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हिमाचल की ई-विधानसभा के बाद राजभवन भी होगा पेपरलेस

राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने बुधवार को राजभवन सचिवालय के अधिकारियों के साथ बैठक करते हुए विभिन्न सामाजिक सेवा क्षेत्रों में योगदान करने के निर्देश दिए. इस बैठक में राजभवन को ई-ऑफिस के रूप में विकसित करने के निर्देश जारी किए गए हैं.

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Published : Feb 26, 2020, 9:12 PM IST

paperless governor house of himachal pradesh
राजभवन में बनेगा ई ऑफिस

शिमलाः राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने बुधवार को राजभवन सचिवालय के अधिकारियों के साथ बैठक करते हुए विभिन्न सामाजिक सेवा क्षेत्रों में योगदान करने के निर्देश दिए. राज्यपाल ने कहा कि कर्मचारियों को राजभवन की छवि को और सुधारने और आम जनता से संपर्क स्थापित करने के प्रयास करने चाहिए. इस बैठक में राजभवन को ई-ऑफिस के रूप में विकसित करने के निर्देश जारी किए गए हैं.

राज्यपाल ने अधिकारियों को स्वच्छता अभियान, प्राकृतिक खेती, पर्यावरण, जल संवर्द्धन, शिक्षा और कौशल विकास, नशा निवारण, फिट इंडिया अभियान और पर्यटन क्षेत्रों में सक्रिय रूप से योगदान करने के आदेश जारी किए.

इस बैठक में डिजिटल इंडिया की तरफ एक और कदम बढ़ाते हुए राजभवन को ई-ऑफिस के रूप में विकसित करने के निर्देश जारी किए गए हैं. इसके लिए तकनीकी आवश्यकताओं और कर्मचारियों को प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा. राज्यपाल के सचिव राकेश कंवर ने राज्यपाल को राजभवन सचिवालय से जुड़े कार्यों के बारे विस्तृत जानकारी दी.

बता दें कि इससे पहले हिमाचल प्रदेश डिजिटल इंडिया के तहत कई उपलब्धियां हासिल कर चुका है. हिमाचल प्रदेश की विधानसभा देश की पहली ई-विधानसभा यानी पेपरलेस विधानसभा है. इसके साथ ही नगर निगम शिमला का 150 साल पुराना रिकार्ड भी डिजिटल किया जा रहा है.

साथ ही हिमाचल की जनता को ई-राशन कार्ड भी बांटे जा चुके हैं. इतना ही नहीं हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों व कॉलेजों में पाईलट प्रोजेक्ट के तौर पर वर्चुअल क्लास रूम शुरू किए जा चुके हैं. इसके अलावा शिमला स्थित भारतीय उच्च शिक्षण संस्थान (इंडियन इंस्टीटयूट ऑफ एडवांस स्टडी) की ढ़ाई लाख किताबों को डिजिटल करने की प्रकिया शूरू कर दी गई.

ये भी पढ़ें: धर्मशाला में इस दिन भिड़ेगी भारत-साउथ अफ्रीका की टीम, मैच से पहले पूजा-पाठ करवाएगा HPCA

शिमलाः राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय ने बुधवार को राजभवन सचिवालय के अधिकारियों के साथ बैठक करते हुए विभिन्न सामाजिक सेवा क्षेत्रों में योगदान करने के निर्देश दिए. राज्यपाल ने कहा कि कर्मचारियों को राजभवन की छवि को और सुधारने और आम जनता से संपर्क स्थापित करने के प्रयास करने चाहिए. इस बैठक में राजभवन को ई-ऑफिस के रूप में विकसित करने के निर्देश जारी किए गए हैं.

राज्यपाल ने अधिकारियों को स्वच्छता अभियान, प्राकृतिक खेती, पर्यावरण, जल संवर्द्धन, शिक्षा और कौशल विकास, नशा निवारण, फिट इंडिया अभियान और पर्यटन क्षेत्रों में सक्रिय रूप से योगदान करने के आदेश जारी किए.

इस बैठक में डिजिटल इंडिया की तरफ एक और कदम बढ़ाते हुए राजभवन को ई-ऑफिस के रूप में विकसित करने के निर्देश जारी किए गए हैं. इसके लिए तकनीकी आवश्यकताओं और कर्मचारियों को प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा. राज्यपाल के सचिव राकेश कंवर ने राज्यपाल को राजभवन सचिवालय से जुड़े कार्यों के बारे विस्तृत जानकारी दी.

बता दें कि इससे पहले हिमाचल प्रदेश डिजिटल इंडिया के तहत कई उपलब्धियां हासिल कर चुका है. हिमाचल प्रदेश की विधानसभा देश की पहली ई-विधानसभा यानी पेपरलेस विधानसभा है. इसके साथ ही नगर निगम शिमला का 150 साल पुराना रिकार्ड भी डिजिटल किया जा रहा है.

साथ ही हिमाचल की जनता को ई-राशन कार्ड भी बांटे जा चुके हैं. इतना ही नहीं हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों व कॉलेजों में पाईलट प्रोजेक्ट के तौर पर वर्चुअल क्लास रूम शुरू किए जा चुके हैं. इसके अलावा शिमला स्थित भारतीय उच्च शिक्षण संस्थान (इंडियन इंस्टीटयूट ऑफ एडवांस स्टडी) की ढ़ाई लाख किताबों को डिजिटल करने की प्रकिया शूरू कर दी गई.

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