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मरने के बाद भी 4 लोगों को दे गई जिंदगी, दिल्ली के sir ganga ram hospital में हुआ organ transplant

सर गंगाराम अस्पताल (sir ganga ram hospital) में एक 43 वर्षीय महिला ने मरने के बाद 4 लोगों की जान बचाई. ब्रेन हेमरेज (brain hemorrhage) से मौत होने के बाद महिला के परिवार वालों ने अंग विफलता वाले कई व्यक्तियों को अंगदान करने का फैसला लिया गया.

sir ganga ram hospital
सर गंगाराम अस्पताल
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Published : May 29, 2021, 10:56 AM IST

नई दिल्ली/भोपाल। वैश्विक महामारी कोविड (covid pandemic) के चलते रोजाना हजारों लोगों की मौत हो रही है. वहीं इस बीच दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल (sir ganga ram hospital) से मानवता को जीवित रखने की एक ऐसी घटना सामने आई है. जहां एक 43 वर्षीय महिला ने मरने के बाद 4 लोगों की जान बचाई. एक हफ्ते पहले 20 मई को तेज सिर दर्द और उल्टी की समस्या को लेकर महिला को अस्पताल में भर्ती किया गया था.

सर गंगाराम अस्पताल

ब्रेन हेमरेज के चलते 43 वर्षीय महिला की हो गई थी मृत्यु

मामले के अनुसार महिला को अस्पताल लाने के दौरान उसकी हालत बेहद खराब थी जिसके बाद जांच में पता लगा कि उन्हें ब्रेन हेमरेज (brain hemorrhage) हुआ और ब्रेन डेड हो जाने के चलते उसकी मौत हो गई हालांकि महिला कोरोना संक्रमित नहीं थी.

अस्पताल में डिपार्टमेंट ऑफ सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी एंड लिवर ट्रांसप्लांट के को-चेयरमैन डॉक्टर नैमिश एन मेहता ने बताया कि परिवार महिला की यादों को जीवित रखने के लिए उत्सुक था, परिवार चाहता था कि महिला मृत्यु के बाद भी उसके अंगों के जरिए जीवित रहे, इसके लिए परिवार से परामर्श कर अंग विफलता वाले कई व्यक्तियों को अंगदान करने का फैसला लिया गया.

ये भी पढ़ें: केजरीवाल पर तिरंगे के अपमान का आरोप, केंद्रीय मंत्री ने CM-LG को लिखा पत्र

देशभर में सैकड़ों लोग कर रहे हैं अंगों की प्रतीक्षा

डॉ. मेहता ने बताया कि वैश्विक महामारी (covid pandemic) के चलते अंगदान (organ donation) करने वाले लोगों की संख्या में कमी आई है ऐसे कई जरूरतमंद लोग हैं जो अंगों के लिए प्रतीक्षा सूची में है, उन्होंने बताया सर गंगा राम अस्पताल (sir ganga ram hospital) में मौजूदा समय में 179 मरीज कैडवरी लीवर और 484 मरीज कैडवर किडनी प्रत्यारोपण के इंतजार में हैं.

वहीं अगर देश भर की बात करें तो अंगदान प्रति मिलियन जनसंख्या पर 0.65 से 1 के बीच है जबकि स्पेन में यह 35 पीएमटी आर यूएसए में 26 पीएमपी तक है.

MP UNLOCK: 1 जून से मिलेगी राहत, स्कूल-कॉलेज खोलने का फैसला मंत्री समूह के जिम्मे

मृतक महिला के 4 अंगों को किया गया ट्रांसप्लांट

महिला के परिवार से परामर्श के बाद डॉक्टर मेहता के नेतृत्व में डॉक्टरों की टीम ने अंगों को निकाला, जिसके बाद डॉ मेहता के नेतृत्व में डॉक्टरों की एक टीम ने मृतक महिला के लीवर को एक 58 वर्षीय व्यक्ति के शरीर में ट्रांसप्लांट किया जो पिछले करीब 3 सालों से ट्रांसप्लांट का इंतजार कर रहे थे, इसके बाद मृतक महिला के अन्य अंग जिसमें दो गुर्दे और हृदय को भी ट्रांसप्लांट किया गया, अस्पताल में ही एक किडनी ट्रांसप्लांट की गई है. और बाकी अंगों को दिल्ली एनसीआर के अन्य अस्पतालों में भेज दिया गया है.

ये भी पढ़ें: Delhi Lockdown Update: 1 जून से दिल्ली होगी अनलॉक, जानिए कैसे हटेगा लॉकडाउन

अस्पताल की ओर से अंग दान को लेकर जताई जा रही है जागरूकता

सर गंगा राम अस्पताल के चेयरमैन डॉ. डीएस राणा ने बताया की अस्पताल की ओर से अंगदान के लिए जागरूक कार्यक्रम चलाए जाते हैं, इसके लिए एक अलग से पोर्टल भी बनाया गया है. साथ ही उन्होंने बताया कि इस महामारी के समय में भी उचित परिश्रम और सख्त संक्रमण नियंत्रण के साथ अलग-अलग गैर कोविड विंग में अस्पताल की ओर से प्रत्यारोपण जैसी जीवन रक्षक सर्जरी की जा रही है.

इसके साथ ही अस्पताल की ओर से मृतक महिला के परिवार की इमानदारी और इस निष्ठा के लिए उनका आभार व्यक्त किया गया है क्योंकि महिला की मृत्यु के बाद भी चार लोगों को नया जीवन दान मिला है.

नई दिल्ली/भोपाल। वैश्विक महामारी कोविड (covid pandemic) के चलते रोजाना हजारों लोगों की मौत हो रही है. वहीं इस बीच दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल (sir ganga ram hospital) से मानवता को जीवित रखने की एक ऐसी घटना सामने आई है. जहां एक 43 वर्षीय महिला ने मरने के बाद 4 लोगों की जान बचाई. एक हफ्ते पहले 20 मई को तेज सिर दर्द और उल्टी की समस्या को लेकर महिला को अस्पताल में भर्ती किया गया था.

सर गंगाराम अस्पताल

ब्रेन हेमरेज के चलते 43 वर्षीय महिला की हो गई थी मृत्यु

मामले के अनुसार महिला को अस्पताल लाने के दौरान उसकी हालत बेहद खराब थी जिसके बाद जांच में पता लगा कि उन्हें ब्रेन हेमरेज (brain hemorrhage) हुआ और ब्रेन डेड हो जाने के चलते उसकी मौत हो गई हालांकि महिला कोरोना संक्रमित नहीं थी.

अस्पताल में डिपार्टमेंट ऑफ सर्जिकल गैस्ट्रोएंटरोलॉजी एंड लिवर ट्रांसप्लांट के को-चेयरमैन डॉक्टर नैमिश एन मेहता ने बताया कि परिवार महिला की यादों को जीवित रखने के लिए उत्सुक था, परिवार चाहता था कि महिला मृत्यु के बाद भी उसके अंगों के जरिए जीवित रहे, इसके लिए परिवार से परामर्श कर अंग विफलता वाले कई व्यक्तियों को अंगदान करने का फैसला लिया गया.

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देशभर में सैकड़ों लोग कर रहे हैं अंगों की प्रतीक्षा

डॉ. मेहता ने बताया कि वैश्विक महामारी (covid pandemic) के चलते अंगदान (organ donation) करने वाले लोगों की संख्या में कमी आई है ऐसे कई जरूरतमंद लोग हैं जो अंगों के लिए प्रतीक्षा सूची में है, उन्होंने बताया सर गंगा राम अस्पताल (sir ganga ram hospital) में मौजूदा समय में 179 मरीज कैडवरी लीवर और 484 मरीज कैडवर किडनी प्रत्यारोपण के इंतजार में हैं.

वहीं अगर देश भर की बात करें तो अंगदान प्रति मिलियन जनसंख्या पर 0.65 से 1 के बीच है जबकि स्पेन में यह 35 पीएमटी आर यूएसए में 26 पीएमपी तक है.

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मृतक महिला के 4 अंगों को किया गया ट्रांसप्लांट

महिला के परिवार से परामर्श के बाद डॉक्टर मेहता के नेतृत्व में डॉक्टरों की टीम ने अंगों को निकाला, जिसके बाद डॉ मेहता के नेतृत्व में डॉक्टरों की एक टीम ने मृतक महिला के लीवर को एक 58 वर्षीय व्यक्ति के शरीर में ट्रांसप्लांट किया जो पिछले करीब 3 सालों से ट्रांसप्लांट का इंतजार कर रहे थे, इसके बाद मृतक महिला के अन्य अंग जिसमें दो गुर्दे और हृदय को भी ट्रांसप्लांट किया गया, अस्पताल में ही एक किडनी ट्रांसप्लांट की गई है. और बाकी अंगों को दिल्ली एनसीआर के अन्य अस्पतालों में भेज दिया गया है.

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अस्पताल की ओर से अंग दान को लेकर जताई जा रही है जागरूकता

सर गंगा राम अस्पताल के चेयरमैन डॉ. डीएस राणा ने बताया की अस्पताल की ओर से अंगदान के लिए जागरूक कार्यक्रम चलाए जाते हैं, इसके लिए एक अलग से पोर्टल भी बनाया गया है. साथ ही उन्होंने बताया कि इस महामारी के समय में भी उचित परिश्रम और सख्त संक्रमण नियंत्रण के साथ अलग-अलग गैर कोविड विंग में अस्पताल की ओर से प्रत्यारोपण जैसी जीवन रक्षक सर्जरी की जा रही है.

इसके साथ ही अस्पताल की ओर से मृतक महिला के परिवार की इमानदारी और इस निष्ठा के लिए उनका आभार व्यक्त किया गया है क्योंकि महिला की मृत्यु के बाद भी चार लोगों को नया जीवन दान मिला है.

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