सोलन: माल ढुलान विवाद को लेकर सरकार द्वारा अधिसूचना जारी करने में की जा रही देर के कारण दाड़लाघाट की आठ सभाओं की ट्रक सोसायटियों ने चेतावनी देते हुए कहा है कि अगर मंगलवार सुबह दस बजे तक सरकार हमारे पक्ष या खिलाफ में अधिसूचना जारी नहीं करती है तो दाड़लाघाट की आठ सभाओं के ट्रक ऑपरेटर्स द्वारा मंगलवार को चक्का जाम, महापंचायत और मशाल जुलूस निकाला जाएगा.
इसके अलावा दाड़लाघाट के ट्रक ऑपरेटरों की कोर कमेटी की एक आपातकाल बैठक बरमाणा परिवहन सभा व प्रदेश के अन्य जिलों के ऑपरेटर्स के साथ ब्रमपुखर में होगी. इस बैठक में ट्रक ऑपरेटर्स आगामी रूप रेखा तय करने पर सामूहिक फैसला लेंगे. बैठक में समस्त पदाधिकारियों द्वारा जो फैसला होगा, उसे मंगलवार को होने वाले प्रदर्शन में सभी के समक्ष सांझा किया जाएगा.
इसके साथ ही सोमवार को दाड़लाघाट में ट्रक ऑपरेटरों द्वारा 34वें दिन भी आक्रोश रैली निकाली गई. इस दौरान करीब 2 घंटे तक राष्ट्रीय उच्च मार्ग 205 में अंबुजा के मुख्य द्वार से होते हुए बस स्टैंड दाड़ला, आईटीआई दाड़ला, स्यार से होते हुए अंबुजा चौक तक ऑपरेटरों ने नारेबाजी की और रैली निकाली. भीड़ इतनी अधिक थी कि पुलिस के मुस्तैद होने के बावजूद भी काफी समय तक सड़क पर जाम लगा रहा. पुलिस की काफी मशक्कत के बाद भी जाम नहीं खुल सका.
इसके पश्चात अंबुजा चौक में करीब 2 घंटे तक प्रदर्शन करते हुए ट्रक ऑपरेटरों ने अपना गुस्सा सरकार के प्रति निकाला. ऑपरेटरों ने रोष जताते हुए कहा कि इतने दिन हो जाने के बाद भी सरकार ने कोई अधिसूचना जारी नहीं की है, जिससे अब ऑपरेटर्स के सब्र का बांध टूटता जा रहा है और अब शांतिप्रिय ढंग से चल रहे आंदोलन को उग्र आंदोलन में तब्दील करने के लिए उन्हें बाध्य होना पड़ा रहा है. बेहतर है कि सरकार मंगलवार सुबह अधिसूचना जारी कर ट्रक ऑपरेटरों के पक्ष में सकारात्मक परिणाम निकाले.
बाघल लैण्डलूजर के पूर्व प्रधान राम कृष्ण शर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार मंगलवार सुबह दस बजे तक अधिसूचना जारी करे. उन्होंने कहा कि अधिसूचना जारी कर फैसला ट्रक ऑपरेटर्स के पक्ष में या खिलाफ लें, ताकि अधिसूचना जारी होने के बाद दोस्त या दुश्मन का फैसला हो सके. उन्होंने कहा कि इसके अलावा दाड़लाघाट, बरमाणा सहित प्रदेश के अन्य जिलों के ऑपरेटर्स की एक बैठक ब्रमपुखर में होगी, जिसमें अगली रूप रेखा तैयार की जाएगी,.
उन्होंने कहा कि देहरा के विधायक होशियार सिंह द्वारा ट्रांसपोर्टर्स को लेकर दिए गए बयान को किसी भी सूरत में सहन नही किया जाएगा. उन्होंने प्रदेश के सीमेंट कारखानों के ऑडिट को लेकर भी मांग करते हुए कहा कि जिस तरह से परिवहन सभाओं का ऑडिट होता है, उसी तर्ज पर सीमेंट कारखानों का ऑडिट भी करवाया जाए.
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