जयपुर. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि स्वतंत्रता की 75वीं वर्षगांठ (75 years of Independence) के उपलक्ष्य में आयोजित किया जा रहा आजादी का अमृत महोत्सव नई पीढ़ी को स्वतंत्रता संग्राम के गौरवशाली इतिहास से अवगत कराने का स्वर्णिम अवसर है. इसके माध्यम से युवा पीढ़ी को हमारे ज्ञात-अज्ञात सेनानियों और महान नेताओं के योगदान को जानने का अवसर मिलेगा और इससे मिलने वाले संस्कार और प्रेरणा उन्हें नया इतिहास लिखने के लिए प्रेरित करेंगे.
सीएम गहलोत बुधवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में आजादी के अमृत महोत्सव के आयोजनों के लिए गठित राष्ट्रीय समिति की दूसरी बैठक शामिल हुए. वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से आयोजित इस बैठक में उन्होंने कहा कि राज्य सरकार इस आयोजन को ऐतिहासिक बनाने के उद्देश्य से केन्द्र सरकार के संस्कृति मंत्रालय के साथ पूर्ण समन्वय रखते हुए अधिकाधिक जन भागीदारी सुनिश्चित कर रही है.
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मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने प्रदेश में अहिंसा और शांति निदेशालय की स्थापना की है. आने वाले समय में इसे विभाग का रूप देने का प्रयास किया जाएगा. गहलोत ने बताया कि प्रदेश में खादी को बढ़ावा देने के लिए खादी वस्त्रों पर 50 प्रतिशत की छूट दी गई है. युवा पीढ़ी और आमजन को गांधी दर्शन से अवगत कराने के लिए गांधी म्यूजियम बनाया जा रहा है. अमृत महोत्सव के तहत दांडी मार्च का सफल आयोजन किया गया है.
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मुख्यमंत्री ने कहा कि इस पावन अवसर को स्थायी रूप से यादगार बनाने के लिए जरूरतमंद वर्गों की सामाजिक सुरक्षा बढ़ाने की दिशा में पहल की जा सकती है. विकसित राष्ट्रों में सामाजिक सुरक्षा पर विशेष फोकस किया जा रहा है. हमारे देश में भी इस क्षेत्र में काम होना चाहिए. उन्होंने कहा कि राजस्थान में कोरोना काल में सामाजिक सुरक्षा को लेकर मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा जैसी महत्वाकांक्षी योजना लागू की गई है.
गहलोत ने कहा कि राजनीति से परे स्वस्थ भावना के साथ इन कार्यक्रमों का आयोजन युवा पीढ़ी के लिए प्रेरणादायी होगा. बैठक में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, गृह मंत्री अमित शाह, संस्कृति राज्य मंत्री कृष्ण रेड्डी सहित आजादी के अमृत महोत्सव के आयोजनों के लिए गठित राष्ट्रीय समिति के अन्य सदस्य उपस्थित थे.