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गांव में स्वच्छ पेयजल पहुंचाने में हिमाचल देश भर में आगे, नीति आयोग ने किया ट्वीट

नीति आयोग की रिपोर्ट में सामने आया है कि गांव में पीने योग्य पानी पहुंचाने के मामले में हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी और गुजरात ने अच्छा काम किया है.

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Published : Aug 26, 2019, 11:26 AM IST

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शिमला: हिमाचल प्रदेश देश के अन्य राज्यों के लिए बेहतर जल प्रबंधन की मिसाल है. ये बात नीति आयोग ने कही है. नीति आयोग के अनुसार हिमाचल, उत्तराखंड, त्रिपुरा नॉर्थ इस्ट और हिमालयी राज्यों में जल प्रबंधन और स्वच्छ पेयजल उपलब्ध करवाने के मामले में शीर्ष पर है.

नीति आयोग ने कहा कि गांव में पीने योग्य पानी पहुंचाने के मामले में हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी और गुजरात ने अच्छा काम किया है. ग्राउंड वाटर को लेकर हिमाचल प्रदेश, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और मध्य प्रदेश ने बेहतर काम किया है. इसके अलावा शहरी जनता को स्वच्छ पानी मुहैया करवाने में हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात, गोवा और उत्तराखंड अव्वल रहे हैं. बिहार और असम में हालात खराब हैं.

नीति आयोग ने ट्वीट कर कहा कि वाटर मैनेजमेंट को लेकर जो इंडेक्स जारी हुआ है इससे सीख लेते हुए केंद्र और राज्य सरकारें और बेहतर तरीके से सामंजस्य बनाकर काम करेंगी. विश्व स्वास्थ्य संगठन के निर्देश पर हिमाचल ने ये पहल की है.

प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र में प्रति व्यक्ति 70 लीटर प्रतिदिन और शहरी क्षेत्र में 120 से 135 लीटर प्रति व्यक्ति प्रतिदिन की तर्ज पर पानी उपलब्ध करवाया जा रहा है. इस समय सिंचाई एवं जनस्वास्थ्य विभाग 9360 पेयजल योजनाओं के माध्यम से ग्रामीण और शहरी क्षेत्र में पानी की मांग पूरी कर रहा है.


ये भी पढ़ें - इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ एडवांस्ड स्टडीज भवन के प्राचीन इतिहास से रूबरू होंगे पर्यटक, प्रस्ताव तैयार

शिमला: हिमाचल प्रदेश देश के अन्य राज्यों के लिए बेहतर जल प्रबंधन की मिसाल है. ये बात नीति आयोग ने कही है. नीति आयोग के अनुसार हिमाचल, उत्तराखंड, त्रिपुरा नॉर्थ इस्ट और हिमालयी राज्यों में जल प्रबंधन और स्वच्छ पेयजल उपलब्ध करवाने के मामले में शीर्ष पर है.

नीति आयोग ने कहा कि गांव में पीने योग्य पानी पहुंचाने के मामले में हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी और गुजरात ने अच्छा काम किया है. ग्राउंड वाटर को लेकर हिमाचल प्रदेश, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और मध्य प्रदेश ने बेहतर काम किया है. इसके अलावा शहरी जनता को स्वच्छ पानी मुहैया करवाने में हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात, गोवा और उत्तराखंड अव्वल रहे हैं. बिहार और असम में हालात खराब हैं.

नीति आयोग ने ट्वीट कर कहा कि वाटर मैनेजमेंट को लेकर जो इंडेक्स जारी हुआ है इससे सीख लेते हुए केंद्र और राज्य सरकारें और बेहतर तरीके से सामंजस्य बनाकर काम करेंगी. विश्व स्वास्थ्य संगठन के निर्देश पर हिमाचल ने ये पहल की है.

प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र में प्रति व्यक्ति 70 लीटर प्रतिदिन और शहरी क्षेत्र में 120 से 135 लीटर प्रति व्यक्ति प्रतिदिन की तर्ज पर पानी उपलब्ध करवाया जा रहा है. इस समय सिंचाई एवं जनस्वास्थ्य विभाग 9360 पेयजल योजनाओं के माध्यम से ग्रामीण और शहरी क्षेत्र में पानी की मांग पूरी कर रहा है.


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Intro:Body:शिमला. हिमाचल प्रदेश देश के अन्य राज्यों के लिए बेहतर जल प्रबंधन की मिशाल है यह बात नीति आयोग ने कही है. नीति आयोग के अनसुरा हिमाचल, उत्तराखंड और त्रिपुरा नॉर्थ इस्ट और हिमालयी राज्यों में जल प्रबंधन और स्वच्छ पेयजल उपलब्ध करवाने में के मामले में शीर्ष पर हैं,

नीति आयोग ने कहा कि गांव में पीने योग्य पानी पहुंचाने के मामले में हिमाचल प्रदेश, पुडुचेरी और गुजरात ने अच्छा काम किया है। ग्राउंड वाटर को लेकर हिमाचल प्रदेश, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और मध्य प्रदेश ने बेहतर काम किया है। इसके अलावा शहरी जनता को स्वच्छ पानी मुहैया करवाने में हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश, गुजरात, गोवा और उत्तराखंड अव्वल रहे हैं। बिहार और असम में हालात खराब हैं। नीति आयोग ने ट्वीट कर कहा कि वाटर मैनेजमेंट को लेकर जो इंडेक्स जारी हुआ है इससे सीख लेते हुए केंद्र और राज्य सरकारें और बेहतर तरीके से सामंजस्य बनाकर काम करेंगी।

विश्व स्वास्थ्य संगठन के निर्देश पर हिमाचल ने यह पहल की है। प्रदेश के ग्रामीण क्षेत्र में प्रति व्यक्ति 70 लीटर प्रतिदिन और शहरी क्षेत्र में 120 से 135 लीटर प्रति व्यक्ति प्रतिदिन की तर्ज पर पानी उपलब्ध करवाया जा रहा है। इस समय सिंचाई एवं जनस्वास्थ्य विभाग 9360 पेयजल योजनाओं के माध्यम से ग्रामीण और शहरी क्षेत्र में पानी की मांग पूरी कर रहा है।Conclusion:
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