भोपाल। राजधानी में कोरोना संक्रमण की वजह से लगातार कई मरीजों की मौत हो चुकी है. जिसे लेकर संभागायुक्त ने हमीदिया अस्पताल में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की, बैठक के दौरान उन्होंने निर्देश दिए हैं कि कोविड-19 डेथ ऑडिट रिपोर्ट के आधार पर जिम्मेदार व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई की जाए. यदि कही पर भी लापरवाही बरती गई तो निश्चित रूप से संबंधित व्यक्ति पर कार्रवाई की जाएगी.
समीक्षा बैठक में उपायुक्त अनिल कुमार द्विवेदी, उपायुक्त संजू कुमारी, डीन गांधी मेडिकल कॉलेज डॉ. अरुणा कुमार, अधीक्षक हमीदिया अस्पताल डॉ. अरुण कुमार श्रीवास्तव, डॉ. लोकेंद्र दवे, डॉ. शैलेन्द्र पटने आदि उपस्थित थे. समीक्षा बैठक के दौरान संभागायुक्त कविंद्र कियावत ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि कोविड-19 से संक्रमित हर एक व्यक्ति की डैथ रिपोर्ट का ऑडिट करें और लापरवाही करने वाले जिम्मेदार व्यक्ति या अस्पताल के खिलाफ कार्रवाई की जाए.
साथ ही भोपाल में कोविड-19 संक्रमण की आगामी परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए चिकित्सीय स्टाफ, पैरामेडिकल स्टाफ और मेडिकल उपकरणों की कमी को जल्द पूरा किया जाए, किसी भी प्रकार की कोई लापरवाही ना की जाए. वहीं उन्होंने कहा कि हमीदिया अस्पताल में कोविड- 19 के उपचार में बुनियादी व्यवस्थाओं और चिकित्सीय संसाधनों की पूर्ति हर हाल में पूरी होनी चाहिए, जिसके लिए पहले से बेहतर इंतजाम किए जाएं.
संभागायुक्त ने बैठक के दौरान कहा कि भोपाल में कोविड-19 संक्रमण की आगामी परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए, इस लॉकडाउन का भरपूर उपयोग करना है. कोविड-19 उपचार के लिए आवश्यक बुनियादी व्यवस्थाओं और चिकित्सीय संसाधनों की पूर्ति तत्काल रूप से करें. शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में आवश्यक मानव संसाधन चिकित्सा अधिकारी, एक्स-रे टेक्नीशियन,आईसीयू टेक्नीशियन और ईसीजी टेक्नीशियन आदि की पूर्ति के लिए विज्ञापन जारी करें.
टीबी अस्पताल में नवनिर्मित कोविड केयर सेंटर में आवश्यक सफाई कर्मी, सुरक्षाकर्मी, नर्स आदि की ड्यूटी लगाएं. कोविड 19 व्यक्तियों के उपचार और जांच के लिए चिकित्सीय उपकरण जैसे मोबाइल डिजिटल एक्सरे,पल्स ऑक्सीमीटर, ईसीजी मशीन, एक्स-रे मशीन, ऑक्सीजन सिलेंडर और बिस्तर आदि की कमी पर अभी से ध्यान दें और पूर्ति के लिए कार्रवाई करें .
बैठक के दौरान संभागायुक्त ने निर्देश दिए हैं कि हमीदिया अस्पताल में स्थापित प्लाज्मा बैंक में प्लाज्मा के उपयोग करने के लिए कमेटी का गठन किया जाए. संक्रमण की दशाएं और उपचार व्यक्ति की अनुकूलता को ध्यान में रखकर प्लाज्मा संग्रह करें . एंटीबॉडी टेस्ट किट की उपलब्धता के लिए टेंडर जारी करें और प्लाज्मा संग्रहण के दौरान आईसीएमआर और भारत शासन के सभी मानकों का पालन करें .