शिमला: हिमाचल विधानसभा की उपलब्धियों में शुक्रवार को एक और चमकीला पन्ना जुड़ा है. देश की पहली ई-विधानसभा में अब तक सारा कामकाज पेपरलेस होता आया है और इस कड़ी में सीएम जयराम ठाकुर ने एक और आयाम जोड़ा.
मुख्यमंत्री ने हिमाचल के इतिहास का पहला पेपरलेस बजट पेश किया. बजट पेश करने के लिए सीएम जयराम ठाकुर जब सदन में आए तो उनके हाथ में परंपरागत ब्रीफकेस जरूर मौजूद था, परंतु उन्होंने बजट किताब से नहीं पढ़ा.
सीएम ने लैपटॉप पर अपलोड बजट भाषण को स्क्राल करके पढ़ा. बीच में तकनीकी दिक्कत आने पर मदद के लिए सदन में तकनीकी स्टाफ भी मौजूद था. बजट भाषण के बाद प्रेस ब्रीफिंग के दौरान सीएम ने पहले पेपरलेस बजट का अनुभव सांझा करते हुए कहा कि ये सुखद था, लेकिन लैपटॉप की स्क्रीन पर लाइट पड़ने से बीच में कई बार पढ़ते वक्त दिक्कत पेश आई.
सदन में बजट भाषण के दौरान सीएम जयराम ने एक और अहम घोषणा की. उन्होंने कहा कि निकट भविष्य में कैबिनेट की बैठक भी ई-कैबिनेट के तौर पर होगी. लैपटॉप पर ऑनलाइन ही एजेंडा लोड होगा और सारे फैसले ऑनलाइन दर्ज होंगे.
उल्लेखनीय है कि हिमाचल प्रदेश विधानसभा देश की पहली ई-विधानसभा है. यहां सारा कामकाज पेपरलेस है. इससे साल भर में 6 हजार से अधिक पेड़ों के बराबर कागज की बचत होती है, जिससे हर साल15 करोड़ रुपये की बचत होती है.
बता दें कि पूर्व कांग्रेस सरकार के समय में ई-विधान प्रणाली लागू हुई थी. मुख्यमंत्री ने बजट पेश करते समय पूर्व स्पीकर बीबीएल बुटेल के उन प्रयासों की भी सराहना की, जिसके बाद हिमाचल को ई-विधान प्रणाली मिली. इस साल अगस्त में ई-विधान प्रणाली को शुरू हुए छह साल हो जाएंगे. पांच अगस्त 2014 को हिमाचल विधानसभा ई-विधानसभा बनी थी.
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