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Himachal Monsoon: प्रदेश में भारी बारिश से ₹5200 करोड़ का नुकसान, अब तक 154 मौत, 696 सड़कें अभी भी बंद

हिमाचल प्रदेश में मानसून का कहर जारी है. भारी बारिश की वजह से प्रदेश में अब तक ₹5200 करोड़ से ज्यादा का नुकसान हो चुका है. वहीं, 154 लोगों की जाने गई हैं. जबकि 696 सड़कें अभी भी बंद हैं. पढ़िए पूरी खबर...

Heavy damage due to rain in Himachal
हिमाचल में मानसून से 5200 करोड़ से ज्यादा का नुकसान
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Published : Jul 22, 2023, 10:25 PM IST

शिमला: प्रदेश में मानसून से जानमाल को भारी क्षति हो रही है. सड़कों, पुलों और पानी की परियोजनाओं के साथ ही निजी संपत्ति को भारी नुकसान पहुंच रहा है. अभी तक बरसात प्रदेश में ₹5200 करोड़ से ज्यादा का नुकसान कर चुकी है. भारी बारिश में अब तक 155 लोगों की मौत भी हुई है. करीब 5860 परिवार बेघर हो गए हैं. प्रदेश में मानसून में इस बार जानमाल को भारी नुकसान हुआ है. बारिश में सड़कों, पानी की परियोजनाओं, निजी संपत्तियों को करीब ₹5268 करोड़ की क्षति पहुंची है. इसमें लोक निर्माण विभाग को 1666 करोड़ की क्षति हुई है.

प्रदेश में 696 सड़कें अभी भी बंद: बता दें, प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में सैकड़ों सड़कें क्षतिग्रस्त हुई है. दो दर्जन पुल भी क्षतिग्रस्त हुए हैं जबकि करीब एक दर्जन पुल बारिश से बाढ़ में बह गए. वहीं प्रदेश में अभी भी बारिश हो रही है, जिससे सड़कों के बंद होने का सिलसिला भी जारी है. प्रदेश में 696 सड़कें भी बंद पड़ी हैं, जिनमें 422 सड़कें लोक निर्माण विभाग शिमला के तहत बंद हैं, जबकि 196 सड़कें मंडी जोन और 65 सड़कें कांगड़ा जोन और 9 सड़कें हमीरपुर जोन के तहत बंद हैं. लोक निर्माण विभाग ने सड़कों को खोलने के लिए प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में ट्रकों, टिप्परों सहित 1054 मशीनें लगाई गई हैं.

बिजली बोर्ड को भी करीब 1482 करोड़ का नुकसान: मानसून में जल शक्ति विभाग की पानी और अन्य परियोजनाएं बुरी तरह से प्रभावित हुई हैं. जल शक्ति विभाग की करीब 7409 योजनाओं को इस बारिश से क्षति पहुंची है. प्रभावित होने वाली परियोजनाओं में 5860 पेयजल की हैं, हालांकि विभाग ने इनमें से जिनमें से 5467 को बहाल कर दिया गया है. इसके अलावा सिंचाई की 1352, फ्लड कंट्रोल की 138 और सीवरेज की 59 परियोजनाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं. जलशक्ति विभाग को करीब 1448 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. यही नहीं मानसून की भारी बारिश से प्रदेश में फलों को भी करीब 144 करोड़ का नुकसान हुआ है. बिजली बोर्ड को भी करीब 1482 करोड़ की क्षति मानसून ने पहुंचाई है.

बरसात में 154 लोगों की मौत: मानसून में प्रदेश में भारी जानी नुकसान हुआ है. मानसून में इस बार 154 लोगों की अपनी जान गवानी पड़ी हैं. भारी बारिश से हुए भूस्खलन और बाढ़ आदि से 5860 परिवारों के आशियाने भी क्षतिग्रस्त हुए. जबकि 235 दुकानें भी क्षतिग्रस्त हुई. प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में 1600 के करीब गौशालाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं.

ये भी पढ़ें: Politics on Himachal Flood: आपदा के बाद केंद्र ने की मदद, एहसान फरामोश न बने सुक्खू सरकार: जयराम ठाकुर

शिमला: प्रदेश में मानसून से जानमाल को भारी क्षति हो रही है. सड़कों, पुलों और पानी की परियोजनाओं के साथ ही निजी संपत्ति को भारी नुकसान पहुंच रहा है. अभी तक बरसात प्रदेश में ₹5200 करोड़ से ज्यादा का नुकसान कर चुकी है. भारी बारिश में अब तक 155 लोगों की मौत भी हुई है. करीब 5860 परिवार बेघर हो गए हैं. प्रदेश में मानसून में इस बार जानमाल को भारी नुकसान हुआ है. बारिश में सड़कों, पानी की परियोजनाओं, निजी संपत्तियों को करीब ₹5268 करोड़ की क्षति पहुंची है. इसमें लोक निर्माण विभाग को 1666 करोड़ की क्षति हुई है.

प्रदेश में 696 सड़कें अभी भी बंद: बता दें, प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में सैकड़ों सड़कें क्षतिग्रस्त हुई है. दो दर्जन पुल भी क्षतिग्रस्त हुए हैं जबकि करीब एक दर्जन पुल बारिश से बाढ़ में बह गए. वहीं प्रदेश में अभी भी बारिश हो रही है, जिससे सड़कों के बंद होने का सिलसिला भी जारी है. प्रदेश में 696 सड़कें भी बंद पड़ी हैं, जिनमें 422 सड़कें लोक निर्माण विभाग शिमला के तहत बंद हैं, जबकि 196 सड़कें मंडी जोन और 65 सड़कें कांगड़ा जोन और 9 सड़कें हमीरपुर जोन के तहत बंद हैं. लोक निर्माण विभाग ने सड़कों को खोलने के लिए प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में ट्रकों, टिप्परों सहित 1054 मशीनें लगाई गई हैं.

बिजली बोर्ड को भी करीब 1482 करोड़ का नुकसान: मानसून में जल शक्ति विभाग की पानी और अन्य परियोजनाएं बुरी तरह से प्रभावित हुई हैं. जल शक्ति विभाग की करीब 7409 योजनाओं को इस बारिश से क्षति पहुंची है. प्रभावित होने वाली परियोजनाओं में 5860 पेयजल की हैं, हालांकि विभाग ने इनमें से जिनमें से 5467 को बहाल कर दिया गया है. इसके अलावा सिंचाई की 1352, फ्लड कंट्रोल की 138 और सीवरेज की 59 परियोजनाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं. जलशक्ति विभाग को करीब 1448 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. यही नहीं मानसून की भारी बारिश से प्रदेश में फलों को भी करीब 144 करोड़ का नुकसान हुआ है. बिजली बोर्ड को भी करीब 1482 करोड़ की क्षति मानसून ने पहुंचाई है.

बरसात में 154 लोगों की मौत: मानसून में प्रदेश में भारी जानी नुकसान हुआ है. मानसून में इस बार 154 लोगों की अपनी जान गवानी पड़ी हैं. भारी बारिश से हुए भूस्खलन और बाढ़ आदि से 5860 परिवारों के आशियाने भी क्षतिग्रस्त हुए. जबकि 235 दुकानें भी क्षतिग्रस्त हुई. प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में 1600 के करीब गौशालाएं भी क्षतिग्रस्त हुई हैं.

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