33 ठिकानों पर छापेमारी

चिकित्सा विभाग की ओर से मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना के अंतर्गत लैब असिस्टेंट के 2348 पदों पर स्वीकृति दी गई थी. बाकी बचे हुए प्रयोगशाला सहायक पदों पर साल 2018 में प्रयोगशाला सहायक भर्ती का विज्ञापन प्रकाशित किया गया था. भर्ती के लिए ऐसे व्यक्ति भी पात्र माने गए थे, जो सेकेंडरी या उसके समकक्ष और राजस्थान सरकार से मान्यता प्राप्त किसी संस्था में चिकित्सालय प्रयोगशाला प्रौद्योगिकी में कोई डिप्लोमा और राज्य सरकार के अस्पतालों में प्रयोगशाला सहायक के रूप में संविदा के माध्यम से या सेवा प्रदाता एजेंसी के माध्यम से कार्य करने की न्यूनतम 3 वर्ष का अनुभव रखता हो. यह मापदंड निर्धारित करके ही अधिसूचना जारी की गई थी. इसके बाद भी चयन सूची जारी नहीं हो पा रही है.

कार्मिक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अरुण कुमार शर्मा ने बताया कि सरकार की तानाशाही के चलते हम लोगों को यह पीपीई किट पहनना पड़ा है. जब प्रदेश में कोरोना का संक्रमण था, उस समय हमने पीपीई किट पहनकर जनता की सेवा की थी, अब हमने प्रयोगशाला सहायक भर्ती की चयन सूची जारी करने के लिए पीपीई किट पहना है.

पढे़ं- OMG! PWD के एक्सईएन ने आय से 334 प्रतिशत ज्यादा संपत्ति बनाई...क्रशर, माइनिंग और शिक्षण संस्थानों में लगाई 'काली कमाई'

कार्मिक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अरुण कुमार शर्मा का कहना है कि सरकार तो वोट से अपनी भूख मिटा लेती है लेकिन हमें नियमित रोजगार की भूख है और उसको पूरा करने की ही हम मांग कर रहे हैं. सरकार 15 दिन से अभ्यर्थियों की सुध नहीं ले रही है. आज हम अपनी भूख और अपने हक के लिए यह पीपीई किट पहना है.

अभ्यर्थियों का कहना है कि प्रदेश के कई जिलों में डेंगू का प्रकोप फैल रहा है और हमें मजबूरी में यहां प्रदर्शन करना पड़ रहा है. मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना के कर्मचारियों ने मुख्यमंत्री का कद प्रदेश में बढ़ाया है.

अभ्यर्थियों की मांग है कि सीएम चयन सूची जारी कर नियुक्ति के आदेश दें और उन्हें दिवाली पर तोहफा दें. अभ्यर्थियों ने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि सरकार नियुक्ति के आदेश नहीं देती है तो अभ्यर्थी परिवार के साथ बैठकर दिवाली भी शहीद स्मारक में ही मनाएंगे.

जयपुर. राजधानी के शहीद स्मारक में बुधवार को स्वास्थ्य विभाग में तैनात संविदा कर्मियों ने अनूठा विरोध प्रदर्शन किया. मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना कार्मिक संघ के बैनर तले संविदा कर्मचारियों ने चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग में प्रयोगशाला सहायक सीधी भर्ती 2018 की चयन सूची जारी करने की मांग की. उन्होंने पीपीई किट पहनकर सरकार के खिलाफ विरोध जताया.


चिकित्सा विभाग में प्रयोगशाला सहायक भर्ती के लिए 2018 में 1534 पदों पर विज्ञप्ति जारी की थी. भर्ती के 2 साल बीत चुके हैं. विभाग ने ओर से अभ्यर्थियों के दस्तावेज सत्यापन भी कर लिए हैं. अभ्यर्थी अनुभव प्रमाण पत्र का फिर प्रमाणीकरण करवा चुके हैं. इसके बावजूद भी चयन सूची जारी नहीं हो पा रही है.

प्रयोगशाला सहायक भर्ती-2018 की चयन सूची जारी करने की मांग

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चिकित्सा विभाग की ओर से मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना के अंतर्गत लैब असिस्टेंट के 2348 पदों पर स्वीकृति दी गई थी. बाकी बचे हुए प्रयोगशाला सहायक पदों पर साल 2018 में प्रयोगशाला सहायक भर्ती का विज्ञापन प्रकाशित किया गया था. भर्ती के लिए ऐसे व्यक्ति भी पात्र माने गए थे, जो सेकेंडरी या उसके समकक्ष और राजस्थान सरकार से मान्यता प्राप्त किसी संस्था में चिकित्सालय प्रयोगशाला प्रौद्योगिकी में कोई डिप्लोमा और राज्य सरकार के अस्पतालों में प्रयोगशाला सहायक के रूप में संविदा के माध्यम से या सेवा प्रदाता एजेंसी के माध्यम से कार्य करने की न्यूनतम 3 वर्ष का अनुभव रखता हो. यह मापदंड निर्धारित करके ही अधिसूचना जारी की गई थी. इसके बाद भी चयन सूची जारी नहीं हो पा रही है.

कार्मिक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अरुण कुमार शर्मा ने बताया कि सरकार की तानाशाही के चलते हम लोगों को यह पीपीई किट पहनना पड़ा है. जब प्रदेश में कोरोना का संक्रमण था, उस समय हमने पीपीई किट पहनकर जनता की सेवा की थी, अब हमने प्रयोगशाला सहायक भर्ती की चयन सूची जारी करने के लिए पीपीई किट पहना है.

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कार्मिक संघ के प्रदेश अध्यक्ष अरुण कुमार शर्मा का कहना है कि सरकार तो वोट से अपनी भूख मिटा लेती है लेकिन हमें नियमित रोजगार की भूख है और उसको पूरा करने की ही हम मांग कर रहे हैं. सरकार 15 दिन से अभ्यर्थियों की सुध नहीं ले रही है. आज हम अपनी भूख और अपने हक के लिए यह पीपीई किट पहना है.

अभ्यर्थियों का कहना है कि प्रदेश के कई जिलों में डेंगू का प्रकोप फैल रहा है और हमें मजबूरी में यहां प्रदर्शन करना पड़ रहा है. मुख्यमंत्री निशुल्क जांच योजना के कर्मचारियों ने मुख्यमंत्री का कद प्रदेश में बढ़ाया है.

अभ्यर्थियों की मांग है कि सीएम चयन सूची जारी कर नियुक्ति के आदेश दें और उन्हें दिवाली पर तोहफा दें. अभ्यर्थियों ने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि सरकार नियुक्ति के आदेश नहीं देती है तो अभ्यर्थी परिवार के साथ बैठकर दिवाली भी शहीद स्मारक में ही मनाएंगे.

Last Updated : Oct 28, 2021, 5:05 PM IST
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