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MSME प्रोत्साहन योजना की नई शर्ते लागू, प्राइवेट सेक्टर में लागू होगा आरक्षण

प्रदेश में रोजगार बढ़ाने के लिए सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत प्रदेश सरकार ने निवेशकों को आमंत्रित किया है. हालांकि सरकार द्वारा जारी एमएसएमई की नई नीति में कुछ शर्ते भी रखी है.

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Published : Oct 26, 2019, 7:38 PM IST

Updated : Oct 26, 2019, 7:52 PM IST

MSME प्रोत्साहन योजना की नई शर्ते लागू

भोपाल। प्रदेश सरकार ने सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग प्रोत्साहन योजना (MSME) को लेकर नई नीति जारी कर दी है, इस नीति में नई शर्तें भी जोड़ी गई हैं. बता दें मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश में उद्योग लगाने के लिए निवेशकों को आमंत्रित किया है, लेकिन शर्त रखी है कि कुल रोजगार का 70% प्रदेश के स्थाई निवासियों को नौकरी देना होगा.

MSME प्रोत्साहन योजना की नई शर्ते लागू


एमएसएमई योजना की नई नीति में सरकार ने आरक्षण सिस्टम लागू किया गया है. नई योजनाओं के तहत नगर निगम की सीमा में केवल राज्य शासन या उसके उपक्रम द्वारा औद्योगिक प्रयोजन के लिए आवंटित शासकीय भूमि और मास्टर प्लान में उद्योगों के लिए भूमि आरक्षित की जाती है, तभी इकाई को योजना अनुदान की पात्रता होगी. सरकार ने सुविधा दी है कि निजी भूमि और अविकसित सरकारी जमीन पर उद्योग लगाने पर शासन अधोसंरचना विकास में 50 प्रतिशत राशि खर्च करेगा.


सरकार ने यह भी तय किया है कि महिला अनुसूचित जाति-जनजाति उद्यमियों को हर साल 2.5 प्रतिशत चार वर्षों के लिए अतिरिक्त उद्योग विकास अनुदान दिया जाएगा. वहीं शर्त रखी गई है कि रेडीमेड गारमेंट्स समेत अन्य वस्तुओं के निर्माण करने वाले उद्योग प्रदेश के स्थाई नियमित कर्मचारी के नाम वेतन आदि की जानकारी हर महीने जिला व्यापार और उद्योग केंद्र को उपलब्ध कराएंगे.

भोपाल। प्रदेश सरकार ने सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग प्रोत्साहन योजना (MSME) को लेकर नई नीति जारी कर दी है, इस नीति में नई शर्तें भी जोड़ी गई हैं. बता दें मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश में उद्योग लगाने के लिए निवेशकों को आमंत्रित किया है, लेकिन शर्त रखी है कि कुल रोजगार का 70% प्रदेश के स्थाई निवासियों को नौकरी देना होगा.

MSME प्रोत्साहन योजना की नई शर्ते लागू


एमएसएमई योजना की नई नीति में सरकार ने आरक्षण सिस्टम लागू किया गया है. नई योजनाओं के तहत नगर निगम की सीमा में केवल राज्य शासन या उसके उपक्रम द्वारा औद्योगिक प्रयोजन के लिए आवंटित शासकीय भूमि और मास्टर प्लान में उद्योगों के लिए भूमि आरक्षित की जाती है, तभी इकाई को योजना अनुदान की पात्रता होगी. सरकार ने सुविधा दी है कि निजी भूमि और अविकसित सरकारी जमीन पर उद्योग लगाने पर शासन अधोसंरचना विकास में 50 प्रतिशत राशि खर्च करेगा.


सरकार ने यह भी तय किया है कि महिला अनुसूचित जाति-जनजाति उद्यमियों को हर साल 2.5 प्रतिशत चार वर्षों के लिए अतिरिक्त उद्योग विकास अनुदान दिया जाएगा. वहीं शर्त रखी गई है कि रेडीमेड गारमेंट्स समेत अन्य वस्तुओं के निर्माण करने वाले उद्योग प्रदेश के स्थाई नियमित कर्मचारी के नाम वेतन आदि की जानकारी हर महीने जिला व्यापार और उद्योग केंद्र को उपलब्ध कराएंगे.

Intro:भोपाल- मध्यप्रदेश में सूक्ष्म लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग प्रोत्साहन योजना 2019 जारी कर दी गई है इसमें नई शर्तें भी जोड़ी गई है साथ ही प्राइवेट सेक्टर में आरक्षण भी लागू होगा मुख्यमंत्री कमलनाथ ने प्रदेश में उद्योग लगाने के लिए निवेशकों को आमंत्रित किया है लेकिन शर्तें भी रखी है कि कुल रोजगार का 70% मध्य प्रदेश के स्थाई निवासियों को नौकरी देना होगा इसके लिए मध्य प्रदेश एमएसएमई प्रोत्साहन योजना 2019 जारी कर दी गई है।


Body:एम एस एम ई योजना में आरक्षण सिस्टम लागू किया गया है नई योजनाओं के तहत नगर निगम की सीमा में केवल राज्य शासन या उसके उपक्रम द्वारा औद्योगिक प्रयोजन के लिए आवंटित शासकीय भूमि और मास्टर प्लान में उद्योगों के लिए भूमि आरक्षित की जाती है तभी इकाई को योजना अनुदान की पात्रता होगी लेकिन सरकार ने सुविधा दी है कि निजी भूमि या अविकसित सरकारी जमीन पर उद्योग लगाने पर शासन अधोसंरचना विकास में 50 प्रतिशत राशि खर्च करेगा। सरकार ने यह भी तय किया है कि महिला अनुसूचित जाति जनजाति उद्यमियों को हर साल 2.5 प्रतिशत 4 वर्षों के लिए अतिरिक्त उद्योग विकास अनुदान दिया जाएगा वहीं शर्त रखी गई है कि रेडीमेड गारमेंट्स समेत अन्य वस्तुओं के निर्माण करने वाले उद्योग मध्य प्रदेश के स्थाई नियमित कर्मचारी के नाम वेतन आदि की जानकारी हर महीने जिला व्यापार और उद्योग केंद्र को उपलब्ध कराएंगे।


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Last Updated : Oct 26, 2019, 7:52 PM IST
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