शिमला: भाजपा के विधायक और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार ने अंतरराष्ट्रीय होली समारोह सुजानपुर के मौके पर विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया की उपस्थिति को लेकर सवाल खड़े किए हैं और उन्हें निष्पक्ष भूमिका निभाने की सलाह दी है. पूर्व विधानसभा अध्यक्ष परमार ने कहा कि समारोह के जाने से हमें आपत्ति नहीं, पर जिस प्रकार से उन्होंने वहां अपना वक्तव्य रखा वो एक विधानसभा अध्यक्ष पद की गरिमा में नहीं है. जिस प्रकार से उन्होंने बातचीत करते हुए एक कांग्रेस के प्रवक्ता की भूमिका निभाई उससे विधानसभा अध्यक्ष के आसन की धज्जियां उड़ गईं.
पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष को पता होना चाहिए कि यह पद एक राजनीतिक व्यवस्था नहीं है, लेकिन एक संवैधानिक व्यवस्था है. जिस प्रकार से उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के ऊपर टिप्पणी की गई वह पूर्ण रूप से दिखाती है कि वह एक राजनीतिक प्रवक्ता की भाषा का इस्तेमाल कर रहे हैं. ऐसा नहीं होना चाहिए और इस प्रकार की भाषा दुर्भाग्यपूर्ण है. परमार ने कहा कि एक विधानसभा अध्यक्ष का काम पूरे सदन को साथ चलाना होता है ना कि केवल सत्ता का पक्ष रखना. सत्ता पक्ष के साथ-साथ Opposition के सहयोग को लेते हुए उनको पूरा सदन चलाना होता है.
परमार ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष ने जिस प्रकार से मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के बारे में कहा कि पिछले 2 महीने में उन्होंने प्रदेश में अनेकों नई योजनाएं चला दी हैं और BJP के 10 MLA कांग्रेस के संपर्क में हैं यह विधानसभा अध्यक्ष के संवैधानिक पद को ठेस पहुंचाता है. उन्होंने अपने वाक्य में BJP पर आरोप भी लगाए और छींटाकशी भी की. पूर्व विधानसभा अध्यक्ष विपिन सिंह परमार ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में BJP को विधानसभा चुनावों में जोरदार समर्थन प्राप्त हुआ है और अगर Vote Percentage की तुलना की जाए तो कांग्रेस केवल 0.9% वोटों से जीती है.
परमार ने कहा कि कुलदीप पठानिया अभी नए-नए विधानसभा के अध्यक्ष बने हैं और लगता है कि वह विधानसभा के नियमों से परिचित नहीं हैं. हिमाचल विधानसभा की परंपरा सराहनीय रही है. उन्होंने कहा कि हमारी विधानसभा उत्कृष्ट काम करने के लिए जानी गई है और हिमाचल प्रदेश की विकास यात्रा में विधानसभा अध्यक्ष की अहम भूमिका रहती है. उन्होंने कहा कि कुलदीप पठानिया विधानसभा अध्यक्ष के रूप में विधानसभा का संचालन ठीक से करें और अगर वह एक प्रवक्ता की भूमिका में रहना चाहते हैं तो हम विधानसभा अध्यक्ष का घेराव उनके Chamber के बाहर करेंगे, क्योंकि हम इस पद्धति के खिलाफ है.
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