शिमला: हिमाचल प्रदेश भाजपा ने कानून व्यवस्था, दस गारंटियों को लेकर राजधानी शिमला के चौड़ा मैदान में हल्ला बोला. प्रदेश भर से भाजपा के नेता और हजारों की संख्या में कार्यकर्ता इसमें हिस्सा लेने के लिए प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों से पहुंचे. चौड़ा मैदान में रैली का आयोजन किया गया. जहां भाजपा के नेता कांग्रेस सरकार पर जमकर हमला किया. बीजेपी नेताओं ने आरोप लगाया कि कांग्रेस सरकार ने झूठे वादे करके सत्ता हासिल की और अभी तक लोगों को झूठ बोला जा रहा है. जो कांग्रेस ने बोला था उसके विपरीत कर रही है. कांग्रेस ने लोगों को सब कुछ सस्ता देने का वादा किया था, लेकिन इसके विपरीत महंगाई बढ़ती जा रही है.
विधायक डॉ. जनकराज के सिर पर लगा पुलिस का डंडा: वहीं, रैली के बाद विधानसभा घेराव करने के लिए हजारों कार्यकर्ता निकले, लेकिन पुलिस द्वारा सिसिल होटल के समीप ही पुलिस ने बैरिकेडिंग लगा कर रोक दिया. इस दौरान भाजपा कार्यकर्ताओं ने बैरिकेडिंग तोड़ने की कोशिश की और पुलिस से धक्कामुकी भी हुई. पुलिस ने कार्यकर्ताओं को बैरिकेडिंग से आगे नहीं जाने दिया. इस दौरान भाजपा विधायक डॉ. जनकराज के सिर पर पुलिस का डंडा लगा है.
![Shimla BJP Protest](https://etvbharatimages.akamaized.net/etvbharat/prod-images/25-09-2023/19602965_one.jpg)
'सरकार का कोई विजन नहीं है': नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा चुनाव के समय झूठे वादों और गारंटियों से जनता को गुमराह करके सत्ता में आई कांग्रेस का असली चेहरा 9 महीनों में ही बेनकाब हो गया है. इस सरकार का न तो कोई विजन है और न ही कोई प्राथमिकता. सत्ता के मजे ले रही इस सरकार को जनता की पीड़ा का भी कोई एहसास या परवाह नहीं है. यहां तक कि प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए भी सरकार में कोई तालमेल नजर नहीं आया. मुख्यमंत्री, मंत्री और कांग्रेस नेता अलग-अलग राग अलापते रहे.
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा आपदा पीड़ितों की सही मायनों में मदद करने के बजाए कांग्रेस सरकार का फोकस इस बात पर रहा कि त्रासदी की वजह से राजनीतिक नुकसान से कैसे बचा जाए. कोई भी सरकार देश या प्रदेश को आगे बढ़ाने के लिए बनती है, लेकिन हिमाचल में कांग्रेस की सरकार इस पर्वतीय राज्य को पीछे धकेलने का काम कर रही है. आपदा से उभरने के लिए केंद्र से भरपूर मदद मिलने के बावजूद अहसान फरामोश सत्ता पक्ष केंद्र सरकार पर हिमाचल की अनदेखी के झूठे आरोप लगा रहा है.
'प्रदेश में अराजकता का माहौल': पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि 9 महीने पहले सत्ता में आई कांग्रेस ने एक भी फैसला जनहित में नहीं लिया. उसने कदम-कदम पर जनविरोधी फैसले लिए. भर्ती परीक्षाओं के रिजल्ट नहीं निकाले जा रहे हैं. कोरोना के समय नियुक्त किए गए लगभग 1800 कर्मचारियों को नौकरी से हटाने के नोटिस जारी हो चुके हैं. इसी तरह पीडब्ल्यूडी और आईपीएच समेत कई अन्य विभागों और संस्थानों से हजारों आउटसोर्स कर्मचारियों को घर भेज दिया गया. इसके चलते प्रदेश में अराजकता का माहौल है. सीमा शुल्क, टोल बैरियरों पर उठ रहे विवादों से प्रदेश के टैक्सी व ट्रक चालकों और औद्योगिक घरानों को आर्थिक नुकसान झेलना पड़ रहा है.
'कांग्रेस जल्द होगी सत्ता से दूर': भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि प्रदेश में कांग्रेस की सरकार बने अभी 10 माह का समय पूरा हुआ है और 10 माह के भीतर ही जनता के बीच सरकार के प्रति इतना रोष है. यह रोष शिमला में आए हजारों कार्यकर्ताओं के चेहरों से साफ झलक रहा है और इससे पता चलता है कि कांग्रेस की सरकार अब जल्द ही सत्ता से दूर होने वाली है. कांग्रेस ने सत्ता में आने से पहले कहा था कि जैसे ही वह सत्ता में आएंगे तो प्रदेश की 22 लाख बहनों को हर महीने 1500 रुपए की राशि जारी की जाएगी.
कांग्रेस सरकार के मुखिया मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू पर बरसते हुए प्रदेश अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल ने कहा कि वह जब लाहौल स्पीति के स्पीति घाटी दौरे पर गए थे. तो उसे दौरान उन्होंने स्पीति घाटी की हर महिला को 1500 रुपए देने की बात कही थी और उनके सभी विधायकों व मंत्रियों ने प्रदेश में यह शोर मचा दिया कि हमने अपनी गारंटी पूरी कर दी, लेकिन सच्चाई यह है कि प्रदेश के अन्य इलाकों में किसी भी महिला को यह राशि अभी तक नहीं मिल पाई है और कांग्रेस सरकार पर हर महिला का साढ़े 13 हजार रुपए का कर्ज भी चढ़ गया है. अब प्रदेश की महिलाएं भी कांग्रेस सरकार से मांग कर रही हैं कि 'साडा हक एथे रख' यह गारंटी उनकी कब पूरी होगी.