अजमेर. अजमेर दरगाह प्रमुख जैनुअल आबेदीन ने नागरिकता संशोधन एक्ट पर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने गुरुवार को मीडिया से बातचीत करते हुए बताया कि नागरिकता संशोधन कानून किसी भी तरह से देश के मुसलमानों के विरुद्ध नहीं है. इस कानून से भारत में रहने वाले किसी भी मुसलमान को डरने की जरूरत नहीं है.
दरगाह प्रमुख जैनुअल आबेदीन ने कहा कि इस कानून से मुस्लमानों की नागरिकता को किसी भी प्रकार का कोई खतरा नहीं है. इसके साथ ही दरगाह प्रमुख ने यह भी साफ कर दिया कि देश में इस कानून को लेकर मुस्लिमों में फैलाए जा रहे डर और भ्रम को दूर करने की आवश्यकता है. जिसके लिए उन्होंने देश के मुसलमानों की भावनाओं का सम्मान करते हुए भारत सरकार से एक हाई पावर कमेटी की गठन करने की भी मांग की है.
दरगाह प्रमुख के मुताबिक यह कमेटी प्रदेश में भ्रमण कर लोगों को मिलकर उनकी बात सुने. इस बिल के बारे में कमेटी उनके डर और उनकी शिकायत को सुनकर एक तथ्यात्मक रिपोर्ट सरकार को दें. सरकार इस रिपोर्ट को संसद में रखे.
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लोगों के डर और शिकायत को दूर करके ही कानून को लागू किया जाए. उन्होंने कहा कि दया, मदद और रहम धर्म के आधार पर दिया जाए तो दुनिया विनाश की ओर जाएगी. साथ ही दरगाह प्रमुख आबेदीन ने जामिया मिलिया मामले में सरकार से अपील की है कि किसी भी शिक्षण संस्थान में कोई पुलिस बल इस्तेमाल न किया जाए. वे छात्र हैं, उनके साथ अपराधियों और आतंकवादियों के जैसा व्यवहार न किया जाए. उन्होंने छात्रों से भी अपील की जो भी बात है, कानून के दायरे में रहकर की जाए.
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इसके साथ ही उन्होंने मोदी सरकार से भी कहा कि सरकार को कानून बनाने का पूरा-पूरा अधिकार है. देश की प्रजा को उसका सम्मान भी करना चाहिए लेकिन सरकार की भी यह जिम्मेदारी बनती है कि जन भावनाओं का सम्मान करें. ऐसा कोई कानून ना लाया जाए, जिससे जन भावनाएं आहत हो देश की एकता और सामाजिक भाईचारा कायम रहे.